पटनाः बिहार स्टेट बार काउंसिल ने अधिवक्ताओं के कल्याणार्थ पेंशन, मेडिक्लेम व इंश्योरेंस योजना आदि को प्रभावी रूप से लागू करने के लिए एक बैठक की. मॉडल रूल में किए गए संशोधन को लेकर एक बैठक में बहुत से योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू करने का निर्णय लिया गया. इस तरह से संशोधन बहुमत के साथ पास कर दिया गया. यह वकीलों के लिए ऐतिहासिक दिन कहा जा सकता है. राज्य में कुल 126 अधिवक्ता संघ हैं और तकरीबन सवा लाख अधिवक्ता हैं.
गहन विचार विमर्शः निर्णय के पूर्व राज्यभर से आए अधिवक्ता संघ के प्रतिनिधियों के साथ गहन विचार विमर्श किया गया. लागू होने की तिथि से अब राज्य के निचली अदालतों से जुड़े अधिवक्ता संघों को प्रत्येक हाजिरी फॉर्म पर बिहार बार काउन्सिल के इस कल्याणकारी योजना के तहत 15 रुपए और वकालतनामा पर 40 रुपए देने पड़ेंगे. प्रत्येक अधिवक्ता संघ अपना कल्याणकारी योजना पूर्व की भांति लागू रखेगा.
वर्ष में तीन बार बैठक होगीः बार काउंसिल के इस नए योजना की निगरानी के लिए तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया जाएगा जिससे कि यह पता लग सके कि क्रियान्वयन सही तरीके से हो रहा है या नहीं. वर्ष में तीन बार राज्य के अधिवक्ता संघों के प्रतिनिधियों को बैठक के लिए आमंत्रित करने का भी निर्णय लिया गया है. इन्शोरेंस में वकील के परिजनों को भी शामिल किए जाने की योजना बनाई जाएगी.
80 फीसदी संघ में यह मॉडल नहींः मॉडल रूल बार काउंसिल ही बनाती है. अभी राज्य के 80 फीसदी अधिवक्ता संघों में कोई कल्याणकारी योजना या मॉडल रूल लागू नहीं है. उल्लेखनीय है कि अधिवक्ताओं के लिए पेंशन योजना की शुरुआत पूर्व में ही की गई थी लेकिन राशि के अभाव में इसका क्रियान्वयन संभव नहीं हो पा रहा था. कार्यक्रम को बीसीआई के अध्यक्ष मनन कुमार मिश्रा, स्टेट बार काउंसिल के अध्यक्ष रमाकान्त शर्मा के अलावे उपाध्यक्ष दीनानाथ यादव, वरीय सदस्य योगेश चंद्र वर्मा, विंध्यकेशरी कुमार समेत काउंसिल के सभी सदस्यों ने भाग लिया.