अल्मोड़ा: उत्तराखंड विधानसभा में समान नागरिक संहिता यानी यूनिफॉर्म सिविल कोड 2024 विधेयक पास करने के लिए ही सरकार ने सत्र बुलाया. अल्मोड़ा विधायक मनोज तिवारी ने कहा कि राज्य सरकार यूसीसी बिल जल्दबाजी में लाई है. वहीं उन्होंने लिव इन रिलेशनशिप को मान्यता को देवभूमि की संस्कृति के खिलाफ बताया है.
अल्मोड़ा विधायक मनोज तिवारी ने कहा कि कांग्रेस ने इस यूसीसी का कहीं भी विरोध नहीं किया. लेकिन हम मांग करते हैं कि गुण दोष के आधार पर उसमें जो कमियां हैं, इसको ठीक किया जाए. उन्होंने कहा कि 182 पन्नों के यूसीसी पर बहस को महज दो घंटे दिए गए, जिसका अध्ययन कर चर्चा संभव नहीं थी. उन्होंने कहा कि देवभूमि में लिव-इन रिलेशनशिप आम लोगों के लिए अनभिज्ञ है. इससे बाहरी लोगों को रजिस्ट्रेशन कर यहां लिविंग रिलेशनशिप में रहने की खुली छूट मिलेगी.
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उन्होंने कहा लिव इन रिलेशन में ऐसा कानून होना चाहिए कि अगर कोई लिव इन रिलेशन में रहता है तो उसके खिलाफ अर्थदंड और सजा का प्रावधान होना चाहिए. वहीं कहा कि सरकार ने शादी का पंजीकरण को भी अनिवार्य कर दिया है, इसमें प्रावधान रखा है कि यदि कोई विवाह पंजीकरण नहीं करा पाया तो उसे तीन माह की सजा और 10 से 25 हजार रुपए का अर्थदंड होगा. यह गांव के लोगों के लिए आसान नहीं है. इसलिए इसे हटाया जाना चाहिए. वहीं आरक्षण को भी इसमें शामिल करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार इस कानून को लाई है, उन्होंने लीगल एक्सपर्ट से सलाह ली होगी.
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हमारा कहना है अगर पूरे देश में सरकार समान नागरिक संहिता सरकार ला रही है तो उसे लागू होना चाहिए. वहीं कहा कि इससे ज्यादा वह इसमें टिप्पणी नहीं करेंगे, यह सरकार की जवाबदेही है. इस मौके पर जिलाध्यक्ष भूपेंद्र सिंह भोज, नगर अध्यक्ष तारा जोशी, युकां जिलाध्यक्ष दीपक कुमार, अनु मोर्चा किशन लाल, एनएसयूआई संजू सिंह, पूर्व सैनिक प्रकोष्ठ जिलाध्यक्ष अरविंद बिष्ट आदि मौजूद रहे.