मेरठ : दो दिन पहले शनिवार को थाना नौचंदी क्षेत्र के प्रीत विहार इलाके में फैक्ट्री मालिक ने कार से 18 माह की बच्ची को कुचल दिया था. बच्ची की मौके पर ही मौत हो गई थी. इस मामले में आरोपी के खिलाफ कार्रवाई की मांग बच्ची का परिवार करता रहा. लेकिन आरोप है कि पुलिस फैक्ट्री मालिक को बचाने में लगी रही. इससे नाराज बच्ची के चाचा ने सोमवार को पुलिस आयुक्त कार्यालय के गेट पर आत्मदाह का प्रयास किया. वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने उसे बचाया और कोतवाली ले गए. इस दौरान मृतक बच्ची का चाचा पुलिस पर गंभीर आरोप लगाता रहा. साथ ही पुलिस मुर्दाबाद के नारे लगाए.
प्रीत विहार इलाके में अभिषेक प्रजापति का परिवार रहता है. अभिषेक नर्सिंग होम में कंपाउंडर है. बीते शनिवार नर्सिंग होम में ड्यूटी कर रहा था. इस दौरान पत्नी गुड्डन और 18 महीने की बेटी तनिष्का घर में मौजूद थी. बताते हैं कि तनिष्का घर के आंगन से खेलते हुए सड़क पर निकल गई. इसी दौरान तेज रफ्तार कार ने उसे कुचल दिया. मासूम की मौके पर मौत हो गई. कार का मालिक प्रीत विहार का ही रहने वाला धागा फैक्ट्री का मालिक संजय गुप्ता है. इस घटना के बाद बच्ची के परिजनों ने कार मालिक के खिलाफ कार्रवाई की गुहार लगाई, लेकिन आरोप है कि पुलिस ने मामूली धाराओं में मुकदमा दर्ज किया.
इससे नाराज होकर सोमवार को बच्ची के चाचा विक्रांत ने मेरठ मंडल आयुक्त कार्यालय के मेन गेट पर पहुंचकर अपने ऊपर मिट्टी का तेल डाल लिया और आत्मदाह का प्रयास किया. इस घटना से हड़कंप मच गया और मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने किसी तरह विक्रांत को पकड़ा. विक्रांत ने थाना नौचंदी पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए. विक्रांत बार-बार कहता रहा कि सरकार का बुलडोजर गरीबों पर चलता है और इस घटना को अंजाम देने वाला एक अमीर आदमी है, इसी वजह से थाना पुलिस ने उसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की. मामूली धाराओं में उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है.