भोपाल: देश में पेट्रोल और डीजल खरीदने के लिए पंप संचालक आपसे कोई दस्तावेज नहीं मांगता है. आप जितनी मात्रा में ईंधन खरीदते हैं, उसका मूल्य लेकर पंप के कर्मचारी आपको पेट्रोल-डीजल दे देते हैं, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा. दरअसल, केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय से मोटर वाहन बीमा से संबंधित नियमों में बदलाव करने की सिफारिश की है. जिससे थर्ड पार्टी बीमा को प्रोत्साहित किया जा सके.
ईंधन खरीदने के लिए जरूरी होगा थर्ड पार्टी बीमा
वित्त मंत्रालय की सिफारिशें यदि लागू होती हैं, तो बिना थर्ड पार्टी के कोई भी वाहन सड़क पर दौड़ता हुआ दिखाई नहीं देगा. इसके तहत उन्हीं वाहन चालकों को पेट्रोल-डीजल या सीएनजी दी जाएगी, जिसके पास उसके वाहन का थर्ड पार्टी इंश्योरेंस होगा. यानि यदि आपके वाहन का थर्ड पार्टी बीमा नहीं है, तो आपको उस वाहन के लिए ईंधन भी नहीं मिलेगा. इसके लिए वाहन संबंधी सेवाओं को इंश्योरेंस कवर भी जोड़ा जा रहा है. वहीं पेट्रोल पंप व अन्य सेवाओं को इस प्रकार जोड़ा जाएगा, जिससे केवल वैध बीमा वाले वाहनों को ही सुविधाएं दी जाएंगी.
फास्टैग के लिए भी जरुरी होगा थर्ड पार्टी इंश्योरेंस
पेट्रोल-डीजल की तरह ही बिना थर्ड पार्टी इंश्योरेंस वाले वाहनों को फास्टैग की सुविधा भी नहीं मिलेगी. केवल उन्हीं वाहनों को फास्टैग की सुविधा मिलेगी, जिनका थर्ड पार्टी बीमा होगा. बता दें कि मोटर वाहन अधिनियम के तहत बिना थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के वाहन चलाना अपराध है. पहली बार पकड़े जाने पर 2 हजार रुपये जुर्माना या जेल की सजा है. विशेष परिस्थियों में जुर्माना और जेल दोनों का प्रावधान रहेगा. इसी प्रकार दूसरी बार पकड़े जाने पर जुर्माने की राशि 4 हजार रुपये तक बढ़ाई जा सकती है.
बिना थर्ड पार्टी इंश्योरेंस दौड़ रहे 7 करोड़ वाहन
बता दें कि देश में आधे से अधिक वाहन बिना थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के दौड़ रहे हैं. सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के अनुसार साल 2022-23 में देश में करीब 34 करोड़ वाहन पंजीकृत थे. जिनमें से 50 से 55 प्रतिशत वाहनों का थर्ड बीमा नहीं था. वहीं साल 2020 में जारी किए गए आंकड़े के अनुसार देश में करीब 6 करोड़ वाहन बिना थर्ड बीमा के पाए गए थे. जिनकी संख्या साल 2025 में 7 करोड़ के करीब पहुंच गई है. इसीलिए संसद की एक कमेटी ने इसे लागू करने की सिफारिश की है.
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थर्ड पार्टी बीमा के ये हैं फायदे
थर्ड पार्टी इंश्योरेंस पॉलिसी के फायदे की बात करें तो, मोटर वाहन एक्ट के मुताबिक अगर किसी वाहन का एक्सीडेंट हो जाता है और उसमें किसी की शारीरिक या संपत्ति का नुकसान होता है, तो वाहन मालिक को उसके नुकसान की भरपाई करने होती है. जिसके भुगतान की जिम्मेदारी इंश्योरेंस कंपनी की हो जाती है. थर्ड पार्टी इंश्योरेंस में विभिन्न प्रकार के मुआवजे शामिल हैं. जैसे-किसी अन्य की मृत्यु या शारीरिक क्षति पर मुआवजा, किसी अन्य व्यक्ति के वाहन व संपत्ति की क्षति पर मुआवजा, कानूनी और अस्पताल संबंधी खर्चों का भुगतान आदि शामिल है.