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अमानवीय यातनाएं देकर बाल श्रम कराने वाले अभियुक्त को 20 कारावास की सजा - JAIPUR POCSO COURT

अदालत ने बालक को अमानवीय यातनाएं देने और उससे कुकर्म करने वाले अभियुक्त को 20 साल की सजा सुनाई.

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पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत (ETV BHARAT JAIPUR)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : 2 hours ago

जयपुर : पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत क्रम-3, महानगर द्वितीय ने 12 साल के बालक को अमानवीय यातनाएं देने और उसके साथ कुकर्म करने वाले अभियुक्त मोहम्मद रियाज को 20 साल की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर 4.19 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है. अदालत ने अभियुक्त की पत्नी को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया है. पीठासीन अधिकारी नरेन्द्र सिंह मालावत ने अपने आदेश में कहा कि अभियुक्त ने बालक के साथ पशुवत व्यवहार किया है. ऐसे में अभियुक्त के प्रति नरमी का रुख नहीं अपनाया जा सकता.

इसे भी पढ़ें - एकल पट्टा प्रकरण में सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर सीजे ने शुरू की सुनवाई - RAJASTHAN HIGH COURT

अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक ललिता संजीव महरवाल ने अदालत को बताया कि मानव तस्करी यूनिट की सूचना पर शास्त्रीनगर थाना पुलिस ने 21 मार्च, 2022 को कार्रवाई कर अभियुक्त को गिरफ्तार किया था. पुलिस जांच में सामने आया कि अभियुक्त 12 साल के बालक को करीब छह माह पहले गांव से लाया था. अभियुक्त उसे बंधक बनाकर दिन में करीब 17 घंटे चूड़ियां बनवाता था. इस दौरान गलती करने पर उसके साथ गंभीर मारपीट की जाती थी.

वहीं, अभियुक्त ने शराब के नशे में बालक से कई बार कुकर्म भी किया था. पीड़ित बालक ने भी बताया कि अभियुक्त उसे न तो भरपेट भोजन देता था और ना ही सोने देता था. एक दिन वह मौका देकर पास के मकान की छत पर कूदकर चला गया और दूसरे लोगों को इसकी सूचना दी.

जयपुर : पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत क्रम-3, महानगर द्वितीय ने 12 साल के बालक को अमानवीय यातनाएं देने और उसके साथ कुकर्म करने वाले अभियुक्त मोहम्मद रियाज को 20 साल की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर 4.19 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है. अदालत ने अभियुक्त की पत्नी को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया है. पीठासीन अधिकारी नरेन्द्र सिंह मालावत ने अपने आदेश में कहा कि अभियुक्त ने बालक के साथ पशुवत व्यवहार किया है. ऐसे में अभियुक्त के प्रति नरमी का रुख नहीं अपनाया जा सकता.

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अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक ललिता संजीव महरवाल ने अदालत को बताया कि मानव तस्करी यूनिट की सूचना पर शास्त्रीनगर थाना पुलिस ने 21 मार्च, 2022 को कार्रवाई कर अभियुक्त को गिरफ्तार किया था. पुलिस जांच में सामने आया कि अभियुक्त 12 साल के बालक को करीब छह माह पहले गांव से लाया था. अभियुक्त उसे बंधक बनाकर दिन में करीब 17 घंटे चूड़ियां बनवाता था. इस दौरान गलती करने पर उसके साथ गंभीर मारपीट की जाती थी.

वहीं, अभियुक्त ने शराब के नशे में बालक से कई बार कुकर्म भी किया था. पीड़ित बालक ने भी बताया कि अभियुक्त उसे न तो भरपेट भोजन देता था और ना ही सोने देता था. एक दिन वह मौका देकर पास के मकान की छत पर कूदकर चला गया और दूसरे लोगों को इसकी सूचना दी.

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