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51 दृष्टिबाधित बालिकाओं की जिदंगी में एआई बेस्ड चश्मे से आएगा उजियारा, ये दमदार फीचर्स जीवन को करेंगे आसान - AI BASED GLASSES DISTRIBUTED

अलवर में 51 दृष्टिबाधित बालिकाओं को एआई बेस्ड चश्मे बांटे गए. इनके माध्यम से दृष्टिबाधितों की राहें आसान होंगी.

AI Based Glasses Distributed
दृष्टिबाधित बालिकाओं को बांटे एआई बेस्ड चश्मे (ETV Bharat Alwar)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 11, 2024, 4:36 PM IST

अलवर: महिलाओं के साथ लगातार बढ़ते अपराधों को देखते हुए अलवर की नवदिशा संस्थान की सहायता से सूरत की कंपनी द्वारा तैयार किए गए एआई डिवाइस बेस्ड चश्मे गुरुवार को 51 दृष्टिबाधित बालिकाओं को वितरित किए गए. इसके लिए बड़ी दूर से बालिकाएं अलवर पहुंची. एआई बेस्ड डिवाइस पाकर बालिकाओं के चेहरे खिल उठे.

एआई बेस्ड चश्मों से दृष्टिबाधित बालिकाओं की राह होगी आसान (ETV Bharat Alwar)

नव दिशा संस्थान के संस्थापक अवनीश मलिक ने बताया कि आज के समय में महिलाओं का जीवन पूर्णता सुरक्षित नहीं है. ऐसी स्थिति में दृष्टिबाधित बालिकाओं के लिए यह एक बहुत बड़ा प्रश्न चिन्ह है. यही एक कारण है कि आज सबसे पहले दृष्टिबाधित बालिकाओं को यह स्मार्ट ग्लास डिवाइस मुफ्त में दिया जा गया है. अवनीश मलिक ने कहा कि इस स्मार्ट ग्लास डिवाइस में एक कैमरा लगा हुआ है, जिसमें सभी चीज रिकॉर्ड होंगी. दृष्टिबाधित बालिकाओं को इस उपकरण को यूज करने के बाद काफी सुरक्षित व आत्मनिर्भर महसूस होगा.

पढ़ें: जन्म से दृष्टिबाधित बच्चे की आंख को मिली रोशनी, 5 महीने के मासूम ने पहली बार देखा मां को - Eye surgery for a blind child

यह फीचर है डिवाइस में: नव दिशा संस्थान के संस्थापक अवनीश मलिक ने बताया कि इस डिवाइस को गुजरात की कंपनी द्वारा तैयार किया गया है. यह डिवाइस लीड के माध्यम से एंड्रॉयड मोबाइल से कनेक्ट होता है. जैसे ही डिवाइस मोबाइल से कनेक्ट होगा, इसके बाद कैमरा शुरू हो जाएगा और जो भी व्यक्ति डिवाइस को इस्तेमाल कर रहा है वह अपने सुविधा अनुसार अपना ऑप्शन चूज कर सकता है. उन्होंने बताया कि इस मोबाइल में तीन ऑप्शन है. पहला ऑप्शन व्यक्ति को चलते समय रास्ते में किसी तरह का अवरोध आता है, तो डिवाइस तुरंत व्यक्ति को सचेत कर देगा. दूसरे ऑप्शन के माध्यम से व्यक्ति अपने सामने आने वाले किसी भी लैंग्वेज व टेक्स्ट को पढ़ सकता है. जिसमें अखबार, किताब व कोई दस्तावेज की लिखावट शामिल है. तीसरी ऑप्शन में व्यक्ति अपने पास होने वाली करेंसी को जान सकता है कि उसके हाथ में कितने रुपए का सिक्का या नोट है.

पढ़ें: इन्होंने राम को पोर-पोर पढ़ा और शब्दों में गढ़ा है, राम की मूरत नहीं देखी पर श्रद्धा ऐसी कि बंद आंखों से पढ़ते हैं चौपाइयां - Braille script Ramayana Path

दिल्ली, हरियाणा साहित प्रदेश के कई जिलों से आई बालिकाएं: अवनीश मलिक ने बताया कि गुरुवार को स्मार्ट ग्लास डिवाइस लेने के लिए बालिकाएं दिल्ली, हरियाणा, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश सहित प्रदेश के जोधपुर, बीकानेर, जयपुर, राजसमंद, बाड़मेर, अजमेर, प्रतापगढ़, भीलवाड़ा सहित अन्य जिलों से अलवर पहुंची. जिन बालिकाओं को स्मार्ट डिवाइस मिले, उनके चेहरे खुशी से खिल उठे. उनका कहना था कि अब वह इस डिवाइस के माध्यम से पढ़ना सुनना व बिना किसी व्यक्ति के सहारे की अपने काम कर सकेंगी. अवनीश मलिक ने बताया कि इस डिवाइस की कीमत करीब 19900 रुपए है. जिसे गुजरात के रमेश शाह ने नव दिशा संस्थान के साथ मिलकर दृषिहीन बालिकाओं को मुफ्त में दिया.

पढ़ें: हवामहल का दृष्टिबाधित पर्यटक ब्रेल लिपि से जान रहे हैं इतिहास, नेत्रहीनों के लिए ब्रोशर उपलब्ध

200 स्मार्ट ग्लास डिवाइस बांटे जाएंगे: अवनीश मलिक ने बताया कि अलवर का आयोजन सफल रहा. आने वाले समय में संस्था 200 स्मार्ट ग्लास डिवाइस दृष्टिहीन बालिकाओं को उपलब्ध करवाएगी. उन्होंने बताया कि समय-समय पर भामाशाहों के माध्यम से दृष्टिबाधित लोगों को उपकरण व जरूरी सामान उपलब्ध करवाए जाते हैं.

अलवर: महिलाओं के साथ लगातार बढ़ते अपराधों को देखते हुए अलवर की नवदिशा संस्थान की सहायता से सूरत की कंपनी द्वारा तैयार किए गए एआई डिवाइस बेस्ड चश्मे गुरुवार को 51 दृष्टिबाधित बालिकाओं को वितरित किए गए. इसके लिए बड़ी दूर से बालिकाएं अलवर पहुंची. एआई बेस्ड डिवाइस पाकर बालिकाओं के चेहरे खिल उठे.

एआई बेस्ड चश्मों से दृष्टिबाधित बालिकाओं की राह होगी आसान (ETV Bharat Alwar)

नव दिशा संस्थान के संस्थापक अवनीश मलिक ने बताया कि आज के समय में महिलाओं का जीवन पूर्णता सुरक्षित नहीं है. ऐसी स्थिति में दृष्टिबाधित बालिकाओं के लिए यह एक बहुत बड़ा प्रश्न चिन्ह है. यही एक कारण है कि आज सबसे पहले दृष्टिबाधित बालिकाओं को यह स्मार्ट ग्लास डिवाइस मुफ्त में दिया जा गया है. अवनीश मलिक ने कहा कि इस स्मार्ट ग्लास डिवाइस में एक कैमरा लगा हुआ है, जिसमें सभी चीज रिकॉर्ड होंगी. दृष्टिबाधित बालिकाओं को इस उपकरण को यूज करने के बाद काफी सुरक्षित व आत्मनिर्भर महसूस होगा.

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यह फीचर है डिवाइस में: नव दिशा संस्थान के संस्थापक अवनीश मलिक ने बताया कि इस डिवाइस को गुजरात की कंपनी द्वारा तैयार किया गया है. यह डिवाइस लीड के माध्यम से एंड्रॉयड मोबाइल से कनेक्ट होता है. जैसे ही डिवाइस मोबाइल से कनेक्ट होगा, इसके बाद कैमरा शुरू हो जाएगा और जो भी व्यक्ति डिवाइस को इस्तेमाल कर रहा है वह अपने सुविधा अनुसार अपना ऑप्शन चूज कर सकता है. उन्होंने बताया कि इस मोबाइल में तीन ऑप्शन है. पहला ऑप्शन व्यक्ति को चलते समय रास्ते में किसी तरह का अवरोध आता है, तो डिवाइस तुरंत व्यक्ति को सचेत कर देगा. दूसरे ऑप्शन के माध्यम से व्यक्ति अपने सामने आने वाले किसी भी लैंग्वेज व टेक्स्ट को पढ़ सकता है. जिसमें अखबार, किताब व कोई दस्तावेज की लिखावट शामिल है. तीसरी ऑप्शन में व्यक्ति अपने पास होने वाली करेंसी को जान सकता है कि उसके हाथ में कितने रुपए का सिक्का या नोट है.

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दिल्ली, हरियाणा साहित प्रदेश के कई जिलों से आई बालिकाएं: अवनीश मलिक ने बताया कि गुरुवार को स्मार्ट ग्लास डिवाइस लेने के लिए बालिकाएं दिल्ली, हरियाणा, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश सहित प्रदेश के जोधपुर, बीकानेर, जयपुर, राजसमंद, बाड़मेर, अजमेर, प्रतापगढ़, भीलवाड़ा सहित अन्य जिलों से अलवर पहुंची. जिन बालिकाओं को स्मार्ट डिवाइस मिले, उनके चेहरे खुशी से खिल उठे. उनका कहना था कि अब वह इस डिवाइस के माध्यम से पढ़ना सुनना व बिना किसी व्यक्ति के सहारे की अपने काम कर सकेंगी. अवनीश मलिक ने बताया कि इस डिवाइस की कीमत करीब 19900 रुपए है. जिसे गुजरात के रमेश शाह ने नव दिशा संस्थान के साथ मिलकर दृषिहीन बालिकाओं को मुफ्त में दिया.

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200 स्मार्ट ग्लास डिवाइस बांटे जाएंगे: अवनीश मलिक ने बताया कि अलवर का आयोजन सफल रहा. आने वाले समय में संस्था 200 स्मार्ट ग्लास डिवाइस दृष्टिहीन बालिकाओं को उपलब्ध करवाएगी. उन्होंने बताया कि समय-समय पर भामाशाहों के माध्यम से दृष्टिबाधित लोगों को उपकरण व जरूरी सामान उपलब्ध करवाए जाते हैं.

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