जोधपुर: एक निजी क्षेत्र की कंपनी से रिटायर्ड व्यक्ति को पांच दिन तक डिजिटल अरेस्ट कर 1 करोड़ 84 लाख रुपए ठगने का मामला सामने आया है. पीड़ित ने शनिवार को इसको लेकर बनाड़ थाने में मामला दर्ज करवाया है. थाना अधिकारी प्रेमदान रत्नू के अनुसार पीड़ित को ट्राई का अधिकारी बनकर बदमाशों ने फोन किया था.
बदमाशों ने कहा कि आपका आधार कार्ड से एक मोबाइल नंबर उठा हुआ है, जिसको लेकर एक्ट्रोशन की कंप्लेंट है. इसके बाद लगातार गिरफ्तार करने का डर बताया गया. पीड़ित को बैंक भेज कर 11 चैक से अलग-अलग खातों में आरटीजीएस से रुपए ट्रांसफर करवाए हैं. खास बात यह है कि बदमाश ने ही पीड़ित के भाई को बताया कि उसके बड़े भाई के साथ साइबर क्राइम हो गया है. इसके बाद पुलिस को रिपोर्ट दी जिस पर जांच शुरू कर दी है. बनाड़ थाना क्षेत्र के खोखरिया में रहने वाले नरेश कुमार बीपीसीएल से रिटायर्ड हैं. उनके पास 25 नवंबर को बदमाशों ने कॉल कर उनको बताया कि उनके आधार नंबर से एक मोबाइल नंबर उठा है. उसकी हमारे पास कंप्लेंट है. उसके बाद काल मुंबई साइबर क्राइम ब्रांच में ट्रांसफर कर दिया.
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आरबीआई का वारंट भेज डराया: खुद को मुंबई मुंबई साइबर क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताने वाले व्यक्ति ने नरेश कुमार को कहा कि आपके खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है. आपके खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का भी केस है. इसके लिए आरबीआई से वारंट जारी है, जो व्हाट्सएप किया. इसके बाद कहा कि आपको और परिवार को जान का खतरा है. आप अपना सारा पैसा आरबीआई को दें. जांच के बाद 24 घंटे में वापस आपको दे दिया जाएगा.
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10 खातों में 11 चैक से 1 करोड़ 84 लाख लिए: बदमाशों की बातों में आए नरेश कुमार डर गए और उन्होंने खोखरिया स्थित एचडीएफसी बैंक के अपने 11 चेक से 10 खातों में 27 नवंबर आरटीजीएस से पैसे ट्रांसफर कर दिए. लेकिन अगले दिन पैसे वापस नहीं आए. बदमाश उनको टालते रहे. शनिवार को बदमाश ने नरेश कुमार से उसके भाई का नंबर मांगा. जिस पर कॉल कर बताया कि आपके बड़े भाई के साथ साइबर क्राइम हो गया है. जिसके बाद थाने में रिपोर्ट दी.