इंदौर। इन दिनों राजनीतिक दलों में पाला बदलने वाले लोगों की खबरें आम हो गई हैं. कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल होने वाले लोग बड़ी संख्या में नजर आ रहे हैं. वहीं, भाजपा छोड़ महू विधानसभा से कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने वाले रामकिशोर शुक्ला बीते दिनों विधायक उषा ठाकुर के माध्यम से एक बार फिर भाजपा में शामिल हुए. बीजेपी में शामिल होने के बाद रामकिशोर शुक्ला ने एक बड़ा खुलासा किया है.
भाजपा में शामिल होने के बाद किया खुलासा
महू विधानसभा से कांग्रेस प्रत्याशी रहे रामकिशोर शुक्ला ने भाजपा में शामिल होने के बाद खुलासा करते हुए कहा है कि उन्होंने वर्तमान विधायक उषा ठाकुर और संघ पदाधिकारी के कहने पर भाजपा छोड़ कांग्रेस में शामिल हुए थे और कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ा था. रामकिशोर शुक्ला ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए कहा कि वह पूर्व में भाजपा में थे और भाजपा छोड़ो कांग्रेस में शामिल होने का निर्णय उषा ठाकुर और संघ पदाधिकारी के कहने पर ही लिया था.
बीते दिनों कैलाश विजयवर्गीय ने किया था मना
भाजपा में शामिल हुए कांग्रेस प्रत्याशी रहे रामकिशोर को उषा ठाकुर ने भाजपा का अंग वस्त्र पहनकर पार्टी की सदस्यता दिलाई. वहीं कई लोग अब भी रामकिशोर शुक्ला को भाजपा में शामिल करने का विरोध कर रहे हैं. कुछ समय कैलाश विजयवर्गीय ने रामकिशोर शुक्ला के कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल होने को लेकर कहा था कि उन्होंने अभी रामकिशोर को मना कर दिया है कि वह कांग्रेस से भाजपा में ना आएं.
चुनावी रणनीति के तहत कांग्रेस से लड़े थे चुनाव
शुक्ला ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए खुलासा किया कि महू में उषा ठाकुर को प्रत्याशी बनाए जाने के बाद से ही स्थानीय पदाधिकारी और कार्यकर्ता विरोध कर रहे थे. जिसके बाद संघ के एक पदाधिकारी और उनके मित्र ने कहा कि भाजपा को यह सीट जितनी है, लेकिन भीतरघात की संभावना अधिक है, इसीलिए मैं भाजपा छोड़कर कांग्रेस में गया और कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा. जिसके बाद अंतर सिंह दरबार ने कांग्रेस के बागी के रूप में चुनाव लड़ा फिर उषा ठाकुर करीब 34000 वोटों से चुनाव जीती थीं. यह चुनावी रणनीति का ही हिस्सा था.
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बीते दिनों रामकिशोर शुक्ला के कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आने की खबरों को लेकर स्थानीय लोगों द्वारा विरोध भी किया गया था. बताया जा रहा है कि संगठन की ओर से अब तक राम किशोर शुक्ल के बीजेपी में शामिल होने को लेकर भी स्थिति स्पष्ट नहीं की गई है. वहीं इस मामले पर रामकिशोर का कहना है कि उनके द्वारा सदस्यता ली गई है. सदस्यता के लिए बाकायदा सदस्यता रसीद भी उनके पास मौजूद है.