गया: बिहार के बोधगया आईआईएम के स्थायी कैंपस का मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उद्घाटन करेंगे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वर्चुअल तरीके से इस स्थाई कैंपस का उद्घाटन करेंगे. इस मौके पर आईआईएम बोधगया में बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी की मौजूदगी होगी. 412 करोड़ की लागत से आईआईएम बोधगया के स्थाई कैंपस का निर्माण हुआ है.
412 करोड़ से मिली बड़ी सौगात: 412 करोड़ की लागत से आईआईएम बोधगया के स्थाई कैंपस का निर्माण हुआ है, जिसका उद्घाटन मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेगें. वर्चुअल तरीके से इसका उद्घाटन होगा. करीब 60400 स्क्वायर मीटर में आईआईएम बोधगया का कैंपस बना है. मंत्रोच्चार के साथ इसका उद्घाटन होगा. उद्घाटन के मौके पर बिहार के डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी आईआईएम बोधगया के कैंपस में मौजूद रहेंगे.
2020 के अंतिम महीने से हुई थी शुरुआत: वर्ष 2020 के अंतिम महीने से भारत के शिक्षा मंत्रालय के तहत स्थापित आईआईएम बोधगया की शुरुआत 32 छात्रों के साथ हुई थी. आज इसका अपना कैंपस 412 करोड़ की लागत से बना है और इसका उद्घाटन जब होगा, तब वर्तमान में देेश के 293 शहरों और 25 से अधिक राज्यों के 1110 से अधिक छात्रों का नामांकन यहां विकसित हुआ है. संस्थान के उत्कृष्ट शैक्षणिक समावेशी शिक्षा के प्रति प्रतिबद्धता बनाए रखी है, जिसमें छात्र समूह में 31.7% से अधिक छात्राएं शामिल हैं.
"412 करोड़ की लागत से आईआईएम बोधगया के स्थाई कैंपस का निर्माण हुआ है.32 छात्रों के साथ वर्ष 2020 में अस्थाई कैंपस में आईआईएम बोधगया की शुरुआत हुई थी. आज यहां 1200 के करीब छात्र छात्राएं हैं. यह छात्राओं की संख्या 31% है. देश के 300 शहरों, 25 से अधिक राज्यों के अलावे यूरोप और अमेरिका के भी छात्र अध्यनरत हैं. विदेशी छात्रों की संख्या 37 बताई जाती है."- डॉक्टर विनीता सहाय, डायरेक्टर, आईआईएम बोधगया
कैट के आधार पर दाखिला: आईआईएम बोधगया में कैट आधारित दाखिला होता है. आईआईएम बोधगया में मैनेजमेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम (एमडीपी) और कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (सीएसआर) जैसी शैक्षणिक गतिविधियां चल रहा है. संस्थान में आत्मनिर्भर भारत के उद्देश्य का समर्थन करते हुए 3000 से अधिक सूक्ष्म उधमियों को प्रशिक्षित किया है.
अत्याधुनिक स्मार्ट कक्षाएं: आईआईएम बोधगया द्वारा पुलिस कर्मियों बिहार पुलिस अकादमी और बिहार इंस्टीट्यूट आफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन एंड रूरल डेवलपमेंट बिपार्ड जैसे संस्थान सहित लगभग 2000 प्रशासनिक अधिकारियों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया है, जिससे संस्थान अपनी प्रतिबद्धता बताता है. उत्तम एवं अत्याधुनिक शिक्षा को ध्यान में रखते हुए डिजाइन की हुई यहां अत्याधुनिक स्मार्ट कक्षाएं हैं. प्रज्ञा लाइब्रेरी ज्ञान केंद्र के रूप में स्थित है. ओपन सोर्स सॉफ्टवेयर के माध्यम से विशाल संसाधनों का भी प्रबंध है. छात्रावास में बाजरा आधारित व्यंंजनों पर अधिक जोर दिया जाता है, ताकि स्वस्थ जीवन सुखद बना रहे.
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