शिमला: हिमाचल प्रदेश में एक हॉट सीट के कई तलबगार हैं. ये हॉट सीट हिमाचल प्रदेश रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी के चेयरपर्सन की है. डॉ. श्रीकांत बाल्दी का कार्यकाल पूरा होने के बाद से ये हॉट सीट खाली है. इसके लिए हिमाचल के मौजूदा मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने भी आवेदन किया हुआ है. साथ ही पूर्व मुख्य सचिव आरडी धीमान भी इस पद के चाहवान हैं. उन्होंने भी रेरा चेयरपर्सन की सीट के लिए दावेदारी जताई हुई है. इस पोस्ट के तलबगारों में दो आईएफएस अफसर भी हैं.
मुख्य न्यायाधीश की अगुवाई वाली कमेटी ने इस पद के लिए चयन करना है. आवेदन की अंतिम तारीख पूरी होने के बाद कुल 14 अफसरों ने इस पद की रेस में उपस्थिति दर्ज करवाई है. इनमें हाल ही में वन विभाग के हॉफ यानी मुखिया के पद से सेवानिवृत हुए डॉ. पवनेश का नाम भी शामिल है, लेकिन दिलचस्प बात ये है कि क्या मौजूदा मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना रेस में सबसे आगे होंगे? हाल ही में उन्हें राज्य सरकार ने इस पद यानी रेरा के चेयरपर्सन के रूप में आवेदन करने के लिए अनापत्ति प्रमाण पत्र यानी एनओसी दिया था. इससे संकेत मिले हैं कि प्रबोध सक्सेना प्रबल दावेदार हैं. इससे पहले श्रीकांत बाल्दी भी मुख्य सचिव रहते रेरा चेयरपर्सन बने थे. फिलहाल, दूसरा सबसे बड़ा नाम पूर्व मुख्य सचिव आरडी धीमान का है. वे इस समय राज्य के मुख्य सूचना आयुक्त हैं. इस पद पर उनका कार्यकाल पूरा होने वाला है. रेरा के चेयरपर्सन की कुर्सी पिछले साल दिसंबर महीने से खाली है. इसके चेयरपर्सन सहित दो सदस्यों के पद भी खाली हैं. सभी का कार्यकाल दिसंबर 2024 में पूरा हो चुका है.
ये अफसर भी दौड़ में
रेरा चेयरपर्सन की कुर्सी की दौड़ में पूर्व आईएएस एसएस गुलेरिया सहित शिमला के डीसी रहे अमित कश्यप का भी नाम है. इसके अलावा राज्य के पूर्व विधि सचिव राजीव भारद्वाज भी रेरा की कमान संभालने के इच्छुक हैं. वन विभाग की पूर्व में मुखिया रही डॉ. सविता ने भी आवेदन किया हुआ है. इसी विभाग के मुखिया रहे और हाल ही में सेवानिवृत हुए डॉ. पवनेश भी दौड़ में हैं. पूर्व आईएएस हंसराज ने भी आवेदन किया हुआ है. प्रबोध सक्सेना यदि रेरा के चेयरपर्सन पद पर चुने जाते हैं तो फिर राज्य सरकार को नौकरशाही का नया बॉस तलाशना होगा. ऐसे में ये देखना दिलचस्प रहेगा कि सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार मुख्य सचिव के पद पर किसे चुनती है? क्या सुक्खू सरकार मुख्य सचिव के लिए सीनियोरिटी को कंसीडर करेगी या फिर सीएम अपनी पसंद के किसी अफसर को चुनेंगे. पूर्व में वीरभद्र सिंह सरकार के कार्यकाल के दौरान मुख्य सचिव के पद पर सीनियोरिटी को नजरअंदाज कर वीसी फारका को मुख्य सचिव बनाया था. इस समय सीनियोरिटी के लिहाज से अभी 1988 बैच के आईएएस संजय गुप्ता का नाम सबसे पहले आता है. उसके बाद फिर 1993 बैच अफसर कमलेश कुमार पंत लिस्ट में हैं. ये भी संभव है कि हिमाचल के मुख्य सचिव यहीं के आईएएस बनें. ओंकार शर्मा हिमाचल के चंबा जिले से संबंध रखते हैं और 1994 बैच के आईएएस अफसर हैं. वे इस समय एसीएस रैंक के अफसर हैं.