नई दिल्ली/नोएडा: उत्तर प्रदेश की हॉट सीट गौतमबुद्ध नगर लोकसभा सीट पर शुक्रवार को दूसरे चरण में मतदान हुआ. मतदान के दौरान युवाओं से लेकर बुजुर्ग तक उत्साहित दिखे. वोट डालने के लिए बड़ी संख्या में ऐसे भी वोटर पहुंचे जो चलने में असमर्थ थे. मतदान केंद्रों में व्हील चेयर की व्यवस्था की गई. यहां तक की उन्हें मतदान केंद्र के अंदर ले जाने के लिए वॉलंटियर तक को तैनात किया गया था.
मायावती के गांव बादलपुर में खाली दिखाई दिए बूथ: उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती का पैतृक गांव बादलपुर है. सत्ता में काबिज रहने के दौरान यहां बसपा को छोड़कर दूसरी पार्टी का कोई समर्थक नहीं हुआ करता था. लेकिन समय के साथ अब बहुत कुछ बदल गया. शुक्रवार को मतदान के दौरान पेलिंग बूथ खाली तक दिखाई दिए. इसके अलावा बादलपुर से कुछ ही दूरी पर बंबावड़ गांव में भी पोलिंग बूथ खाली दिखाई दिए.
मतदान केंद्रों पर वॉलटियर की व्यवस्था: पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह के निर्देश पर मतदान केंद्रों पर बुजुर्ग, दिव्यांग और अन्य चलने में असमर्थ लोगों को व्हील चेयर उपलब्ध कराई गई. नोएडा, दादरी और जेवर विधानसभा में स्कूली बच्चों और वॉलंटियरों ने चुनाव की कमान संभाली. बुजुर्गों और दिव्यांगों को मतदान केंद्रों पर पहुंचाने के लिए स्कूली छात्र-छात्राओं को वॉलंटियर बनाया गया.
मतदान केंद्रों पर तैनात पुलिस बुजुर्गों और चोटिल व्यक्तियों के साथ अंदर उनके परिजनों को जाने नहीं दे रहे थे. उनकी मदद के लिए वॉलंटियर लगाए गए. इस दौरान बूथों पर व्हील चेयर की व्यवस्था भी प्रशासन की तरफ से की गई. धूममानिकपुर गांव के कपिल शर्मा पोलिंग बूथ पर पहुंचे. सड़क हादसे में घायल होने की वजह से उनके पैर में गंभीर चोटें आ गई थी. वह चलने में असमर्थ हैं. उन्हें व्हीलचेयर पर बैठाकर वॉलटियर वोट डलवाने के लिए लेकर गए.
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बंदरों की वजह से रुका मतदान: सूरजपुर स्थित शहीद भगत सिंह स्कूल में बंदरों का झुंड पहुंचने पर अफरातफरी मच गई. बूथ नंबर 556 पर बंदरों को पहुंचने के बाद अचानक मतदान को रोकना पड़ा. आनन-फानन में कर्मचारी वहां से भाग खड़े हुए. उधर, बूथ से बंदरों को भगाने के बाद वोटिंग दोबोरा शुरू हुई. मतदान कर्मियों का कहना है कि बंदरों की वजह से करीब दस मिनट तक मतदान प्रभावित हुआ.