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उत्तराखंड में कैसे होगे विंटर गेम्स? स्कीइंग स्लोप खस्ता, बदहाल है औली का मोटर मार्ग

उत्तराखंड में 20 जनवरी से 20 फरवरी के बीच आयोजित हो सकते है विंटर गेम्स, औली में FIS की चार रेस प्रस्तावित है.

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By ETV Bharat Sports Team

Published : 2 hours ago

Updated : 1 hours ago

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उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन (फाइल फोटो) (ETV Bharat)

देहरादून: उत्तराखंड में इस साल 20 जनवरी से 20 फरवरी के बीच में विंटर गेम्स आयोजित किए जा सकते हैं. उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन से मिली जानकारी के अनुसार इस बार उत्तराखंड में फेडरेशन ऑफ़ इंटरनेशनल स्की (FIS) की चार रेस प्रस्तावित है. जिसमें से 2 रेस स्लैलम और 2 जायंट स्लैलम रेस आयोजित की जानी है.

स्लालोम रेस की तुलना में जायंट स्लालोम रेस ज्यादा स्पीड और ज्यादा रोमांच भरी होती है. वहीं इसके अलावा नेशनल विंटर गेम्स के भी तीन इवेंट उत्तराखंड में प्रस्तावित है. इनमें अल्पाइन, स्नोबोर्ड, नॉर्डिक (Alpine, Snowboard, Nordic) तीन इवेंट है, जो की होली में 20 जनवरी से 20 फरवरी के बीच में आयोजित करवाने के लिए प्रस्तावित है. लेकिन समस्या ये है कि विंटर गेम्स के लिए अभीतक तक तो औली तैयार नहीं है.

उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन के जॉइंट सेक्रेटरी अजय भट्ट ने बताया कि कश्मीर में होने जा रहे खेलो इंडिया के साथ ही नेशनल विंटर गेम्स की तरीखों की भी घोषणा हो जाएगा. इसी के साथ-साथ फेडरेशन ऑफ इंटरनेशनल स्की की रेस की तारीखों का भी ऐलान हो जाएगा. इसके बाद उत्तराखंड के औली में होने वाले विंटर गेम्स को लेकर वस्तु स्थिति स्पष्ट हो पाएगी.

वहीं अगर तैयारी की बात करें तो उन्होंने बताया कि औली में स्लोप खराब पड़ी है, जिसे रिपेयर करने की जरूरत है. इसके अलावा ग्लास हाउस, जहां बैठकर खिलाड़ी और दर्शन मैच का मजा लेगे, उसे भी मरम्मत की जरूरत है. इसके अलावा मौसम की कभी-कभी औली में बड़ी चुनौती बनाता है.

उत्तराखंड विंटर गेम्स एसोसिएशन का कहना है कि उत्तराखंड में लगातार बदलते मौसम के बीच में औली में विंटर गेम्स आयोजित भी कही चुनौती बन जाता है. वहीं खिलाड़ी और दर्शक समय से औली पहुंचे, इसके लिए जरूरी है कि हेलीकॉप्टर को गौचर की जगह सीधे में औली में लैंड कराया जाए. क्योंकि मोटर मार्ग से गौचर से औली जाने में बहुत अधिक समय लगाता है.

इसके अलावा संगठन का कहना है कि जोशीमठ से औली तक की सड़क के भी बुरे हाल हैं. उसे भी ठीक किए जाने की जरूरत है. वही विंटर गेम्स के दौरान सड़क पूरी तरह से बर्फ से ढकी रहती है, जिसके लिए स्नो कटर की जरूरत होती है. उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन का कहना है कि उत्तराखंड में सफल विंटर गेम करवाने के लिए सरकार का सहयोग बेहद जरूरी है.

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देहरादून: उत्तराखंड में इस साल 20 जनवरी से 20 फरवरी के बीच में विंटर गेम्स आयोजित किए जा सकते हैं. उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन से मिली जानकारी के अनुसार इस बार उत्तराखंड में फेडरेशन ऑफ़ इंटरनेशनल स्की (FIS) की चार रेस प्रस्तावित है. जिसमें से 2 रेस स्लैलम और 2 जायंट स्लैलम रेस आयोजित की जानी है.

स्लालोम रेस की तुलना में जायंट स्लालोम रेस ज्यादा स्पीड और ज्यादा रोमांच भरी होती है. वहीं इसके अलावा नेशनल विंटर गेम्स के भी तीन इवेंट उत्तराखंड में प्रस्तावित है. इनमें अल्पाइन, स्नोबोर्ड, नॉर्डिक (Alpine, Snowboard, Nordic) तीन इवेंट है, जो की होली में 20 जनवरी से 20 फरवरी के बीच में आयोजित करवाने के लिए प्रस्तावित है. लेकिन समस्या ये है कि विंटर गेम्स के लिए अभीतक तक तो औली तैयार नहीं है.

उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन के जॉइंट सेक्रेटरी अजय भट्ट ने बताया कि कश्मीर में होने जा रहे खेलो इंडिया के साथ ही नेशनल विंटर गेम्स की तरीखों की भी घोषणा हो जाएगा. इसी के साथ-साथ फेडरेशन ऑफ इंटरनेशनल स्की की रेस की तारीखों का भी ऐलान हो जाएगा. इसके बाद उत्तराखंड के औली में होने वाले विंटर गेम्स को लेकर वस्तु स्थिति स्पष्ट हो पाएगी.

वहीं अगर तैयारी की बात करें तो उन्होंने बताया कि औली में स्लोप खराब पड़ी है, जिसे रिपेयर करने की जरूरत है. इसके अलावा ग्लास हाउस, जहां बैठकर खिलाड़ी और दर्शन मैच का मजा लेगे, उसे भी मरम्मत की जरूरत है. इसके अलावा मौसम की कभी-कभी औली में बड़ी चुनौती बनाता है.

उत्तराखंड विंटर गेम्स एसोसिएशन का कहना है कि उत्तराखंड में लगातार बदलते मौसम के बीच में औली में विंटर गेम्स आयोजित भी कही चुनौती बन जाता है. वहीं खिलाड़ी और दर्शक समय से औली पहुंचे, इसके लिए जरूरी है कि हेलीकॉप्टर को गौचर की जगह सीधे में औली में लैंड कराया जाए. क्योंकि मोटर मार्ग से गौचर से औली जाने में बहुत अधिक समय लगाता है.

इसके अलावा संगठन का कहना है कि जोशीमठ से औली तक की सड़क के भी बुरे हाल हैं. उसे भी ठीक किए जाने की जरूरत है. वही विंटर गेम्स के दौरान सड़क पूरी तरह से बर्फ से ढकी रहती है, जिसके लिए स्नो कटर की जरूरत होती है. उत्तराखंड विंटर गेम एसोसिएशन का कहना है कि उत्तराखंड में सफल विंटर गेम करवाने के लिए सरकार का सहयोग बेहद जरूरी है.

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