वाराणसी : डेंगू मच्छरों से होने वाली एक गंभीर बीमारी है. डेंगू से मरीज की जान भी चली जाती है, लेकिन अब मरीज को परेशान होने की जरूरत नहीं है. अब इस मच्छर के काटने से उनकी जान नहीं जाएगी, बल्कि उनका बुखार जल्दी उतरेगा और प्लेटलेट्स भी बढ़ेंगी. इसको लेकर बाजार में जल्द ही डेंगू की दवा आने वाली है, जिसके दो फेज का ट्रायल पूरा हो चुका है. तीसरे फेज के ट्रायल के बाद आम जनमानस के लिए इस दवा की सुविधा उपलब्ध होगी.
बता दें कि, दवा को तैयार करने का काम पुणे का सीरम इंस्टीट्यूट कर रहा है. जिसने 8 साल तक डेंगू की दवा बनाने पर अध्ययन किया है. इस शोध में बनारस के डॉ. इंद्रनील बसु भी शामिल हैं, जोकि प्रिंसिपल इन्वेस्टिगेटिव के रूप में अपना योगदान दे रहे हैं. उन्होंने बताया कि यह विश्व की पहली ऐसी संस्था होने जा रही है जो डेंगू पर रिसर्च कर रही है और डेंगू की दवा लाने का काम कर रही है. अब तक भारत या अन्य देशों में डेंगू की दवा पर काम नहीं हुआ था. पहली बार सीरम इंस्टीट्यूट के जरिए इस पर रिसर्च किया गया.
पहली बार तैयार हो रही डेंगू की दवा : डॉ बासु बताते हैं कि, डेंगू की इस दवा का मोनोक्लोनल एंटीबॉडी पर सबसे पहले 8 साल का रिसर्च होने के बाद 2015 से जानवरों पर ट्रायल किया गया. जानवरों पर ट्रायल करने के बाद जब कोई साइड इफेक्ट नहीं मिला तो 2018 में दवा का पहला फेज ट्रायल वन शुरू हुआ, जोकि ऑस्ट्रेलिया के 45 लोगों पर किया गया. इसमें 1 साल तक ट्रायल करने के सकारात्मक रिजल्ट सामने आए. उसके बाद 2022 में फेज 2 का ट्रायल 300 लोगों पर किया गया, जिसमें वाराणसी समेत भारत के अलग-अलग राज्यों में डेंगू के मरीजों पर यह ट्रायल पूरा हुआ. इसमें तेज बुखार भी कुछ ही घंटे में कंट्रोल हो गया और एक दिन में लो प्लेटलेट्स में सुधार दिखने लगा और पेशेंट का रिकवरी रेट बढ़ गया. उन्होंने बताया कि बड़ी बात यह रही की दवा का टेस्ट करते ही 24 घंटे के अंदर सभी डेंगू पेशेंट ठीक होते हुए नजर आए और इसी सकारात्मक रिजल्ट को देखते हुए फेज 3 को शुरू करने का निर्णय लिया गया है.
जल्द शुरू होगा तीसरा ट्रायल : उन्होंने बताया कि, तीसरे फेज का ट्रायल लखनऊ और बनारस में जल्द शुरू होगा. इसके लिए तैयारियां जोरों पर चल रही हैं. इस बार के ट्रायल में 500 लोगों पर टेस्ट किया जाएगा. इस साल के अंत तक तीसरा ट्रायल समाप्त हो जाएगा. एक से डेढ़ साल के अंदर ही ये दवा फिर मार्केट में उपलब्ध कराए जाने की उम्मीद है. यह दवा डेंगू के चारों स्ट्रेन पर कारगर रहेंगी, वहीं यदि 2017 से 2024 तक डेंगू के आंकड़ों की बात करें तो 2017 में 722, 2018 में 881, 2019 में 522, 2020 में 13, 2021 में 458 2022 में 562, 2023 में 451 और 2024 में अब तक 40 डेंगू के केस सामने आए हैं.
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