हैदराबाद: झारखंड में मुर्हरम के मौके पर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कई जगहों पर ताजिए का जुलूस निकाला. इस दौरान कुछ जगहों पर जुलूस में युवा फिलिस्तीन का झंडा लहराते दिखे. फिलिस्तीन का झंडा भारत में लहराने पर कई बीजेपी नेताओं ने तल्ख टिप्पणी की और सरकार से कार्रवाई की मांग की. ऐसे में ये जानना जरूरी है कि क्या भारत में दूसरे मुल्क का झंडा लहराना अपराध की श्रेणी में आता है?
भारत में विदेशी झंडा लहराने की बात करें तो इस बारे में कोई कानून नहीं है. हालांकि भारतीय झंडा संहिता में ये कहा गया है कि भारत के झंडे के साथ अगर कोई विदेशी झंडा फहराया जा रहा हो तो यह ध्यान रखना चाहिए कि भारत का झंडा विदेशी झंडे से नीचे न हो.
पुलिस ने फिलिस्तीनी झंडा फहराने वाले को किया गिरफ्तार
दुमका पुलिस ने शहर के दुधानी चौक पर मुहर्रम जुलूस के दौरान फिलिस्तीन का झंडा लहराने वाले दो युवकों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. दोनों युवक देवघर के रहने वाले हैं और मुहर्रम में अपने रिश्तेदार के घर दुमका आए हुए थे. इस संबंध में ड्यूटी पर तैनात मजिस्ट्रेट के द्वारा अज्ञात के खिलाफ केस दर्ज किया गया था. लेकिन पुलिस ने युवकों के खिलाफ जो धाराएं लगाईं हैं वे झंडे से संबंधित नहीं है.
पुलिस ने युवकों को BNS 292 धारा के तहत गिरफ्तार किया है. जो सार्वजनिक उपद्रव के लिए दंड है. इसके अलावा उनपर 223A के तहत मामला दर्ज किया गया है. जो किसी व्यक्ति को चोट से सुरक्षा देने या ऐसी सुरक्षा दिलवाने के लिए कानूनी रूप से अधिकृत किसी सार्वजनिक अधिकारी को चोट से सुरक्षा के लिए कानूनी आवेदन को रोकने या रोकने के लिए किसी व्यक्ति को चोट पहुंचाने की धमकी देता है, उस पर ये धारा लगाई जाती है.
हेमंत सोरेन सरकार की मुस्लिम तुष्टिकरण के परिणामस्वरूप अब झारखंड में देशविरोधी चरमपंथी विचारधारा के लोग खुलकर अपने नापाक इरादों का प्रदर्शन करने लगे हैं।
— Babulal Marandi (@yourBabulal) July 17, 2024
प्रदेश की उप राजधानी दुमका में मुहर्रम जुलूस के दौरान फिलिस्तीन का झंडा लहराया जाना देशद्रोह का कृत्य है, साथ ही क्षेत्र की… pic.twitter.com/H6W02tQNV5
इस मामले में बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी और गोड्डा सांसद निशिकांत दुबे ने सवाल उठाए थे. बाबूलाल मरांडी ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा 'हेमंत सोरेन सरकार की मुस्लिम तुष्टिकरण के परिणामस्वरूप अब झारखंड में देशविरोधी चरमपंथी विचारधारा के लोग खुलकर अपने नापाक इरादों का प्रदर्शन करने लगे हैं. प्रदेश की उप राजधानी दुमका में मुहर्रम जुलूस के दौरान फिलिस्तीन का झंडा लहराया जाना देशद्रोह का कृत्य है, साथ ही क्षेत्र की आम जनता के बीच भयादोहन किए जाने का भी कुत्सित प्रयास है. संथाल परगना की आदिवासी मूलवासी पहचान को समाप्त करने और वोटबैंक सुरक्षित करने के उद्देश्य से जिस प्रकार राज्य सरकार के संरक्षण में बांग्लादेशी घुसपैठियों को बसाया गया है, आम जनता को उसके भीषण दुष्परिणाम भुगतने होंगे. भारत का गृह मंत्रालय तालिबानी मानसिकता वाले ऐसे लोगों पर सख्त कार्रवाई करें.'
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