कोटा : राइजिंग राजस्थान के तहत कोटा में जिला लेवल की इन्वेस्टमेंट समिट बुधवार को आयोजित हुई. इसमें कोटा के प्रभारी सचिव टी रविकांत, जिला कलेक्टर डॉ. रविन्द्र गोस्वामी और जिला प्रमुख मुकेश मेघवाल मौजूद रहे. तीनों की उपस्थिति में कोटा जिले के लिए 6664 करोड़ रुपए के एमओयू के इन्वेस्टमेंट हुए हैं, जिनके जरिए 10 हजार से ज्यादा लोगों को रोजगार देने का दावा किया गया है. इनमें 101 इंडस्ट्रियल इकाई स्थापित की जानी है.
ग्रीन हाइड्रोजन क्षेत्र में 4500 करोड़ का निवेश : कोटा के प्रभारी सचिव टी रविकांत ने बताया कि ग्रीन हाइड्रोजन, होटल, केमिकल, एग्रो प्रोसेसिंग, स्टोन, हेल्थकेयर, प्रिटिंग आईटीसी रिलेटेड इंडस्ट्री के इन्वेस्टमेंट के एमओयू किए गए हैं. इनमें मैसर्स केएजी हाईड्रोवोल्ट एनर्जी एलएलपी, गाजियाबाद (उत्तर प्रदेश) ग्रीन हाइड्रोजन क्षेत्र में लगभग 4500 करोड़ का निवेश भी शामिल है. भजनलाल सरकार में इन्वेस्टमेंट बढ़ाने के लिए 'आईएएस एक कंट्री' योजना शुरू की है, जिसके तहत उन्हें इजराइल मिला है. इजराइल से इन्वेस्टमेंट किस तरह से राजस्थान में लाया जा सकता है, इसके लिए वह प्रयास कर रहे हैं. उनका यह भी कहना है कि हर अधिकारी को उनका होम स्टेट भी दिया गया है, ताकि वहां के इंडस्ट्रियलिस्ट को राजस्थान लाया जा सके और यहां पर निवेश को बढ़ाया जा सके. विदेशी निवेशकों को यहां पर आ रही समस्याओं का निराकरण करने का जिम्मेदारी भी अधिकारियों को दी है.
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इसके अलावा कोटा के इन्वेस्टर अनिल मूंदड़ा ने मंडाना के नजदीक निजी इंडस्ट्रियल एरिया डेवलप करने के लिए एमओयू किया है. मूंदड़ा का कहना है कि बीते 7 से 8 सालों प्राइवेट इंडस्ट्रियल एरिया के लिए प्रयासरत थे और अब जाकर उन्हें सफलता मिली है. हालांकि, अभी भी रेरा से जुड़ी कुछ औपचारिकता उन्हें पूरी करनी है. इन सबके लिए सिंगल विंडो सिस्टम राजस्थान में होना चाहिए, किसी भी तरह की परेशानी आने पर तुरंत उसका निराकरण होना चाहिए, तब जाकर ही निवेश बढ़ेगा. कार्यक्रम को कोटा के कोचिंग संस्थान के सीईओ नितिन विजय, एसएसआई संगठन के संस्थापक अध्यक्ष गोविंद राम मित्तल, कोटा व्यापार महासंघ के महासचिव अशोक माहेश्वरी सहित कई नेताओं ने संबोधित किया.