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रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव में NIA के डीएसपी की गिरफ्तारी बनेगी मुद्दा, RJD और BJP आमने-सामने

बिहार में रामगढ़ विधानसभा सीट पर उपचुनाव को लेकर बीजेपी और राजद आमने सामने है. राजद ने एनआईए डीएसपी की गिरफ्तारी को मुद्दा बनाया है.

रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को लेकर सियासत
रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को लेकर सियासत (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 8, 2024, 9:21 AM IST

पटनाः रामगढ़ विधानसभा सीट पर उपचुनाव की तैयारी है. उपचुनाव को लेकर राष्ट्रीय जनता दल और भाजपा तैयारी में जुटी है. इस चुनाव में एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह की गिरफ्तारी को मुद्दा बनाया जा रहा है. राष्ट्रीय जनता दल ने भाजपा को कटघरे में खड़ा किया है. पूर्व विधायक अशोक सिंह की दावेदारी को लेकर राजद ने सवाल खड़ा कर रही है.

क्या है मामला?: आपको बता दें कि पिछले दिनों सीबीआई में एनआईए के डीएसपी अजय प्रताप सिंह की गिरफ्तारी की थी. अजय प्रताप सिंह रंगे हाथ 20 लाख रुपए घूस लेते पकड़े गए थे. अजय प्रताप सिंह पूर्व विधायक अशोक सिंह के करीबी रिश्तेदार हैं. भाजपा अशोक सिंह को मैदान में उतरने की तैयारी कर रही है. यही कारण है कि राजद निशाना साध रही है.

रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को लेकर सियासत (ETV Bharat)

अशोक सिंह पर गंभीर आरोपः राष्ट्रीय जनता दल के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉक्टर सुबोध मेहता ने कहा कि एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह 2.50 करोड़ रुपए में बिक गए. घूस का दूसरा किस्त 20 लाख रुपए लेते हुए सीबीआई द्वारा पकड़े गए. अजय प्रताप सिंह रामगढ़ के पूर्व बीजेपी विधायक अशोक सिंह के दामाद हैं. इनके भतीजा भी पकड़ा गया है. कैमूर बीजेपी का जिला प्रवक्ता और रामगढ़ प्रभारी भी पकड़ा गया है. जो थार मिला है उसपर अशोक सिंह नाम का स्टिकर लगा है.

"ऐसा लग रहा है कि अशोक सिंह बिहार में एनआईए के माध्यम से एक्सटॉर्शन की इंडस्ट्री चला रहे हैं. एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह को सीबीआई द्वारा घुस लेते हुए पकड़ा गया है. अजय प्रताप सिंह रामगढ़ के बीजेपी के पूर्व विधायक अशोक सिंह के दामाद हैं. इससे साफ है कि बीजेपी में क्या चल रहा है." - डॉक्टर सुबोध मेहता, राष्ट्रीय प्रवक्ता, राजद

बीजेपी ने किया पलटवारः इधर राजद के बयान पर बीजेपी ने पलटवार किया है. भाजपा प्रवक्ता पंकज सिंह ने कहा कि राजद ने मान लिया कि देश की एजेंसी अपने अनुसार काम करती है. जो भी गलती करेगा कानून उसे सजा देगा. एनआईए, ईडी और सीबीआई किसी भी एजेंसी के अधिकारी हों गलत पकड़े जाने पर कार्रवाई होती है.

"एक स्वतंत्र जांच एजेंसी के ऑफिसर को एक स्वतंत्र जांच एजेंसी ने पकड़ने का काम किया है. राजद को बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है. अशोक सिंह के रिश्तेदार हो या कोई भी हों. बीजेपी ने ना किसी को कोई बचाता और ना ही किसी को कोई फंसाता है. कानून अपने अनुसार काम करती है." -पंकज सिंह, भाजपा प्रवक्ता

दोनों पार्टी की दावेदारीः दरअसल इस सीट पर एक तरफ जगदानंद सिंह अपने पुत्र को मैदान में उतरने की तैयारी में हैं. दूसरी तरफ भाजपा की ओर से अशोक सिंह को मैदान में उतरने की तैयारी है. यही कारण है कि राजद डीएसपी को मुद्दा बनाकर अपना रास्ता साफ करना चाह रही है.

यह भी पढ़ेंः NIA का डीएसपी 20 लाख घूस लेते गिरफ्तार, मनोरमा देवी से जुड़ा है मामला - NIA DSP Arrested In Patna

पटनाः रामगढ़ विधानसभा सीट पर उपचुनाव की तैयारी है. उपचुनाव को लेकर राष्ट्रीय जनता दल और भाजपा तैयारी में जुटी है. इस चुनाव में एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह की गिरफ्तारी को मुद्दा बनाया जा रहा है. राष्ट्रीय जनता दल ने भाजपा को कटघरे में खड़ा किया है. पूर्व विधायक अशोक सिंह की दावेदारी को लेकर राजद ने सवाल खड़ा कर रही है.

क्या है मामला?: आपको बता दें कि पिछले दिनों सीबीआई में एनआईए के डीएसपी अजय प्रताप सिंह की गिरफ्तारी की थी. अजय प्रताप सिंह रंगे हाथ 20 लाख रुपए घूस लेते पकड़े गए थे. अजय प्रताप सिंह पूर्व विधायक अशोक सिंह के करीबी रिश्तेदार हैं. भाजपा अशोक सिंह को मैदान में उतरने की तैयारी कर रही है. यही कारण है कि राजद निशाना साध रही है.

रामगढ़ विधानसभा उपचुनाव को लेकर सियासत (ETV Bharat)

अशोक सिंह पर गंभीर आरोपः राष्ट्रीय जनता दल के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉक्टर सुबोध मेहता ने कहा कि एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह 2.50 करोड़ रुपए में बिक गए. घूस का दूसरा किस्त 20 लाख रुपए लेते हुए सीबीआई द्वारा पकड़े गए. अजय प्रताप सिंह रामगढ़ के पूर्व बीजेपी विधायक अशोक सिंह के दामाद हैं. इनके भतीजा भी पकड़ा गया है. कैमूर बीजेपी का जिला प्रवक्ता और रामगढ़ प्रभारी भी पकड़ा गया है. जो थार मिला है उसपर अशोक सिंह नाम का स्टिकर लगा है.

"ऐसा लग रहा है कि अशोक सिंह बिहार में एनआईए के माध्यम से एक्सटॉर्शन की इंडस्ट्री चला रहे हैं. एनआईए डीएसपी अजय प्रताप सिंह को सीबीआई द्वारा घुस लेते हुए पकड़ा गया है. अजय प्रताप सिंह रामगढ़ के बीजेपी के पूर्व विधायक अशोक सिंह के दामाद हैं. इससे साफ है कि बीजेपी में क्या चल रहा है." - डॉक्टर सुबोध मेहता, राष्ट्रीय प्रवक्ता, राजद

बीजेपी ने किया पलटवारः इधर राजद के बयान पर बीजेपी ने पलटवार किया है. भाजपा प्रवक्ता पंकज सिंह ने कहा कि राजद ने मान लिया कि देश की एजेंसी अपने अनुसार काम करती है. जो भी गलती करेगा कानून उसे सजा देगा. एनआईए, ईडी और सीबीआई किसी भी एजेंसी के अधिकारी हों गलत पकड़े जाने पर कार्रवाई होती है.

"एक स्वतंत्र जांच एजेंसी के ऑफिसर को एक स्वतंत्र जांच एजेंसी ने पकड़ने का काम किया है. राजद को बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है. अशोक सिंह के रिश्तेदार हो या कोई भी हों. बीजेपी ने ना किसी को कोई बचाता और ना ही किसी को कोई फंसाता है. कानून अपने अनुसार काम करती है." -पंकज सिंह, भाजपा प्रवक्ता

दोनों पार्टी की दावेदारीः दरअसल इस सीट पर एक तरफ जगदानंद सिंह अपने पुत्र को मैदान में उतरने की तैयारी में हैं. दूसरी तरफ भाजपा की ओर से अशोक सिंह को मैदान में उतरने की तैयारी है. यही कारण है कि राजद डीएसपी को मुद्दा बनाकर अपना रास्ता साफ करना चाह रही है.

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