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नोटों की गड्डी लेकर बाढ़ पीड़ितों के बीच पहुंचे पप्पू यादव, हाथ खोलकर की मदद - PAPPU YADAV - PAPPU YADAV

PAPPU YADAV: बिहार में बाढ़ से स्थिति बदतर हो गई है. कोसी नदी औऱ सीतामढ़ी में बागमती नदी सहित चार जिलों में सात स्थानों पर नदियों के तटबंध टूटने से लोगों का सबकुछ पानी में डूब गया है. ऐसे में बाढ़ पीड़ितों से मिलने के लिए पप्पू यादव बुलेट में सवार होकर पहुंचे और पीड़ितों से बीच पैसे बांटे.

Pappu Yadav distributed money
बाढ़ पीड़ितों के बीच पप्पू यादव ने बांटे पैसे (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 1, 2024, 1:34 PM IST

Updated : Oct 1, 2024, 5:37 PM IST

दरभंगा: पूर्णिया सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव लगातार बाढ़ पीड़ितों से मुलाकात कर उनका हाल जान रहे हैं. कोसी बांध के पास पप्पू यादव बाढ़ पीड़ितों से बुलेट चलाकर मिलने पहुंचे और उनकी तकलीफों और परेशानियों को गंभीरता से सुना. सोमवार को पप्पू यादव ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर ट्वीट करते हुए कहा कि बिहार भीषण बाढ़ की चपेट में है. अभी मैं दरभंगा किरतपुर पहुंच रहा हूं. वहां कोसी का बांध टूट गया है अमलोगों की ज़िंदगी बचाना परम लक्ष्य.

बाढ़ पीड़ितों के बीच पप्पू यादव ने बांटे पैसे: इस दौरान पप्पू यादव ने कहा कि गरीबों में रुपए बांटने से कोई रोक नहीं सकता. बाइक पर सवार होकर पप्पू बाढ़ पीड़ितों के बीच पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने दरभंगा में राहत सामग्री और नकदी बांटे. पप्पू यादव की इस पहल को लेकर लोगों की मिली जुली प्रतिक्रिया सामने आ रही है.

"कब तक राजनीति करेंगे. 40 साल में कोसी ने कईयों को मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री बनाया है. जाति मजहब की राजनीति की गई लेकिन कोसी की जिंदगी नहीं बदली. हमें बाढ़ से मुक्ति नहीं मिली."- पप्पू यादव, सांसद, पूर्णिया

सहरसा में 50 हजार रुपये देकर किया खाने का इंतजाम: दरभंगा के साथ ही पप्पू यादव ने सहरसा का भी दौरा किया. उन्होंने सोशल मीडिया एक्श पर कहा कि सहरसा जिला मेहसी प्रखंड के बिरगांव गांव में बाढ़ के कारण तीनों दिनों से लोग भूखे हैं. सरकार की ओर से न मदद है, न कोई व्यवस्था. इसलिए कम्युनिटी किचेन शुरू कर तत्काल राहत के लिए 50 हजार रुपया दिया. सरकार ज़िम्मेदारी से भाग सकती है, मैं कैसे मुंह मोड़ लूं?

यूजर्स ने बताया कोसी का रॉबिनहुड: ऐसा नहीं है कि पप्पू यादव पहली बार लोगों के बीच पहुंचे हों और उनका दुख दर्द साझा किया हो. इससे पहले भी पप्पू यादव लोगों के बीच जाकर पैसे बांट चुके हैं. ऐसे में यूजर्स उन्हें कोसी का रॉबिनहुड बता रहे हैं. एक यूजर ने कहा " कोसी का रॉबिनहुड.! बिहार में भयानक बाढ़ आई है. कोसी का कहर चरम पर है. जनता कराह रही है. दूर दूर तक कहीं कोई नेता परेता नहीं दिख रहा. लेकिन Rajesh Ranjan उर्फ पप्पू यादव निकल लिए है सैंटा क्लॉज वाला झोला लेकर. जिसमे सिर्फ रुपये है और इस समय कोसी के लोगों को इन्ही रुपयों की जरूरत है.

'पप्पू यादव कर रहे लोगों की मदद': वहीं एक यूजर ने कहा कि पूरा बिहार बाढ़ में डूबा हुआ है लेकिन कोई नेता ,पत्रकार वहां नजर नहीं आ रहा है. लेकिन वहां सिर्फ पप्पू यादव नजर आ रहे हैं, बिहारवासियों का मदद करते हुए. नेता को सिर्फ लोगों के वोट से मतलब है, उनका दर्द देखिए और मदद कीजिए, बिहार सरकार से निवेदन है.

'पप्पू यादव जैसा कोई नहीं': एक अन्य यूजर ने पूर्णिया सांसद को गरीबों का मसीहा करार दिया और कहा कि गरीबों के मसीहा "पप्पू यादव" जी को दिल से धन्यवाद की वो अपने पिता के प्रार्थना सभा के तुरंत बाद बाढ़ प्रभावित लोगों की मदद करने पहुंच गए. इसलिए सांसद तो बहुत सारे हैं लेकिन पप्पू यादव जैसा कोई नहीं.

यूजर ने दिया धन्यवाद: पप्पू यादव के साथ किरतपुर प्रखंड मे बाढ़ पीड़ितों से मुलाकात किया. पप्पू यादव जी ने तत्काल 50000₹ की आर्थिक मदद,खाने पीने के लिए 3 जगहों पर कम्युनिटी किचन 25000 पैकेट सुखा राहत चुरा गुड़ एक ट्रक 50000 बोतल पानी तथा लोगों को 500 रुपये की मदद की है. पप्पू यादव की पहल की सभी तारीफ कर रहे हैं और शुक्रिया अदा कर रहे हैं.

पप्पू का विरोध भी हुआ: पप्पू यादव की सोशल मीडिया में आलोचना भी कुछ लोग कर रहे हैं. एक यूजर ने कहा कि 5 सौ रु. का लंगर लगाते पप्पू यादव. पप्पू यादव बाढ़ पीड़ितों के पास गए और खटाखट खटाखट लोगों के बीच ₹500 बांट दिए. जैसा की वीडियो में आप देख सकते हैं 500 की सिर्फ एक ही गड्डी लेकर खड़े हैं. क्या मात्र एक ₹500 में बाढ़ पीड़ितों का बहा हुआ घर वापस आ जाएगा ? 10 लोगों की पेट की भूख कितने दिनों तक शांत हो पाएगी‌ ? ₹500 के बजाय पप्पू यादव को यह भरोसा दिलाना चाहिए था कि वह सरकार की तरफ से उन्हें जल्द से जल्द सहायता राशि प्रदान करवाएंगे. लेकिन इन सब की जगह ₹500 देकर पप्पू यादव ने सस्ती लोकप्रियता कमाने का काम किया. कुछ लोगों का इमान सोशल मीडिया में ऐसा है कि इसी ₹500 के चक्कर में कल से उन्होंने पप्पू यादव को अपना माई बाप घोषित कर लिया है. जैसी छोटी सोच वैसी छोटी हरकत.

पूर्णिया में भी बांट चुके हैं पैसे: कुछ दिन पहले भी पप्पू यादव ने रुपौली विधानसभा के इलाकों में बाढ़ का पानी घुस जाने के बाद पीड़ितों के बीच पैसे बांटे थे. इस दौरान भी पप्पू याादव ने सरकार पर जमकर निशाना साधा था. एक बार फिर से बाढ़ से बिगड़े हालात के बीच पप्पू यादव नीतीश सरकार पर हमलावर हैं.

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बाढ़ पीड़ितों के बीच पप्पू यादव ने बांटे पैसे: इस दौरान पप्पू यादव ने कहा कि गरीबों में रुपए बांटने से कोई रोक नहीं सकता. बाइक पर सवार होकर पप्पू बाढ़ पीड़ितों के बीच पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने दरभंगा में राहत सामग्री और नकदी बांटे. पप्पू यादव की इस पहल को लेकर लोगों की मिली जुली प्रतिक्रिया सामने आ रही है.

"कब तक राजनीति करेंगे. 40 साल में कोसी ने कईयों को मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री बनाया है. जाति मजहब की राजनीति की गई लेकिन कोसी की जिंदगी नहीं बदली. हमें बाढ़ से मुक्ति नहीं मिली."- पप्पू यादव, सांसद, पूर्णिया

सहरसा में 50 हजार रुपये देकर किया खाने का इंतजाम: दरभंगा के साथ ही पप्पू यादव ने सहरसा का भी दौरा किया. उन्होंने सोशल मीडिया एक्श पर कहा कि सहरसा जिला मेहसी प्रखंड के बिरगांव गांव में बाढ़ के कारण तीनों दिनों से लोग भूखे हैं. सरकार की ओर से न मदद है, न कोई व्यवस्था. इसलिए कम्युनिटी किचेन शुरू कर तत्काल राहत के लिए 50 हजार रुपया दिया. सरकार ज़िम्मेदारी से भाग सकती है, मैं कैसे मुंह मोड़ लूं?

यूजर्स ने बताया कोसी का रॉबिनहुड: ऐसा नहीं है कि पप्पू यादव पहली बार लोगों के बीच पहुंचे हों और उनका दुख दर्द साझा किया हो. इससे पहले भी पप्पू यादव लोगों के बीच जाकर पैसे बांट चुके हैं. ऐसे में यूजर्स उन्हें कोसी का रॉबिनहुड बता रहे हैं. एक यूजर ने कहा " कोसी का रॉबिनहुड.! बिहार में भयानक बाढ़ आई है. कोसी का कहर चरम पर है. जनता कराह रही है. दूर दूर तक कहीं कोई नेता परेता नहीं दिख रहा. लेकिन Rajesh Ranjan उर्फ पप्पू यादव निकल लिए है सैंटा क्लॉज वाला झोला लेकर. जिसमे सिर्फ रुपये है और इस समय कोसी के लोगों को इन्ही रुपयों की जरूरत है.

'पप्पू यादव कर रहे लोगों की मदद': वहीं एक यूजर ने कहा कि पूरा बिहार बाढ़ में डूबा हुआ है लेकिन कोई नेता ,पत्रकार वहां नजर नहीं आ रहा है. लेकिन वहां सिर्फ पप्पू यादव नजर आ रहे हैं, बिहारवासियों का मदद करते हुए. नेता को सिर्फ लोगों के वोट से मतलब है, उनका दर्द देखिए और मदद कीजिए, बिहार सरकार से निवेदन है.

'पप्पू यादव जैसा कोई नहीं': एक अन्य यूजर ने पूर्णिया सांसद को गरीबों का मसीहा करार दिया और कहा कि गरीबों के मसीहा "पप्पू यादव" जी को दिल से धन्यवाद की वो अपने पिता के प्रार्थना सभा के तुरंत बाद बाढ़ प्रभावित लोगों की मदद करने पहुंच गए. इसलिए सांसद तो बहुत सारे हैं लेकिन पप्पू यादव जैसा कोई नहीं.

यूजर ने दिया धन्यवाद: पप्पू यादव के साथ किरतपुर प्रखंड मे बाढ़ पीड़ितों से मुलाकात किया. पप्पू यादव जी ने तत्काल 50000₹ की आर्थिक मदद,खाने पीने के लिए 3 जगहों पर कम्युनिटी किचन 25000 पैकेट सुखा राहत चुरा गुड़ एक ट्रक 50000 बोतल पानी तथा लोगों को 500 रुपये की मदद की है. पप्पू यादव की पहल की सभी तारीफ कर रहे हैं और शुक्रिया अदा कर रहे हैं.

पप्पू का विरोध भी हुआ: पप्पू यादव की सोशल मीडिया में आलोचना भी कुछ लोग कर रहे हैं. एक यूजर ने कहा कि 5 सौ रु. का लंगर लगाते पप्पू यादव. पप्पू यादव बाढ़ पीड़ितों के पास गए और खटाखट खटाखट लोगों के बीच ₹500 बांट दिए. जैसा की वीडियो में आप देख सकते हैं 500 की सिर्फ एक ही गड्डी लेकर खड़े हैं. क्या मात्र एक ₹500 में बाढ़ पीड़ितों का बहा हुआ घर वापस आ जाएगा ? 10 लोगों की पेट की भूख कितने दिनों तक शांत हो पाएगी‌ ? ₹500 के बजाय पप्पू यादव को यह भरोसा दिलाना चाहिए था कि वह सरकार की तरफ से उन्हें जल्द से जल्द सहायता राशि प्रदान करवाएंगे. लेकिन इन सब की जगह ₹500 देकर पप्पू यादव ने सस्ती लोकप्रियता कमाने का काम किया. कुछ लोगों का इमान सोशल मीडिया में ऐसा है कि इसी ₹500 के चक्कर में कल से उन्होंने पप्पू यादव को अपना माई बाप घोषित कर लिया है. जैसी छोटी सोच वैसी छोटी हरकत.

पूर्णिया में भी बांट चुके हैं पैसे: कुछ दिन पहले भी पप्पू यादव ने रुपौली विधानसभा के इलाकों में बाढ़ का पानी घुस जाने के बाद पीड़ितों के बीच पैसे बांटे थे. इस दौरान भी पप्पू याादव ने सरकार पर जमकर निशाना साधा था. एक बार फिर से बाढ़ से बिगड़े हालात के बीच पप्पू यादव नीतीश सरकार पर हमलावर हैं.

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Last Updated : Oct 1, 2024, 5:37 PM IST
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