जमशेदपुर: झारखंड विधानसभा चुनाव में भाजपा ने कई विधानसभा क्षेत्रों में नया प्रयोग किया है. जिसमें जमशेदपुर लोकसभा के अंतर्गत आने वाली छह विधानसभा सीटों में से दो पर झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री की प्रतिष्ठा भी दांव पर लगी है. पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान ओडिशा के राज्यपाल रघुवर दास की पुत्रवधू जमशेदपुर पूर्वी से चुनावी मैदान में हैं, जबकि झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा की पत्नी मीरा मुंडा पोटका विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रही हैं. मीरा मुंडा पहली बार चुनाव लड़ रही हैं. टिकट की घोषणा के बाद से ही मीरा मुंडा लगातार क्षेत्र का दौरा कर रही हैं. इस दौरान ईटीवी भारत संवाददाता ने उनसे बात की.
ईटीवी भारत से बात करते हुए मीरा मुंडा ने अपना विजन बताते हुए कहा कि इस विधानसभा क्षेत्र के लोग सरल स्वभाव के हैं. क्षेत्र का विकास जिस तरह होना चाहिए था वैसा नहीं हुआ है, मौजूदा विधायक के खिलाफ लोगों में नाराजगी है. मीरा मुंडा का कहना है कि मैं एक साधारण कार्यकर्ता के तौर पर जनता से मिल रही हूं. क्षेत्र में शिक्षा और पेयजल की सुविधा का अभाव है. वर्तमान सरकार द्वारा महिलाओं के लिए शुरू की गई योजना आपके लिए कितनी बड़ी चुनौती है? इस पर मीरा मुंडा ने कहा कि चुनाव लड़ना ही अपने आप में बड़ी चुनौती है.
मीरा मुंडा ने अर्जुन मुंडा के मुख्यमंत्रित्व काल में उच्च शिक्षा की पढ़ाई की, उन्होंने कहा था कि शिक्षा के लिए कोई उम्र सीमा नहीं होती है. पोटका के माहौल पर उन्होंने कहा कि महिलाओं के लिए उच्च शिक्षा के साथ तकनीकी शिक्षा भी जरूरी है. सरकार बनने के बाद इस पर काम किया जाएगा, ताकि महिलाओं को ज्यादा से ज्यादा रोजगार मिल सके. आज आदिवासी महिलाएं लोको पायलट बन रही हैं, फाइटर प्लेन उड़ा रही हैं, कई डॉक्टर बन रही हैं. मैं चाहती हूं कि यहां की लड़कियां भी पढ़ें और किसी मुकाम पर पहुंचे.
भाजपा कार्यकर्ताओं की नाराजगी पर उन्होंने कहा कि पूर्व विधायक मेनका सरदार नाराज थीं, लेकिन चुनाव कौन लड़ेगा, यह संगठन का फैसला होता है. अब कोई नाराज नहीं है, सभी उनका समर्थन कर रहे हैं.
पोटका सीट पर है झामुमो का कब्जा
आपको बता दें कि जमशेदपुर के अंतर्गत आने वाली पोटका विधानसभा सीट फिलहाल झारखंड मुक्ति मोर्चा के कब्जे में है. इस विधानसभा के विधायक संजीव सरदार हैं, जो इस बार फिर झारखंड मुक्ति मोर्चा के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं. पोटका विधानसभा अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित सीट है. इस विधानसभा में मतदाताओं की संख्या 3,11,082 है. जिसमें से 1,52,001 पुरुष और 1,59,074 महिला मतदाता हैं. जबकि 7 थर्ड जेंडर मतदाता हैं.
पोटका विधानसभा सीट पर आदिवासी समुदाय के भूमिज यानी सरदार समुदाय के उम्मीदवार सबसे ज्यादा बार जीते हैं. इनमें सनातन सरदार, मेनका सरदार, हादिराम सरदार, अमूल्यो सरदार का नाम शामिल है. यही वजह है कि सभी पार्टियां पोटका विधानसभा क्षेत्र में भूमिज उम्मीदवारों की तलाश कर रही हैं. यह विधानसभा क्षेत्र कृषि आधारित क्षेत्र है. यहां के ग्रामीण हर दिन 30 किलोमीटर का सफर कर जमशेदपुर टाटा स्टील में काम करने जाते हैं. शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि के लिए नई योजनाएं यहां के ग्रामीणों के लिए मुद्दे हैं. इधर क्षेत्र में भाजपा की महिला प्रत्याशी मीरा मुंडा ने सुदूर ग्रामीण क्षेत्र से जनसंपर्क अभियान की शुरुआत की है.
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