गिरिडीह: बगोदर कोई भाकपा माले गढ़ या किला नहीं है. दरअसल यहां के प्रतिनिधि जनता की आवाज हैं. किसी भी वर्ग को जरूरत पड़ी है तो बगोदर के प्रतिनिधि ने सड़क से लेकर सदन तक आवाज उठायी है. बगोदर के प्रतिनिधि की यही पहचान है. यह कहना है बगोदर के विधायक और वर्तमान में भाकपा माले के प्रत्याशी विनोद कुमार सिंह का. विनोद कुमार सिंह ने उक्त बातें ईटीवी भारत के संवाददाता से बातचीत के दरमियान कही.
उन्होंने कहा कि यहां जीतने वाले दिवंगत महेंद्र सिंह हो या विनोद. अविभाजित बिहार हो या झारखंड. हर किसी की आवाज भाकपा माले बनी है. उन्होंने कहा कि 2014 में भाकपा माले की हार के पीछे की वजह भ्रम थी. लोगों को लग रहा था कि केंद्र के साथ-साथ सूबे में एक ही दल की सरकार रहेगी तो ज्यादा विकास होगा लेकिन 2014 से 19 तक कार्यकाल के बाद लोगों का भ्रम टूट गया. उन पांच सालों में लोगों ने देख लिया कि लोगों की आवाज गुम हो गई, न विकास को रफ्तार मिल सकी और न ही राज्य स्तर पर बगोदर की वह पहचान रही. ऐसे में 2019 में उन्हें फिर से प्रतिनिधि चुना गया.
पांच साल जनता के लिए खड़ी रही माले
उन्होंने कहा कि इस पांच साल के कार्यकाल में कोविड काल से लेकर हर संकट में सिर्फ भाकपा माले जनता के साथ खड़ी रही. इन पांच सालों के दरमियान प्रवासी मजदूरों की पॉलिसी से जुड़ा हुआ मामला हो या हर समस्या, माले खड़ी रही. इस कार्यकाल में सड़क और पुल से आगे बढ़ते हुए शैक्षणिक व्यवस्था को मजबूत किया गया. 2020 तक बगोदर विधानसभा में एक भी नया हाई स्कूल या एक भी नया इंटर कॉलेज नहीं खुला था.
उन्होंने कहा कि इस कार्यकाल में मेरे प्रयास से यहां हाई स्कूल, इंटर कॉलेज, स्टेडियम बनाया गया. बगोदर में ही शवों का पोस्टमार्टम होने लगा. ट्रॉमा सेंटर की शुरुआत भी यहां कर दी गई. जिस अनुमंडल को हम लोगों ने लड़ कर बनाया था, जिसकी भवन की बुनियाद भी पिछली सरकार के कार्यकाल में डाली नहीं गई उस महत्वपूर्ण भवन बनाने का काम शुरू किया गया. बगोदर को न्यायिक अनुमंडल का भी दर्जा मिल गया है. इसके अलावा पर्यटन स्थल के विकास के लिए भी कई काम किए गए.
उन्होंने कहा कि पांच साल में चुनाव भले ही एक बार होता है लेकिन लोगों को यह महसूस है कि भाकपा माले ही उनकी परेशानियों में खड़ी रहने वाली है. उन्होंने कहा कि इस बार की सरकार के कार्यकाल में जितने धार्मिक स्थलों का विकास हुआ वह अब से पहले नहीं हुआ था.
परीक्षाओं में धांधली करनेवाले को टांगती क्यूं नहीं BJP
विनोद कुमार सिंह ने कहा कि भाजपा के बड़े नेता ने कहा कि परीक्षाओं में धांधली करने वालों को टांग देंगे. मेरा कहना है कि आपको ज्यादा दूर हाथ बढ़ाने की जरूरत नहीं है, आपके बाएं या दाएं में बाबूलाल मरांडी बैठे हुए हैं. हर बात पर भाजपा के नेता सीबीआई जांच की बात कहते हैं तो जेपीएससी वन और जेपीएससी टू बहाली घोटाले की जांच की है. सारी बातें आईने की तरह साफ है. यह घोटाला तो भाजपा की सरकार में भाजपा के मुख्यमंत्री के काल में हुआ है तो फिर उठाइए.
विनोद सिंह कहते हैं कि पूरे देश में सबसे बड़ा घोटाला व्यापम घोटाला है. इस घोटाले की वजह से कई युवकों की जान चली गई. उस मध्य प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री आज हिमंता विस्वा सरमा के साथ झारखंड की कमान थामे हुए हैं.
जनता को सिर्फ गुमराह करने में जुटी है भाजपा
विनोद सिंह कहते हैं कि भाजपा के पास कोई मुद्दा नहीं है. विकास की बात नहीं है. उनके पास मुद्दा होता तो उन्हें आज जवाब देना होता कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, प्रधानमंत्री आवास योजना झारखंड में क्यों बंद कर दी गई. जो सरकार, सरकारी कर्मियों का ही ओल्ड पेंशन बंद कर दे रही हो, भाजपा के समय में था एक मरेगा तब एक जुड़ेगा. आज पेंशन की बात हो चाहे अनुबंध कर्मियों के मानदेय की वृद्धि की बात हो, आज चाहे बिजली बिल की बात हो, स्मार्ट मीटर की बात हो.
उन्होंने कहा कि जब इन मसलों पर बात की जाती है तो वे भाजपा के लोग घुसपैठियों की बात करने लगते हैं. वे मंदिर मस्जिद की बात करने लगते हैं. खतियान की बात करने से भाजपा परहेज करती है. भाजपा के पास जवाब होता तो ये जवाब देना पड़ता कि जब राज्य की विधानसभा में दो - दो बार खतियान आधारित स्थानीय नीति को पास कर दी तो राज्यपाल आखिर क्यों कुंडली मारकर बैठे रहे. तो भाजपा के लिए भ्रम है और जनता हकीकत जान चुकी है. आज बॉर्डर पर बैठे हुए सभी लोग उनके हैं तो फिर गुमराह क्यूं किया जाता है.
उन्होंने कहा कि इस बार जीत होती है तो कई योजना, कई बातें हैं जो उनकी प्रथमिकता में है. चूंकि बगोदर ग्रामीण इलाका है और यहां सड़क - पुल - पुलियों के कारण गैप रहता था. इस खाई को भरा गया है लगभग 95 प्रतिशत सड़क - पुल, पुलिया बन चुकी है. अब 10 - 12 टोले ही बचे हैं जहां सड़क की जरूरत है. शिक्षा, स्वास्थ्य की सुविधा और भी बेहतर हो. प्रवासी श्रमिकों के लिए बेहतर किया जा सके इसका पूरा प्रयास रहेगा.
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