शिवपुरी: मध्य प्रदेश के राज्यपाल मंगूभाई पटेल बुधवार को शिवपुरी के ग्राम बूढ़दा में गृह प्रवेश और जन संवाद कार्यक्रम में पहुंचे थे. यहां उन्होंने पीएम जनमन आवास के तहत 34 परिवारों को गृह प्रवेश कराया और उनके साथ बैठकर भोजन किया. इसके साथ ही राज्यपाल ने स्कूल, हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर का निरीक्षण भी किया. राज्यपाल ने आदिवासी बच्चियों और गर्भवती महिलाओं में एनीमिया की स्थिति पर चिंता जाहिर की.
गृह प्रवेश कराने पहुंचे राज्यपाल, आदिवासियों के साथ भोजन
राज्यपाल मंगूभाई पटेल ने ग्राम बूढ़दा में पीएम जनमन आवास कॉलोनी में 34 परिवारों का गृह प्रवेश कराया. इस दौरान उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ करते हुए कहा, "मोदी ने आपके लिए बजट में 24 करोड़ रु का प्रावधान किया था जिससे आप लोगों को पक्का मकान, शिक्षा और स्वास्थ्य मिल सके." उन्होंने जानकारी देते हुए बताया, " जिले में अब तक 5600 पीएम आवास बन चुके हैं, अभी करीब 30 हजार आवास और बनना है." इस दौरान उन्होंने मदुआ आदिवासी के घर पर खाना भी खाया. एक आदिवासी महिला ने उन्हें जड़ी-बूटी की किट भी भेंट की.
आदिवासियों के लिए स्वास्थ्य व्यवस्थाओं का लिया जायजा
राज्यपाल मंगूभाई पटेल ने जिले के उप स्वास्थ्य केंद्र का भी दौरा किया. जहां उन्होंने महिलाओं और ग्रामीणों से चर्चा कर स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली. उन्होंने मोबाइल मेडिकल यूनिट का निरीक्षण करते हुए अधिकारियों को निर्देश दिए कि दूरदराज के गांवों में स्वास्थ्य सेवाएं पहुंचाई जाएं. राज्यपाल ने सीएमएचओ डॉ. संजय ऋषिश्वर जिले के सभी संस्थागत प्रसव का डाटा मांगा तो पता चला की 37 में से 18 प्रसव आदिवासी समाज के हैं. इसपर उन्होंने संतुष्टि जाहिर की.
एनीमिया के लिए लगाएं विशेष कैंप
उन्होंने एनीमिया को लेकर सीएमएचओ को निर्देश देते हुए कहा, '' कैंप लगाकार महिलाओं और बच्चों के हिमोग्लोबिन आदि चेक कराएं. साथ ही उन्हें हरी सब्जियां खाने के लिए प्रेरित करें. राज्यपाल ने कहा "जब मां में खून की कमी होगी तो बच्चा कैसे स्वस्थ्य हो सकता है." उन्होंने यूनिट के स्टाफ को निर्देश दिया कि हर 7 दिन में वरिष्ठ अधिकारियों को स्वास्थ्य से जुड़ी जानकारियां पहुंचाएं ताकि समय रहते इलाज का प्रबंध किया जा सके.
राज्यपाल ने आदिवासी समाज को किया प्रेरित
स्कूल का निरीक्षण करने पहुंचे राज्यपाल मंगूभाई पटेल ने बच्चों की दिनचर्या और पढ़ाई के बारे में उनसे बात की. उन्होंने शिक्षकों को कहा, '' बच्चों को पढ़ाई के साथ-साथ नैतिक शिक्षा का भी ज्ञान दें ताकि वे अपना जीवन और बेहतर बना सके.'' राज्यपाल ने आदिवासी समाज के लोगों से चर्चा करते हुए कहा, "सरकार आपके बच्चों को पढ़ाना चाह रही है, लेकिन जब तक आप अपने बच्चों को लेकर चिंतित नहीं होंगे, उन्हें रोज स्कूल नहीं भेजेंगे तब तक आपके बच्चों का आगे बढ़ना मुश्किल है."
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राज्यपाल ने 'अपना घर' वृद्धा आश्रम जाकर वहां की व्यवस्थाओं का जायजा लिया. इस दौरान उन्होंने अपना घर में सेवाएं दे रहे लोगों के कार्य को सराहा और उन्हें 11 लाख रुपये की राशि प्रदान करने आश्वासन भी दिया. उनका कहना था कि आप लोग जो कर रहे हैं, ऐसा हर इंसान नहीं कर पाता है.