नई दिल्ली/गाजियाबाद: गाजियाबाद में धारा 163 लागू की गई है जिसके तहत जिले में कई तरह की पाबंदियां लागू हो गई हैं. महर्षि वाल्मीकि जयंती, दीपावली, गोवर्धन पूजा, भैया दूज, छठ पूजा, गुरु नानक जयंती, 6 दिसंबर को हिंदू संगठनों द्वारा शौर्य दिवस के रूप में मनाए जाने, मुस्लिम संगठनों द्वारा काला दिवस मनाए जाने और विभिन्न धार्मिक एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम, विभिन्न राजनीतिक पार्टियों और संगठनों द्वारा किए जाने वाले विरोध प्रदर्शन और परीक्षाओं को ध्यान में रखते हुए गाजियाबाद में धारा 163 लागू कर दी गई है.
धारा 163 को लेकर अतिरिक्त पुलिस आयुक्त द्वारा आदेश जारी किया गया है. आदेश में कहा गया है कि किसी भी सार्वजनिक स्थान पर पांच या पांच से अधिक व्यक्ति बिना सक्षम अधिकारी के आदेश के धरना, प्रदर्शन और जुलूस आदि के लिए एकत्रित नहीं होंगे और ना ही ऐसा करने के लिए किसी को प्रेरित करेंगे. कोई भी जाति विशेष का व्यक्ति या समूह किसी भी क्षेत्र में जाकर कोई भी ऐसा कार्य नहीं करेगा जिससे जातीय हिंसा और अन्य विवाद उत्पन्न होने की संभावना हो.
ये भी पढ़ें: दिल्ली से हटाई गई धारा 163, मंत्री सौरभ भारद्वाज ने LG पर कसा तंज
आदेश के मुताबिक कमिश्नरेट गाजियाबाद में किसी भी गांव या मोहल्ले में ऐसे व्यक्ति को प्रवेश नहीं दिया जाएगा जिसके जाने से उस क्षेत्र में तनाव की स्थिति उत्पन्न होने की आशंका हो. सक्षम अधिकारी और संबंधित मजिस्ट्रेट की अनुमति के बिना कोई भी जुलूस, सभा, सम्मेलन, धरना प्रदर्शन और रैली का आयोजन नहीं किया जाएगा.
जारी आदेश में कहा गया है कि कोई भी व्यक्ति किसी प्रकार अस्त्र-शस्त्र, विस्फोटक पदार्थ या ऐसी वस्तु जिनका प्रयोग आक्रमण किए जाने में किया जा सकता है उनको किसी स्थान पर एकत्रित नहीं करेगा और न ही इनका सार्वजनिक प्रदर्शन करेगा. आदेश में कहा गया है कि धारा 163 का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. गाजियाबाद में धारा 163 बीएनएसएस 8 दिसंबर 2024 तक लागू रहेगी.
ये भी पढ़ें: बहराइच में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान हुई घटना के बाद नोएडा पुलिस भी अलर्ट