चरखी दादरी: हरियाणा के किसान इन दिनों सरकार के विरोध में सड़क पर उतरे हुए हैं. ऐसे में किसान आंदोलन का गढ़ माने जाने वाले चरखी दादरी के कस्बा बाढ़वा में किसानों ने तपती गर्मी के बीच लाड, भांडवा, खोरड़ा, काकडोली हुक्मी, हट्टी, उमरवास, मांढी हरिया समेत करीब तीन दर्जन गांवों में बड़ा ट्रैक्टर मार्च निकालकर सियासी पारा बढ़ा दिया.इस दौरान कई ट्रैक्टरों पर किसान आंदोलन, महिला पहलवानों, आशा वर्कर्स, सरपंचों के साथ पुलिस की बर्बरता के फ्लैक्स लगाए गए. जो आकर्षण का केंद्र रहे. ट्रैक्टर मार्च की अगुवाई किसान नेता राजू मान ने की.
'सरकार से चुनाव में लेंगे बदला': किसानों की इस पहल से भिवानी-महेंद्रगढ़ लोकसभा क्षेत्र में भाजपा व जजपा प्रत्याशियों का विरोध भी किया. बता दें कि बाढ़डा के क्रांतिकारी चौक पर महाशय मंशाराम और राजा महताब सिंह की प्रतिमाओं पर माल्यार्पण के बाद वयोवृद्ध किसान नेता रविंद्र सांगवान रवि ने ट्रैक्टर मार्च को झंडी दिखाकर रवाना किया और कहा कि केंद्र और राज्य की हठधर्मी सरकार से बदला लेने का समय आ गया है.
'किसानों पर बरसाई एक-एक लाठी का होगा हिसाब': गांवों के दौरे के दौरान किसान नेता राजू मान ने कहा कि एमएसपी की मुख्य मांग को लेकर चले तेरह महीने के किसान आंदोलन में 750 से ज्यादा किसानों ने अपनी शहादत दी. लेकिन मोदी सरकार ने उनके लिए संवेदना तक नहीं जताई. उन्होंने कहा कि आंदोलन को रोकने के लिए बॉर्डर पर लगाई कीलें और कंक्रीट की दीवारों के साथ किसानों के बदन पर पड़ी एक-एक लाठी का हिसाब लोकसभा चुनाव में लिया जाएगा.
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