नई दिल्ली/नोएडा: सेक्टर-104 स्थित होटल में शनिवार को आग लगने से एक फिजियोथेरेपिस्ट की मौत हो गई थी. इस मामले में अग्निशमन विभाग ने जांच की तो पता चला होटल बिना एनओसी के चल रहा था. वहीं, हादसे में घायल हुए युवक को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है. रविवार को युवती का अंतिम संस्कार किया गया. पुलिस अधिकारियों के मुताबिक, जिस होटल में आग लगने के बाद हादसा हुआ, वह बिहार के विमलेश झा का है. उन्होंने इस होटल को शामली के आकाश शर्मा को लीज पर दे दिया है. अभी होटल का निर्माण कार्य चल रहा है. इसके बावजूद इसकी बुकिंग शुरू कर दी गई.
हादसे में जिस युवती ने जान गंवाई है, बताया जा रहा है कि वह होटल की पहली ग्राहक थी. जिस समय हादसा हुआ युवती अपने साथी युवक के साथ एक ही कमरे में थी. जांच में यह भी सामने आया है कि होटल में फायर फाइटिंग सिस्टम तो लगे थे, पर वह काम नहीं कर रहे थे. आग होटल की चौथी मंजिल पर एसी की फिटिंग के दौरान शार्ट सर्किट से लगी. युवती छठे मंजिल पर बने कमरे में उस समय अपने दोस्त के साथ मौजूद थी. धुआं शरीर के अंदर पहुंचने से युवक और युवती बेहोश हो गए थे. दोनों ने दोपहर एक बजकर 30 मिनट के आसपास होटल में एंट्री की थी. करीब तीन घंटे बाद हादसा हुआ.
होटल प्रबंधन का कहना है कि हादसे के बाद युवक और युवती जिस कमरे में रुके थे, उस नंबर पर कई बार कॉल की गई. पुलिस सभी पहलुओं को ध्यान में रखकर मामले की जांच कर रही है. युवती मूलरूप से पटना की रहने वाली थी. बातचीत के दौरान उसके भाई ने बताया कि युवती घर में सबसे बड़ी थी. बहन को खोने के दर्द को वह शब्दों में नहीं बयां कर सकते. उन्होंने बहन के साथ अपना अभिभावक भी खो दिया है. युवती की मौत के बाद से पूरे परिवार में मातम पसरा हुआ है.
ऐसे लगी थी होटल में आग: शनिवार देर शाम सेक्टर-104 स्थित होटल एंड बैंक्वेट हॉल की चौथी मंजिल पर आग लगने की सूचना मिली. बताया गया कि कई लोग अंदर फंसे हैं. हादसे की गंभीरता को देखते हुए फायर ब्रिगेड की दस गाड़ियों और 40 अग्निशमन कर्मियों को मौके पर भेजा गया था. छठी मंजिल पर एक युवक और युवती कमरे में फंसे हुए थे. एक टीम दोनों को सकुशल बाहर निकालने में लगी रही, जबकि दूसरी टीम एक फायर ब्रिगेड की गाड़ी की मदद से आग पर काबू पाती रही. आग का दायरा सीमित होने के कारण इसपर जल्द काबू पा लिया गया.
बाकी फायर ब्रिगेड की नौ गाड़ियों को वापस भेज दिया गया. आग के कारण अंदर फंसे युवक और युवती के सांस लेने में काफी दिक्कत हो रही थी. धुंआ शरीर के अंदर जाने से दोनों का दम फूलने लगा था. दोनों को रेस्क्यू करने के बाद उन्हें नजदीक के अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. लेकिन बर्न इंजरी के कारण युवती की मौत हो गई.
देर से दी गई आग लगने की सूचना: अभी तक की जांच में सामने आया है कि आग लगने की सूचना कंट्रोल रूम में देर से दी गई. अगर सूचना समय से मिल जाती तो युवती को बचाया जा सकता है. इस मामले में युवती के भाई ने सेक्टर-39 थाने में मून लाइट होटल के प्रबंधक के खिलाफ रविवार को मुकदमा दर्द कराया है. हालांकि शिकायतकर्ता ने इस मामले में होटल प्रबंधक को नामजद नहीं किया है. फरार प्रबंधक की तलाश में पुलिस की टीमें छापेमारी कर रही है.