भोपाल: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी यानी शनिवार को संसद में आम बजट पेश करने जा रही हैं. मोदी सरकार के इस बजट से देश के रिएल एस्टेट सेक्टर को भी कई उम्मीदें हैं. रियल एस्टेट सेक्टर को भरोसा है कि सरकार हाउसिंग फॉर ऑल योजना को मजबूत बनाने के लिए पीएम आवास योजना के लिए बजट आवंटन को बढ़ाएगी.
साथ ही होम बायर्स को अतिरिक्त वित्तीय राहत देने के लिए ज्यादा ब्याज सब्सिडी देगी. रियल एस्टेट सेक्टर्स को पूर्ण रूप से इंडस्ट्री का दर्जा दिए जाने और कम ब्याज दरों पर वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने का बजट में प्रावधान किए जाने का भरोसा है.
टियर टू शहरों में शुरू होंगे बड़े प्रोजेक्ट
क्रेडाई यानी कन्फेडरेशन ऑफ रियल एस्टेट डेवलपर्स ऑफ इंडिया के भोपाल के अध्यक्ष मनोज सिंह मीक कहते हैं "उम्मीद है कि आगामी केन्द्रीय बजट से देश और प्रदेश के शहरी विकास और रियल एस्टेट सेक्टर को नई गति मिलेगी. देखा जाए तो देश की अर्थव्यवस्था में रियल एस्टेट सेक्टर का योगदान 7 फीसदी से ज्यादा है और आगामी 5 सालों यानी 2030 तक इसके 1 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है."
उन्होंने आगे कहा "इस सेक्टर से करीबन 50 मिलियन से ज्यादा नौकरियां पैदा होती हैं. इसी वजह से उम्मीद है कि सरकार रियल एस्टेट सेक्टर को पूर्ण रूप से इंडस्ट्री का दर्जा देगी और इससे इस सेक्टर को कम ब्याज पर वित्तीय सहायता मिल सकेगी. इससे देश के टियर 2 शहरों में बड़े प्रोजेक्ट शुरू होने में बड़ी मदद मिलेगी."
अफोर्डेबल हाउसिंग में मिल सकती है ज्यादा छूट
उधर उम्मीद जताई जा रही है कि सरकार अपने बजट में इस बार भी अफोर्डेबल हाउसिंग को बढ़ावा देने के कुछ नए प्रावधान करेगी. क्रेडाई ने प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए बजट आवंटन बढ़ाने और इस योजना में निजी डेवलपर्स को शामिल किए जाने की मांग की है. इससे ज्यादा संख्या में जरूरतमंद लोगों तक इसका लाभ पहुंच सकेगा. वहीं सरकार से अफोर्डेबल हाउसिंग के तहत घर खरीदने वालों को अतिरिक्त वित्तीय राहत देने की उम्मीद है. साथ ही इसमें जीएसटी की दरों में 2 फीसदी की कटौती कर इसे 5 फीसदी से 3 फीसदी किए जाने की मांग की गई है.
होम लोन पर टैक्स छूट 5 लाख होने की उम्मीद
सरकार से मांग की गई है कि आवास ऋण ब्याज कटौती की सीमा को बढ़ाया जाए. अभी होम लोन पर टैक्स छूट की सीमा 2 लाख है, इसे बढ़ाकर 5 लाख किए जाने की मांग की गई है. इससे मध्यम आय वर्ग को घर खरीदना और आसान होगा. मनोज सिंह मीक कहते हैं "सरकार को इस सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए कम लागत वाला फंड बनाना चाहिए ताकि इंफ्रास्क्ट्रचर प्रोजेक्टर और रियल एस्टेट डेवलपर्स को कम ब्याज दरों पर वित्तीय सहायता मिल सके. इस सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए सरकार को टियर 2 और 3 शहरों में शहरी नवीनीकरण परियोजनाओं और कनेक्टिविटी को और बेहतर बनाने की दिशा में बजट में प्रावधान करने चाहिए."