भरतपुर. केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान अब पर्यटकों को नए रूप में नजर आएगा. उद्यान के प्रवेश द्वार पर ही पर्यटकों को जंगल और परिंदों का दीदार हो जाएगा. उद्यान के सौंदर्यीकरण का कार्य शुरू हो गया है. संभवतः एक सप्ताह में यह कार्य पूर्ण हो जाएगा. सौंदर्यीकरण के तहत घना के मुख्य द्वार पर 17-17 फीट ऊंचे दो पेड़ स्थापित किए जाएंगे, जिन पर अलग अलग तरह के करीब 6-7 पक्षियों को भी सजाया जाएगा. इससे यहां आने वाले पर्यटकों को प्रवेश से पूर्व ही जंगल का अहसास हो जाएगा.
डीएफओ मानस सिंह ने बताया कि घना में सौंदर्यीकरण और इसे नया रूप देने का कार्य शुरू किया गया है. इसके तहत घना के मुख्य द्वार को नया रूप दिया जाएगा. पहले के पत्थर वाले द्वार के अलावा एक और द्वार का निर्माण कराया जा रहा है. इसके तहत मुख्य द्वार पर 17-17 फीट ऊंचे दो फाइबर के पेड़ लगाए जाएंगे, जो देखने में पूरी तरह से प्राकृतिक नजर आएंगे. साथ ही इन पेड़ों पर सारस, ब्लैक नेक्ड स्टोर्क, गूज आदि करीब 6-7 तरह के पक्षी बैठाए जाएंगे, जिन्हें देखकर पर्यटकों को असली पेड़ और पक्षियों का अहसास होगा.
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पेड़, पक्षी, बैंच, साइन बोर्ड सभी फाइबर के : घना में सौंदर्यीकरण का कार्य कर रहे अहमदाबाद के किशोर ने बताया कि मुख्य द्वार और घना के अंदर जो कार्य किए जा रहे हैं वो उच्च गुणवत्ता के फाइबर से किए जा रहे हैं. पेड़, पक्षी, बैंच, साइन बोर्ड आदि सभी फाइबर के होंगे, लेकिन देखने में असली लकड़ी, पत्ती के महसूस होंगे. पेड़ों को मजबूती प्रदान करने के लिए इनके अंदर सीमेंट आदि का काम किया जाएगा. किशोर ने बताया के ये सभी बेंच, बोर्ड और पेड़-पक्षी आदि पर आग, धूप और बरसात का कोई असर नहीं होगा. ये वर्षों तक इसी तरह के नजर आएंगे, न इनकी चमक कम होगी और न ही ये गलेंगे. आग से भी ये पूरी तरह सुरक्षित होंगे.
हर ब्लॉक में पक्षियों की जानकारी : डीएफओ मानस सिंह ने बताया कि घना के हर ब्लॉक और रास्ते पर पक्षियों की जानकारी वाले बोर्ड लगाए जाएंगे. ये इस तरह के होंगे कि ये देखने में जंगल का ही हिस्सा लगेंगे. इन पर पक्षियों का फोटो, उनका घना में प्रवास का समय, कहां से आते हैं आदि जानकारी भी प्रदर्शित की जाएंगी. इससे यहां आने वाले पर्यटकों को आसानी से जानकारी उपलब्ध हो सकेगी. इसी तरह से उद्यान में जगह-जगह बेंच भी लगाई जाएंगी, जिन पर पर्यटक आराम कर सकेंगे.