लखनऊ : लोकसभा चुनाव 2014 में शून्य पर रही बहुजन समाज पार्टी सपा की मदद से 2019 में 10 सीटें जीत ले गई थी. इस बार लोकसभा चुनाव में वह फिर से अकेले उतरने की तैयारी में है. बहुजन समाज पार्टी के घटते जनाधार को देखते हुए पार्टी के मौजूदा सांसद पाला बदलने की तैयारी में हैं. पार्टी के आधे सांसद हाथी की सवारी छोड़कर कमल का दामन थामने की तैयारी में हैं.
भारतीय जनता पार्टी के उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि अगले कुछ दिनों में बहुजन समाज पार्टी के पांच सांसद भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लेंगे. ये सांसद जनाधार वाली सीटों से हैं. यहां भारतीय जनता पार्टी 2019 में हार गई थी. ऐसे में वर्तमान सांसदों के भाजपा में आने से पार्टी की ताकत बढ़ेगी. कयास है कि इन्हें उम्मीदवार बनाकर मैदान में उतारा जा सकता है.
कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के बीच गठबंधन की घोषणा गुरुवार को हो गई. दूसरी ओर दल बदलने वाले नेताओं की भी कोई कमी नहीं है. भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने को लेकर नेताओं में होड़ मची हुई है. भाजपा के उच्च सूत्रों ने बताया कि बसपा सुप्रीमो मायावती को झटका देने की तैयारी में उनके पांच सांसद लगे हुए हैं.
जिले की लालगंज लोकसभा सीट से संगीता आजाद, बिजनौर लोकसभा सीट से मलूक नागर, नगीना लोकसभा सीट से गिरीश चंद्र, अंबेडकर नगर लोकसभा सीट से रितेश पांडेय और जौनपुर लोकसभा सीट से श्याम यादव भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने की तैयारी कर रहे हैं. इसकी औपचारिक घोषणा निकट भविष्य में की जा सकती है.
भारतीय जनता पार्टी के पदाधिकारी ने बताया कि यह पांचों सीटें भारतीय जनता पार्टी के लिए बहुत संवेदनशील हैं. फिलहाल भाजपा को यहां से जिताऊ उम्मीदवार नहीं मिल रहे हैं. ऐसे में बहुजन समाज पार्टी के यह पांचों नेता अगर भाजपा में शामिल हो गए तो निश्चित तौर पर सत्ताधारी दल की दावेदारी और भी मजबूत हो जाएगी.
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