अलीगढ़: सोशल मीडिया पर इस्कॉन के खिलाफ विवादित पोस्ट करने वाले एएमयू के दो पूर्व और एक वर्तमान बांग्लादेशी छात्रों पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय ने सख्त एक्शन लिया है. दोनों पूर्व स्टूडेंट को एएमयू प्रशासन ने डिबार कर दिया है और एक छात्र को नेटिस जारी किया है. डिबार दोनों छात्र एएमयू में कभी भी दाखिला नहीं ले सकते.
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) प्रॉक्टर प्रो. मोहम्मद वसीम अली ने जांच के बाद कार्रवाई करते हुए एएमयू के बांग्लादेशी दो पूर्व छात्र महमूद हसन और मोहम्मद समी उल इस्लाम को डिबार कर दिया है और एक छात्र मोहम्मद आरिफ उल इस्लाम रफत को नोटिस दिया गया है. यूनिवर्सिटी प्रशासन की ओर से डिबार किए गए बांग्लादेशी दोनों पूर्व छात्र भविष्य में कभी एएमयू में दाखिला नहीं ले सकते हैं. इसके साथ ही बीए के छात्र मोहम्मद आरिफ उर रहमान रिफत को चेतावनी जारी किया गया है. अगर दोबारा इस तरह की गलती हुई तो अनुशासनहीनता के तहत कार्रवाई होगी. साथ ही भविष्य में कभी दाखिला नहीं मिल सकेगा.
प्रॉक्टर ने बताया कि तीसरे छात्र ने नोटिस के जवाब में माफी मांगी है और कहा है कि उसका मकसद किसी को ठेस पहुंचाना नहीं था अगर उसके पोस्ट से किसी को ठेस पहुंची है. उसके लिए उसने माफी मांगी है और उसने आश्वासन दिया है कि अब कभी इस तरह के पोस्ट वह नहीं डालेगा.
दरअसल एएमयू में शिक्षा हासिल कर रहे बांग्लादेशी 3 छात्रों ने बीते 10 दिसंबर को सोशल मीडिया पर इस्कॉन को लेकर विवादित पोस्ट किये थे. इसके साथ ही भारतीय महिलाओं को लेकर भी अमर्यादित टिप्पणी की थी. इन छात्रों के खिलाफ कार्रवाई की मांग एएमयू के हिंदू छात्रों ने की थी. तीन छात्रों को निलंबित कर और बाकी को बांग्लादेश भेजने की मांग भी की गई थी.
बता दें कि एएमयू में बांग्लादेश के 36 छात्र- छात्राएं पढ़ रहे हैं. सोमवार को प्रॉक्टर कार्यालय पर छात्र नेता अखिल कौशल व हितेश मेवाड़ा ने धरना देकर बांग्लादेशी छात्रों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी. इस मामले की शिकायत पुलिस से भी की गई थी. छात्र लगातार इन बांग्लादेशी छात्रों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे थे. यूनिवर्सिटी प्रशासन ने जांच के बाद तीन छात्रों के खिलाफ कार्रवाई की है.
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