दुर्ग : जिले के जामुल स्थित एसीसी (अडानी) सीमेंट के खिलाफ आज से रोजगार सत्याग्रह आंदोलन का आगाज होने वाला है. अहिवारा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत आसपास के 35 गांव से युवाओं और किसानों ने जामुल की तरफ कूच कर दिया है. हजारों की संख्या में युवा और किसान ट्रैक्टर-ट्रॉलियों में सवार होकर जामुल की ओर बढ़ रहे हैं. ये सभी जामुल में रोजगार और अन्य मांगों को लेकर "सत्याग्रह आन्दोलन" करने की तैयारी में हैं.
जामुल में आज से रोजगार सत्याग्रह आन्दोलन : विभिन्न संगठनों सहित स्थानीय युवाओं ने एक बार फिर सरकार और अडानी सीमेंट जामुल के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. यहां के युवा और किसान स्थानीय लोगों को रोजगार नहीं देने और बाहरी लोगों को ठेका व मजदूरी देने से गुस्से में हैं. अब अपनी मांग को लेकर स्थानीय लोगों ने अपनी आवाज बुलंद की है. युवा मजदूर नेता ईश्वर उपाध्याय ने आज यानी 25 जून को एसीसी सीमेंट जामुल (अडानी सीमेंट) के खिलाफ "रोजगार सत्याग्रह आन्दोलन" करने का ऐलान किया है. आज से ही रोजगार सत्याग्रह आंदोलन शुरु किया जा रहा है.
मांगों को लेकर कलेक्टर को सौंपा था ज्ञापन : एसीसी सीमेंट फैक्ट्री (अडानी सीमेंट) जामुल में स्थानीय युवाओं को शत प्रतिशत रोजगार उपलब्ध कराने और अन्य मांगों को लेकर लोग लामबंद हो गए हैं. पिछले दिनों सैकड़ों नगर वासी दुर्ग कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंचे और अपनी मांगों को लेकर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा था. साथ ही एक हफ्ते के भीतर सकारात्मक पहल नहीं होने पर 25 जून मंगलवार से "रोजगार सत्याग्रह आंदोलन" शुरू करने की चेतावनी भी दी थी.
स्थानीय लोगों की उपेक्षा का आरोप : युवा नेता ईश्वर उपाध्याय ने आरोप लगाया, "क्षेत्र में एसीसी सीमेंट प्लांट (अडानी सीमेंट) स्थापित है. लेकिन उस प्लांट में स्थानीय युवाओं को रोजगार के समुचित अवसर नहीं दिए जा रहे हैं. संयंत्र प्रबंधन, अधिकारी/प्रशासनिक या प्रबंधन की ओर से सीधी भर्ती तो दूर ठेका श्रमिकों में भी स्थानीय लोगों की लगातार उपेक्षा की जा रही है. जिससे क्षेत्र में बड़े पैमाने पर असंतोष फैला हुआ है. प्रबंधन द्वारा बाहरी ठेकेदारों को अलग अलग काम के लिए ठेका दिया जा रहा है और वह ठेकेदार अन्य राज्यों से अपने साथ मजदूर लाकर जामुल स्थित प्लांट में काम करवा रहे हैं."
"स्थानीय लोगों की मजदूरी जैसे काम में भी उपेक्षा हो रही है. जामुल व आस पास के युवाओं का आधार कार्ड देखते ही उन्हें वापस कर दिया जाता है, काम नहीं दिया जाता. ऐसे में स्थानीय लोग जाएं तो जाएं कहां. संयंत्र से होने वाले प्रदूषण और उसके दुष्परिणामों को स्थानीय जन झेलते हैं और रोज़गार का अवसर किसी दूसरे को मिल रहा है. इन्हीं सभी विषयों को लेकर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा था. माँग पूरी नहीं हुई है तो 25 जून, मंगलवार से छह चरणों में रोजगार सत्याग्रह आंदोलन शुरु किया जा रहा है." - ईश्वर उपाध्याय, मजदूर नेता
आर-पार के मूड में युवा और किसान : रोजगार सत्याग्रह आन्दोलन के लिए जामुल की ओर कूच करने वाले युवा और किसान पूरी बंदोबस्त किए हुए हैं. आसपास के 35 गांवों से युवा और किसान अपने साथ कई दिनों के राशन और रुकने के लिए टैंट हाउस के सामान लेकर जामुल आ रहे हैं. ईश्वर उपाध्याय के मुताबिक, अपनी मांगों को लेकर इस बार युवा और किसान आर-पार की लड़ाई के मूड में हैं.
सुलह की कोशिश में जुटा प्रबंधन : मंगलवार एसीसी सीमेंट प्लांट का प्रबंधन प्रदर्शनकारियों से सुलह करने की कोशिशों में जुट गया है. आंदोलन को देखते हुए जामुल में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है. एसडीएम और अन्य अधिकारी मौके पर मौजूद हैं. बताया जा रहा है कि युवा नेताओं और प्लांट प्रबंधन के बीच सुलह को लेकर बैठक भी हुई है.