इंदौर। मध्य प्रदेश के नगरीय प्रशासन एवं आवास मंत्री, कैलाश विजयवर्गीय ने भोपाल में 29 हजार पेड़ों को काटकर मंत्री- विधायकों के आवास बनाने की किसी भी योजना का खंडन कर दिया है. कैलाश विजयवर्गीय ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि, सरकार का ऐसा कोई विचार ही नहीं है. सब बातें हवा-हवाई हैं. सरकार के पास ऐसा कोई प्रस्ताव आया ही नहीं है.
हवा-हवाई है मामला
पिछले कुछ दिनों से एमपी की राजधानी भोपाल में 29 हजार पेड़ काटकर मंत्री-विधायकों के बंगले बनाने की योजना का खूब जोर-शोर से विरोध हो रहा था. यह विरोध आंदोलन का रूप ले रहा था. लेकिन सरकार के स्पष्टीकरण के बाद लोगों ने आंदोलन को रोक दिया. नगरीय प्रशासन एवं आवास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने इस पूरे मामले को हवा हवाई बताया है. उन्होंने कहा कि, 'भोपाल में 29 हजार पेड़ काटकर मंत्रियों-विधायकों के आवास बनाने वाली बात पूरी तरह से हवा-हवाई है. यह मामला हवा-हवाई ही चल रहा है. कुछ लोगों ने ऐसा सुक्षाव जरूर दिया था लेकिन सरकार ने उसपर कोई विचार ही नहीं किया'. कैलाश विजयवर्गीय ने स्पष्ट किया कि, पर्यावरण संरक्षण और मौजूदा पेड़ों को बचाने के लिए इस मामले में जन भावना के आधार पर ही कोई फैसला लेंगे.
शिवराज सिंह ने भी दिया है आश्वासन
भोपाल में 29 हजार पेड़ों को काटकर मंत्रियों-विधायकों के आवास बनाए जाने की चर्चा का स्थानीय लोगों, समाजसेवी और पर्यावरण कार्यकर्ताओं ने जमकर विरोध किया. स्थानीय महिलाओं ने तो चिपको आन्दोलन की तरह पेड़ों को बचाने के लिए पेड़ों से लिपटक कर उन्हें बचाने का संदेश दिया. लोगों ने पेड़ों पर रक्षासूत्र बांधकर पेड़ों को बचाने का संकल्प लिया. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के भारी विरोध के बाद पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान में केन्द्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी पेड़ नहीं काटने का आश्वासन दिया था.