शिमला: पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में शनिवार को नीति आयोग गवर्निंग काउंसिल की बैठक में हिमाचल प्रदेश सीएम सुक्खू नहीं पहुंचे. हिमाचल समेत कई गैर बीजेपी शासित राज्यों के सीएम नीति आयोग की बैठक का बहिष्कार करने का फैसला लिया है. इन राज्यों ने केंद्र सरकार पर बजट में उनकी अनदेखी करने का आरोप लगाया है.
वहीं, सीएम सुक्खू के बैठक में शामिल न होने को लेकर बीजेपी ने सीएम सुखविंदर सिंह पर निशाना साधा है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष राजीव बिंदल ने कहा 'बैठक में शामिल न होकर सीएम ने हिमाचल के हितों के साथ खिलवाड़ किया है. हमने प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविन्द्र सिंह सुक्खू से आग्रह किया था कि हिमाचल के हितों की बात और अपना पक्ष नीति आयोग के सामने अच्छे से रखें, लेकिन आज उस बैठक में मुख्यमंत्री का न जाना ये हिमाचल के हितों के साथ अन्याय है.'
डॉ. राजीव बिन्दल ने कहा 'नीति आयोग की बैठक में सभी प्रदेशों को लेकर चर्चा होनी है, हिमाचल प्रदेश के विभिन्न कार्यों के लिए धन किस प्रकार से आवंटित होगा और प्रदेश का भविष्य किस प्रकार आगे बढ़ेगा इसे लेकर बैठक में चर्चा होनी है और मुख्यमंत्री का इसमें भाग न लेना दुखद है. सही अर्थों में कहा जाए तो मुख्यमंत्री का हिमाचल के साथ यह अन्यायपूर्ण रवैया है. मुख्यमंत्री और कांग्रेस इन बैठकों पर भी राजनीति कर रही है, जिससे हिमाचल को काफी नुकसान हो सकता है.'
बता दें कि नीति आयोग की इस बैठक का तेलंगाना के सीएम रेवंत रेड्डी, पंजाब के सीएम भगवंत मान, केरल के सीएम पिनराई विजयन, तमिलनाडु के सीएम एम के स्टालिन, कर्नाटक के सीएम सिद्धरमैयाने भी बैठक में शामिल न होने का फैसला किया है. योजना आयोग का नाम बदलकर 2015 में नीति आयोग कर दिया था. यह गैर संवैधानिक और गैर विधायी संस्था है. प्रधानमंत्री इसके अध्यक्ष होते हैं. दिल्ली में हो रही नीति आयोग की नौंवी बैठक में केंद्र एवं राज्य सरकारों के बीच सहभागी संचालन के साथ सहयोग को बढ़ावा देना, ग्रामीण और शहरी आबादी के लिए जीवन की गुणवत्ता को बढ़ावा देने पर विचार विमर्श किया जाना है. बैठक में पीएम मोदी ने कहा कि 2047 तक विकसित भारत हर भारतवासी की महत्वकांक्षा है और राज्य इसमें बड़ी भूमिका निभा सकते हैं.
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