नई दिल्ली: अरविंद केजरीवाल सरकार दिल्ली में शिक्षा के स्तर को लगातार बढ़ने के लिए प्रयासरत हैं. इसी के तहत पश्चिम विहार के A6 इलाके में नए सरकारी स्कूल बिल्डिंग का उद्घाटन किया गया. इस मौके पर उन्होंने कहा कि हमारे विधायक और कई आम और खास लोगों ने नामी और बड़े निजी स्कूल से अपने बच्चों को निकाल कर सरकारी स्कूल में दाखिला कराया हैं. ये दिखाता कि हैं सरकार ने शिक्षा को लेकर कितना काम किया है.
कार्यक्रम में अंबेडकर स्कूल आफ एक्सीलेंस के बच्चों ने गीत संगीत का कार्यक्रम प्रस्तुत किया. स्कूल के बच्चों ने अनोखे अंदाज में अंग्रेजी गानों के साथ सीएम केजरीवाल का स्वागत किया. इस दौरान दिल्ली की शिक्षा और पीडब्ल्यूडी मंत्री आतिशी भी मौजूद थी. इसके अलावा शिक्षा सचिव, डायरेक्टर एजुकेशन, सहित शिक्षा अधिकारी मौजूद रहे.
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बच्चों और पेरेंट्स को संबोधित करते हुए कहा कि स्कूल की शानदार बिल्डिंग देखकर मन में ये आता है कि काश मैं भी इस स्कूल में पढ़ पाता. उन्होंने कहा कि दिल्ली के बड़े और नामी स्कूल है उनमें भी इतनी फैसिलिटी नहीं होगी .इस स्कूल में 50 से भी ज्यादा कमरे है दो बड़ी लाइब्रेरी और 13 लैबोरेट्री हैं. 3.6 एकड़ में पूरा भवन है.
पिछले 1 साल में हमने इतने स्कूल का उद्घाटन किया है जिसमें लगभग लाख डेढ़ लाख बच्चे शिक्षा लेंगे. इस स्कूल की बिल्डिंग 1997 में बनी थी लेकिन बिल्डिंग जर्जर हो गई थी उसको तोड़कर नया बनाया जा रहा है. जितने भी पुराने स्कूल है जिसकी बिल्डिंग खराब हो चुकी है उस सब को नया बनाया जाएगा. पहले टीन वाला स्कूल टेंट वाला स्कूल होता था और सरकारी स्कूल के बच्चे में प्राइवेट स्कूल के बच्चे के सामने हीन भावना होती थी जो आज खत्म हो गई है .
अब तक 1500 सरकारी स्कूल के बच्चों ने आईआईटी नीट और इंजीनियरिंग की परीक्षा पास की है. गरीबों के बच्चों को अच्छी शिक्षा देना इससे बड़ा पुण्य का काम कोई नहीं हो सकता और मेरी जब मौत आएगी तो इस बात की तसल्ली रहेगी हजारों लाखों बच्चों को हमने बेहतर शिक्षा दिया.पहले भी बजट इतना ही था लेकिन वह बजट गलत चीजों पर खर्च होता था लेकिन हमने आते ही शिक्षा का बजट बहुत अधिक बढ़ा दिया और शिक्षा को लेकर प्राथमिकता रखी. तभी इतने अच्छे-अच्छे सरकारी स्कूल बनने लगे.
ये भी पढ़ें : दिल्ली के स्कूल टाइमिंग में बदलाव, 6 फरवरी से पुराने समय पर खुलेंगे स्कूल
वहीं, शिक्षा मंत्री आतिशी ने कहा कि प्राइवेट स्कूल की बिल्डिंग पश्चिम विहार की बिल्डिंग को टक्कर नहीं दे सकती है. यह बिल्डिंग दिल्ली के बड़े-बड़े प्राइवेट स्कूल के बिल्डिंग को पीछे छोड़ देती है. दिल्ली के सरकारी स्कूल में पिछले 9 साल में दिल्ली की शिक्षा क्रांति आई है, जब दिल्ली में अरविंद केजरीवाल मुख्यमंत्री बने तब 24,000 कमरे होते थे, लेकिन अरविंद केजरीवाल ने मात्र 9 साल में यह संख्या डबल कर दी. असली लीडरशिप तो यही है.
ये भी पढ़ें : केंद्रीय विद्यालय आरके पुरम के बाहर पैरेंट्स का हंगामा, ऑनलाइन क्लासेज को लेकर दिखा जबरदस्त आक्रोश