बगहा: बिहार के बगहा से उत्तर प्रदेश आने जाने में लोगों को अब और ज्यादा सहूलियत होगी. बगहा से सीमाई क्षेत्र उत्तर प्रदेश जाने के लिए 60 से 65 किमी का दूरी तय करना होता था जो कि अब घटकर महज 19 किमी रह जाएगी. यानी बगहा से यूपी जाने में महज 20 से 25 मिनट लगेंगे. दरअसल गंडक नदी पर एक नए पुल निर्माण को मंजूरी मिली है. इस पूल के बन जाने से जहां बगहा अनुमंडल क्षेत्र के लोगों को यूपी आना जाना आसान हो जाएगा वहीं पर्यटन सेवा को भी नई उड़ान मिलेगी.
बिहार से यूपी की दूरी होगी कम: बता दें कि पर्यटन स्थल वाल्मीकिनगर और बगहा से यूपी जाने या आने के लिए लंबी दूरी तय कर रतवल-धनहा मार्ग पर अवस्थित गौतम बुद्ध सेतु के रास्ते आवागमन करना पड़ता है. अब बगहा शहर के शास्त्रीनगर मोहल्ला से गंडक दियारा पार के बेलवनिया तक एक नया पूल बनेगा. जिसकी मंजूरी सड़क परिवहन व राजमार्ग ने दे दिया है.
चार प्रखंडों की बढ़ेगी कनेक्टिविटी: बगहा से भाजपा विधायक राम सिंह ने बताया कि वो और केंद्रीय मंत्री सतीश चंद्र दुबे काफी दिनों से इस पुल की मांग कर रहे थे. उनका कहना है कि सतत प्रयास का नतीजा है कि सड़क परिवहन व राजमार्ग विभाग के मंत्री नितिन गडकरी ने गंडक नदी पर पुल निर्माण की मंजूरी दे दी है. इससे बगहा अनुमंडल क्षेत्र के लोगों को यूपी से आवागमन करने में काफी सहूलियत होगी. साथ हीं गंडक दियारा पार के चार प्रखंडों की कनेक्टिविटी अनुमंडल से सीधे तौर पर हो जाएगी.
रोजगार के मिलेंगे अवसर: बता दें कि बेलवनिया से उत्तरप्रदेश सटे हुए है ऐसे में पर्यटन सेवा को पंख लग जाएंगे. क्योंकि कुशीनगर से पर्यटक काफी कम समय में वाल्मीकि टाइगर रिजर्व समेत लौरिया स्तम्भ और बौद्ध स्तूप देखने आ सकेंगे. फिलहाल इन जगहों पर आने के लिए पर्यटकों को बेतिया या गौतम बुद्ध सेतु के रास्ते आना पड़ता है. इस पूल के बनने से लोगों के बीच रोजगार का भी सृजन होगा.
"लोगों को बिहार और यूपी आने जाने में सहूलियत तो होगी ही, जो किसान गंडक नदी में नाव के सहारे दियारा खेती बारी करने जाते थे उनके लिए यह पुल वरदान साबित होगा. क्योंकि नाव के माध्यम से आवागमन करने पर कई दफा नाव हादसे होते हैं और किसान और मजदूर जान हथेली पर लेकर नाव का सफर करते हैं. इस पुल निर्माण से नाव हादसों पर अंकुश लगेगा लिहाजा स्थानीय लोगों में हर्ष का माहौल है." - राम सिंह, बगहा सदर विधायक, भाजपा