देवघरः सावन को लेकर देवघर जिला प्रशासन और मंदिर प्रबंधन के द्वारा कई दिशा निर्देश जारी किए जाते हैं. जिससे मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की कोई परेशानी ना हो सके. ऐसे में कई आदेश ऐसे भी होते हैं जो मंदिर परिसर में काम करने वाले सैकड़ों लोगों के लिए लाभदायक भी होती है. वहीं कई ऐसे निर्देश भी होते हैं जो उनके लिए आफत भी खड़ी कर देती है.
ऐसा ही एक आदेश जिला प्रशासन के द्वारा जारी किया गया है. जिससे मंदिर परिसर में छोटे-छोटे दुकान चलाने वाले और फोटो खींचने वाले फोटोग्राफर्स के लिए आफत ला दी है. जिला प्रशासन ने आदेश जारी करते हुए कहा है कि मंदिर परिसर के अंदर जितने भी फोटोग्राफर और छोटे दुकानदार अपनी दुकानें तत्काल हटा लें. क्योंकि मंदिर परिसर में वे काफी जगह घेर लेते हैं, जिससे यहां आने वाले श्रद्धालुओं को परेशानी का सामना करना पड़ता है.
इस आदेश को लेकर जिला एसडीएम सह मंदिर प्रभारी सागरी बराल ने बताया कि सावन के महीने में श्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ हो जाती है. ऐसे में कई ऐसी अवैध दुकानें भी हैं जो अनावश्यक जगह को घेर कर रखे हुए हैं. जिससे श्रद्धालुओं को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. मंदिर परिसर में जगह बनाने के लिए फिलहाल यह आदेश जारी करते हुए कहा गया है कि पहले सभी दुकानदार जगह खाली करें, जो दशकों से मंदिर परिसर में दुकान चला रहे हैं या फिर यहां के स्थानीय हैं. उन्हें जिला प्रशासन अपने स्तर से जगह अलॉट करवाएगी.
वहीं जिला प्रशासन के इस आदेश को लेकर दुकानदार संघ और फोटोग्राफर ने अपनी चिंता जाहिर की है. वे बताते हैं कि मंदिर परिसर में कई ऐसे दुकानदार हैं जो कुछ वर्षों से ही यहां दुकान चला रहे हैं पर वे स्थानीय भी हैं. मंदिर में पर्याप्त जगह नहीं रहने के कारण छोटे काउंटर लगाकर अपना जीवन यापन करते हैं. लेकिन जिला प्रशासन ने जो आदेश जारी किया है ऐसे में सिर्फ वैसे दुकानदारों को ही लाभ मिल पाएगा जो कई दशक से काम कर रहे हैं. वैसे दुकानदार सावन में अपना व्यापार नहीं कर पाएंगे जो युवा हैं या फिर कुछ वर्षों से मंदिर परिसर में काम कर रहे हैं.
अब ऐसे में मंदिर परिसर में काम करने वाले सैकड़ों फोटोग्राफर और दुकानदार जिला प्रशासन से आग्रह कर रहे हैं कि उन्हें भी सावन माह में मंदिर प्रांगण में जगह दी जाए. क्योंकि सावन ही एक ऐसा महीना होता है. जिसमें ज्यादा से ज्यादा श्रद्धालु मंदिर आते हैं और मंदिर में फोटो खिंचवाते हैं. सावन के एक महीने में होने वाली कमाई से अगले 11 महीने तक अपना जीवन यापन बेहतर तरीके से करते हैं. क्योंकि सावन महीने में श्रद्धालुओं की भीड़ प्रतिदिन लाखों में होती है जबकि आम दिनों में भक्तों के भीड़ काफी कम देखने को मिलती है.
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