नई दिल्ली/नोएडा: ग्रेटर नोएडा के निवासियों के लिए खुशखबरी है. अब उन्हें शुद्ध हवा और प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद लेने के लिए भटकना नहीं पड़ेगा. प्राधिकरण ने चार बड़े पार्कों को विशेष थीम के साथ विकसित करने की योजना बनाई है, जो निवासी समुदाय के लिए एक नई पार्क गतिविधि का केंद्र बन जाएंगे. इन पार्कों के नाम हैं: सिटी पार्क (सम्राट मिहिरभोज पार्क), चिल्ड्रेन पार्क, आयुर्वेदा पार्क, और डी पार्क.
थीम आधारित पार्कों का विकास: गुरुवार को ग्रेटर नोएडा के बोर्ड रूम में पांच कंपनियों ने प्राधिकरण के अधिकारियों के सामने उपर्युक्त चार पार्कों के लिए अपनी प्रस्तुतियां दीं. प्राधिकरण के सीईओ एनजी रवि कुमार ने स्पष्ट किया है कि शहर में थीम आधारित पार्कों के विकास की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम है. इसके परिणामस्वरूप, यहां के पार्क सिर्फ मनोरंजन का स्थान नहीं, बल्कि ज्ञान और स्वास्थ्य के प्रतीक भी होंगे.
अधिकारियों द्वारा बताई गई जानकारी के अनुसार, सिटी पार्क और डी पार्क को विशेष थीम पर विकसित किया जाएगा. ये दोनों पार्क नियमित रूप से बड़ी संख्या में लोगों द्वारा सैर-सपाटा करने के लिए उपयोग किए जाते हैं, और इनके विकास से नागरिकों को एक नई सौगात मिलेगी. चिल्ड्रेन पार्क को ओमीक्रॉन वन में स्थापित किया जाएगा और आयुर्वेदा पार्क, जो भारत की पुरानी चिकित्सा पद्धति को उकेरते हुए, रोजा याकूबपुर के पास विकसित किया जाएगा, वहां के नागरिकों के लिए एक विशेष अनुभव प्रदान करेगा.
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आकर्षक डिजाइन और आसान प्रक्रिया: प्राधिकरण ने चुनी गई कंपनियों के प्रस्तुतिकरण के आधार पर अब डिजाइन और दरों को तय करते हुए टेंडर प्रक्रिया को आगे बढ़ाने का निर्णय लिया है. इस प्रोजेक्ट को अमली जामा पहनाने के लिए एसीईओ आशुतोष द्विवेदी की अध्यक्षता में एक विशेष समिति बनाई गई है, जिसमें अन्य प्रमुख अधिकारी भी शामिल हैं.
इन पार्कों के विकास से न केवल स्थानीय निवासियों को एक सुखदायक वातावरण मिलेगा, बल्कि यह क्षेत्र के बुनियादी ढांचे को भी नई ऊंचाइयों पर पहुंचाएगा. प्रदूषण और शहरीकरण के बढ़ते मुद्दों के बीच, ये पार्क शुद्ध हवा और प्राकृतिक सौंदर्य का एक अद्वितीय स्रोत बनेंगे.
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