खेतड़ी. कोलिहान खदान में हुए हादसे की जांच को लेकर अब हिंदुस्तान कॉपर लिमिटेड के अधिकारी खेतड़ी पहुंच रहे हैं. सोमवार को कंपनी के सीएमडी खदान हादसे की जांच करने के लिए घटनास्थल पर पहुंचे. इस दौरान उन्होंने पहले से चल रही जांच की जानकारी ली और स्थिति का जायजा लिया. सीएमडी घनश्याम शर्मा ने बताया कि हिंदुस्तान कॉपर लिमिटेड की कोलिहान खदान सबसे सुरक्षित खदान मानी जाती थी, लेकिन इस हादसे को लेकर हर कोई आश्चर्य चकित है.
सीएमडी घनश्याम शर्मा ने बताया कि लिफ्ट में आई तकनीकी खामी को लेकर बारीकी से जांच की जा रही है. इसमें मिलने वाली कमियों को दुरुस्त कर आगामी समय में नई तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा, जिससे भविष्य में इस प्रकार के हादसे की पुनरावृत्ति ना हो. खदान में हादसे के दौरान सिग्नल का सही तरीके से काम नहीं करने की बात भी सामने आई है, जो घटना की सबसे बड़ी कड़ी मानी जा रही है. ऐसे में सिग्नल मैन, बाइंडर ऑपरेटर समेत कई कर्मचारियों से इस हादसे की जानकारी ली जा रही है. कोलिहान खदान हादसे के बाद एचसीएल प्रबंधन ने हिंदुस्तान कॉपर लिमिटेड की ओर से चार सदस्यीय टीम को जांच के लिए लगाया गया है. इसके अलावा डीजीएमएस धनबाद से सुरक्षा की टीम भी बारीकी से हादसे की जांच कर रही है.
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हादसे में विजिलेंस अधिकारी की हुई थी मौत : बता दें कि 14 मई को विजिलेंस अधिकारी सहित 14 सदस्य की टीम खदान का निरीक्षण कर रही थी. इस दौरान लिफ्ट टूटने की वजह से हादसा हो गया था. इस हादसे में 1875 फीट गहरी खदान में गिरने से विजिलेंस अधिकारी उपेंद्र कुमार पांडे की मौत हो गई थी, जबकि 14 अन्य अधिकारी घायल हो गए थे. घायलों का जयपुर में इलाज चल रहा है. घनश्याम शर्मा ने बताया कि हादसे का शिकार हुए विजिलेंस अधिकारी उपेंद्र कुमार के परिवार को एचसीएल की ओर से 10.70 लाख रुपए की आर्थिक सहायता मुहैया करवाई गई है. इसके अलावा और भी आर्थिक सहयोग के लिए बेहतर प्रयास किए जा रहे हैं.