जशपुर: रायगढ़ लोकसभा सीट के अंतर्गत आने वाले जशपुर में 7 मई को मतदान होना है. प्रशासन की तरफ से युद्ध स्तर पर मतदान की तैयारियां की जा रही है. लेकिन जशपुर जिला हाथी प्रभावित होने के कारण कुनकुरी विकासखंड के लोटापानी और अंबाचुंआ में मतदान में सुरक्षा को लेकर प्रशासन, वन विभाग और हाथी मित्र अलर्ट मोड पर हैं.
लोटापानी स्कूल में बना मतदान केंद्र: लोटापानी प्राथमिक स्कूल को 7 मई को होने वाले लोकसभा चुनाव के लिए होने वाली वोटिंग के लिए मतदान केंद्र बनाए गए हैं. यहां 257 मतदाता है. लेकिन ये क्षेत्र पूरी तरह से जंगल से लगा हुआ हैं. आए दिन हाथी स्कूल के पास पहुंच जाते हैं. कुछ दिन पहले दो हाथी स्कूल के पास पहुंचे, स्कूल का बाउंड्रीवॉल तोड़ा और स्कूल परिसर में घूमते हुए आगे बढ़ गए. प्राथमिक स्कूल से ही लगा हुआ आंगनबाड़ी केंद्र भी हैं. जहां छोटे छोटे बच्चे पहुंचते हैं. स्कूल के स्टाफ ने बताया कि हाथी के आने का कोई समय नहीं हैं. अक्सर सुबह सुबह हाथी स्कूल के पास पहुंच जाते हैं. हाथी को लेकर काफी दहशत बनी रहती हैं.
लोटापानी बूथ हाथी प्रभावित होने के कारण असुरक्षित है. मतदान दल रात के समय ठहरते हैं ऐसे में उन्हें खास सुरक्षा व्यवस्था देना जरूरी है. गुरुवार को भी दो हाथी प्राथमिक स्कूल के पास पहुंच गए थे. -शाहीन नाज, प्रधानपाठक, लोटापानी प्राथमिक स्कूल, जशपुर
कुनकुरी विकासखंड के अंबाचुंआ प्राथमिक स्कूल में भी 7 मई को होने वाले चुनाव के लिए मतदान केंद्र बनाया गया हैं. यहां कुल 394 मतदाता हैं. हाथियों के मामले में ये क्षेत्र काफी संवेदनशील माना जाता है. इस क्षेत्र में झारखंड और ओडिशा दोनों ही तरफ से हाथी आ धमकते हैं. वन विभाग को सूचना मिली है 30 से 35 हाथियों का दल अक्सर क्षेत्र में घूमता रहता हैं. बुधवार को भी वन विभाग को दो हाथियों के अंबाचुंआ स्कूल के आसपास दिखने के बारे में पता चला जिसके बाद टीम ने गश्ती बढ़ा दी हैं.
-हाथी का मूवमेंट अक्सर शाम को होता है. ऐसे समय में ग्रामीणों को वोटिंग के दिन शाम भी हो जाती है. ऐसे समय में जंगल से लगे मतदान केंद्रों पर सुरक्षा व्यवस्था टाइट कर दी जाती है. ताकि मतदान दलों और ग्रामीणों को किसी तरह का नुकसान ना हो- एस के होता, वन परिक्षेत्र अधिकारी कुनकुरी
30 से 35 हाथियों का झुंड अक्सर घूमता रहता हैं. हाथियों ने कई घरों को तोड़े हैं. कई लोगों को हाथी कुचल चुका है. लेकिन मतदान के दौरान वन विभाग और हाथी मित्र की तरफ से सुरक्षा मिलती है. -मागरेट मिंज, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता
हाथियों की दहशत के बीच वोटिंग को लेकर प्रशासन की तैयारी: जशपुर कलेक्टर रवि मित्तल ने बताया कि हाथी प्रभावित बूथों पर प्रशासन और वन विभाग मिलकर काम कर रहा है. लोगों को ज्यादा से ज्यादा वोटिंग के लिए प्रेरित किया जा रहा है. हाथी दलों के जरिए हाथियों पर नजर रखी जा रही है. लोगों को आश्वस्त किया जा रहा है कि वह बिन डरे सुरक्षित माहौल में मतदान करें.
वन विभाग के अधिकारी जितेंद्र कुमार उपाध्याय ने बताया-" जशपुर के 70 से 80 गांव हाथी प्रभावित क्षेत्र हैं. वन विभाग की तरफ से लोग जनजागरूक्ता अभियान चला रहे हैं. विधानसभा चुनाव की तर्ज पर लोकसभा चुनाव में भी काम किया जा रहा है. पुलिस विभाग और फॉरेस्ट मिलकर बूथ के 4 किलोमीटर के दायरे में 2 दिन पहले से तैनात रहते हैं. हाथी की लोकेशन देखकर डीएफओ को दिया जाता है. डीएफओ इसे एसपी और सुरक्षाकर्मियों को भेजते हैं जिसके बाद देखा जाता है कि हाथी और बूथ के बीच कितना अंतर हैं. हाथी के बारे में पता चलने पर हाथी मित्र दल और फॉरेस्ट विभाग की टीम हाथियों को जंगल की तरफ खदेड़ती है. "