वाराणसी : प्रयागराज महाकुंभ में 12 फरवरी को माघी पूर्णिमा के स्नान के बाद श्रद्धालुओं की जबरदस्त भीड़ अब आध्यात्मिक और धार्मिक नगरी वाराणसी की तरफ रुख कर चुकी है. हालत यह है कि गुरुवार सुबह से ही वाराणसी में जबरदस्त भीड़ है. भीड़ को नियंत्रण में करना प्रशासन के लिए भी बड़ा चुनौती पूर्ण साबित हो रहा है. सबसे बुरे हालात तो शहर के हैं. विश्वनाथ मंदिर दशाश्वमेध गोदौलिया, जंगमबाड़ी समेत काल भैरव मंदिर और अन्य रास्तों पर पूरी तरह से भीड़ में अपना कब्जा जमा रखा है. जबरदस्त भीड़ के बीच सबसे बड़ी बात यह है कि विश्वनाथ मंदिर और गंगा घाट पर स्नान करने के लिए लोगों की भीड़ थमने का नाम ही नहीं ले रही है. गोदौलिया चौराहे से लेकर अन्य जो भी रास्ते मंदिर और घाट की तरफ जाते हैं, पूरी तरह से जाम हैं. इनको मैनेज करने के लिए अलग-अलग रास्तों से लोगों को डायवर्ट किया जा रहा है.
होटल, गेस्ट हाउस, लॉज पूरी तरह से फुल : आलाधिकारियों ने खुद मौके पर स्थिति को संभालने के लिए सड़क पर उतरकर काफी जद्दोजहद शुरू कर दी है. जिलाधिकारी से लेकर अन्य अधिकारी काफी मशक्कत करते दिखाई दे रहे हैं. कमिश्नर ने भी कल रात से ही भीड़ को नियंत्रण में करने के लिए मोर्चा संभाल रखा है. शहर के अधिकतर इलाकों में भीड़ ज्यादा होने की वजह से पुलिस पब्लिक के साथ इस पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है. गोदौलिया चौराहे पर भीड़ का दबाव सबसे ज्यादा है, इस वजह से शहर की तरफ आने वाले सभी वाहनों को बाहर ही रोक दिया जा रहा है.
भीड़ का दबाव आज भी बना हुआ है. शहर के अधिकांश इलाके में भीड़ नजर आ रही है. वाराणसी के शहरी और बाहरी दोनों क्षेत्रों में होटल, गेस्ट हाउस, लॉज पूरी तरह से फुल हैं, यहां तक की धर्मशाला से लेकर शेल्टर होम या कई अन्य जगहों पर रुकने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ रही है. वाराणसी प्रशासन इस भीड़ को नियंत्रित करने की कोशिश कर रहा है, लेकिन सारे दावे फेल साबित हो रहे हैं.
जिलाधिकारी एस राजलिंगम का कहना है कि भीड़ के दबाव को देखते हुए सभी गाड़ियों को बनारस की बाहरी हिस्से में ही रोका जा रहा है, जो गाड़ियां शहर में आई हैं उनको निर्धारित पार्किंग में लगवाया जा रहा है, ताकि किसी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े.