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जानिए क्या होती है स्वीट क्रेविंग, क्यों जरूरी है इसको कंट्रोल में रखना, फॉलो करें ये टिप्स

अचानक मीठा खाने की बहुत ज्यादा तलब होने लगे तो यह स्वास्थ्य से जुड़ी कुछ समस्याओं का संकेत हो सकती है.

how to control sweet cravings and Abnormal sweet craving affects health
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By ETV Bharat Health Team

Published : Nov 12, 2024, 3:07 PM IST

कई लोगों को कभी-कभी अचानक मीठा खाने की बहुत ज्यादा क्रेविंग (तलब) होती है. वैसे तो यह एक सामान्य व्यवहार है लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस प्रकार की क्रेविंग अगर ज्यादा बढ़ने लगे तो ना सिर्फ यह स्वास्थ्य से जुड़ी कुछ समस्याओं का संकेत हो सकती है, बल्कि यदि इस पर नियंत्रण ना किया जाय तो यह कई समस्याओं का कारण भी बन सकती है!

जरूरी है शुगर क्रेविंग पर नियंत्रण रखना : क्या आपने महसूस किया है कि कई बार अचानक हमें मीठा खाने की बहुत तीव्र इच्छा होने लगती है. ऐसे में हम भले ही छोटा ही सही लेकिन मिठाई, चॉकलेट और किसी भी प्रकार का मीठा ढूंढने लगते हैं. ऐसे में कई बार अगर मीठा नहीं मिल पाता है तो हम बैचेन, अनमने से या चिड़चिड़ा महसूस करने लगते हैं. अगर हां तो क्या आपने यह भी सोचा है कि ऐसा क्यों होता है?

जानकार बताते हैं कि मीठा खाने की इच्छा जिसे अंग्रेजी में "शुगर क्रेविंग" कहा जाता है एक बहुत सामान्य व्यवहार है लेकिन अगर लोगों में यह क्रेविंग असामान्य रूप से बढ़ने लगे तो ऐसा होना कई बार शरीर में कुछ प्रकार के पोषण की कमी के साथ कुछ समस्याओं का संकेत हो सकता है, वहीं यदि इस पर नियंत्रण ना रखा जाय और इस इच्छा के कारण वक्त बेवक्त ज्यादा मात्रा में मीठे का सेवन किया जाय जाए तो यह सम्पूर्ण स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभावों का कारण बन सकता है.

ABNORMAL SWEET CRAVING AFFECTS HEALTH AND HOW TO CONTROL SWEET CRAVINGS
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शुगर क्रेविंग का कारण : दिल्ली की पोषण विशेषज्ञ डॉ दिव्या शर्मा बताती हैं कि दरअसल मीठा आहार शरीर में ऊर्जा के निर्माण व उसे बनाए रखने में मदद करता है. कई बार जब हम मानसिक या शारीरिक रूप से थक जाते हैं या तनाव का सामना कर रहे होते हैं तो हमारा शरीर तुरंत ऊर्जा की मांग करता है ऐसे में हमें कई बार शुगर क्रेविंग होने लगती है और मीठा खाने से शरीर को तत्काल जरूरी मात्रा में ऊर्जा की पूर्ति हो जाती है.

इसके अलावा शरीर में ब्लड शुगर में उतार चढ़ाव बढ़ने या कम होने से भी ऐसा हो सकता है. वहीं कुछ विशेष हार्मोन में बदलाव भी कई बार इस क्रेविंग के लिए जिम्मेदार हो सकता है. विशेषकर महिलाओं में हार्मोनल बदलाव होने पर शरीर में मीठे की लालसा बढ़ने लगती है.

कई बार नींद की कमी और शरीर में कुछ विशेष पोषण की कमी होने पर भी मीठा खाने की क्रेविंग होने लगती है. दरअसल कई बार नींद पूरी न होने पर हमारा शरीर ऊर्जा के लिए जल्दी स्रोत खोजने की कोशिश करता है, और चूंकि मीठा खाने से तुरंत ऊर्जा मिल जाती है ऐसे में मीठा खाने की क्रेविंग होने लगती है. वहीं कई बार आहार में प्रोटीन, क्रोमियम, फाइबर, मैग्नीशियम, जिंक या स्वस्थ वसा की कमी होने पर भी आपका शरीर मीठा खाने की इच्छा दिखा सकता है.

हानिकारक है असामान्य क्रेविंग : Dr Divya Sharma बताती हैं कि कभी-कभी मीठे की लालसा होना बेहद सामान्य है लेकिन अगर ऐसा बहुत ज्यादा होने लगे तो यह असामान्य है तथा ऐसी अवस्था में चिकित्सक से परामर्श जरूरी है. इसके अलावा यदि बार-बार मीठे की क्रेविंग होने पर लोग जरूरत से ज्यादा मीठा खाने लगे तो यह कई समस्याओं का कारण भी बन सकता है.

Dietitian Dr Divya Sharma बताती हैं कि आहार में मीठे की अधिकता से कई स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं, जैसे ज्यादा मीठा खाने से वजन बढ़ सकता है, वहीं इससे मधुमेह (डायबिटीज) जैसी कई बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है , इसलिए इसे नियंत्रित करना जरूरी है. स्वस्थ आदतें, संतुलित आहार, और जीवनशैली में बदलाव से इस क्रेविंग को आसानी से नियंत्रित किया जा सकता है. याद रखें, मीठा तभी अच्छा है जब इसे सही मात्रा में खाया जाए.

मीठे की क्रेविंग को नियंत्रित करने के उपाय : Dr Divya Sharma, Dietitian बताती हैं कि यदि किसी व्यक्ति को असामान्य रूप से मीठे की क्रेविंग होती है, तो उन्हें पोषण विशेषज्ञ या डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए. इसके अलावा कुछ बातें व आदतें हैं जिन्हे अपनी दिनचर्या में अपनाने से मीठे की असामान्य क्रेविंग को कम करने में मदद मिल सकती है. जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं.

संतुलित आहार लें : अपने आहार में प्रोटीन, फाइबर और स्वस्थ वसा सहित अन्य जरूरी पोषक तत्वों को शामिल करें ताकि शरीर को जरूरी पोषण मिले और मीठे की क्रेविंग कम हो.

छोटे मील लें : कम अंतराल पर भोजन करें तथा छोटे-छोटे मील (भोजन) लें. दरअसल ब्लड शुगर सामान्य से कम होने पर भी मीठे की क्रेविंग होती है. ऐसे में सामान्य से ज्यादा बार तथा कम अंतराल पर कम-कम मात्रा में भोजन करने से ब्लड शुगर लेवल को सामान्य रखने में मदद मिलती है. लेकिन ध्यान रहे कि आहार की मात्रा इतनी हो की आप भूखे ना रहे.

पर्याप्त नींद : अच्छी नींद लेने से शरीर में ऊर्जा का संतुलन बना रहता है और मीठे की क्रेविंग कम होती है.

तनाव को करें नियंत्रित : तनाव को कम करने के लिए रोजाना व्यायाम, ध्यान और योग का सहारा लें. इससे मीठा खाने की अनावश्यक इच्छा कम होगी.

फल और ड्राई फ्रूट्स का सेवन : अगर मीठा खाने की क्रेविंग हो तो चॉकलेट या मिठाई की जगह फलों या ड्राई फ्रूट्स का सेवन करें. ये स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते हैं और तुरंत ऊर्जा भी देते हैं.

हाइड्रेटेड रहें : शरीर में डिहाइड्रेशन होने पर भी शुगर क्रेविंग हो सकती है, इसलिए कोशिश करें कि पर्याप्त पानी पिएं.

डिस्कलेमर :- यहां दी गई जानकारी और सुझाव सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं, बेहतर होगा कि इन पर अमल करने से पहले आप डॉक्टर/एक्सपर्ट की सलाह लें.

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कई लोगों को कभी-कभी अचानक मीठा खाने की बहुत ज्यादा क्रेविंग (तलब) होती है. वैसे तो यह एक सामान्य व्यवहार है लेकिन क्या आप जानते हैं कि इस प्रकार की क्रेविंग अगर ज्यादा बढ़ने लगे तो ना सिर्फ यह स्वास्थ्य से जुड़ी कुछ समस्याओं का संकेत हो सकती है, बल्कि यदि इस पर नियंत्रण ना किया जाय तो यह कई समस्याओं का कारण भी बन सकती है!

जरूरी है शुगर क्रेविंग पर नियंत्रण रखना : क्या आपने महसूस किया है कि कई बार अचानक हमें मीठा खाने की बहुत तीव्र इच्छा होने लगती है. ऐसे में हम भले ही छोटा ही सही लेकिन मिठाई, चॉकलेट और किसी भी प्रकार का मीठा ढूंढने लगते हैं. ऐसे में कई बार अगर मीठा नहीं मिल पाता है तो हम बैचेन, अनमने से या चिड़चिड़ा महसूस करने लगते हैं. अगर हां तो क्या आपने यह भी सोचा है कि ऐसा क्यों होता है?

जानकार बताते हैं कि मीठा खाने की इच्छा जिसे अंग्रेजी में "शुगर क्रेविंग" कहा जाता है एक बहुत सामान्य व्यवहार है लेकिन अगर लोगों में यह क्रेविंग असामान्य रूप से बढ़ने लगे तो ऐसा होना कई बार शरीर में कुछ प्रकार के पोषण की कमी के साथ कुछ समस्याओं का संकेत हो सकता है, वहीं यदि इस पर नियंत्रण ना रखा जाय और इस इच्छा के कारण वक्त बेवक्त ज्यादा मात्रा में मीठे का सेवन किया जाय जाए तो यह सम्पूर्ण स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभावों का कारण बन सकता है.

ABNORMAL SWEET CRAVING AFFECTS HEALTH AND HOW TO CONTROL SWEET CRAVINGS
कॉन्सेप्ट इमेज (ETV Bharat)

शुगर क्रेविंग का कारण : दिल्ली की पोषण विशेषज्ञ डॉ दिव्या शर्मा बताती हैं कि दरअसल मीठा आहार शरीर में ऊर्जा के निर्माण व उसे बनाए रखने में मदद करता है. कई बार जब हम मानसिक या शारीरिक रूप से थक जाते हैं या तनाव का सामना कर रहे होते हैं तो हमारा शरीर तुरंत ऊर्जा की मांग करता है ऐसे में हमें कई बार शुगर क्रेविंग होने लगती है और मीठा खाने से शरीर को तत्काल जरूरी मात्रा में ऊर्जा की पूर्ति हो जाती है.

इसके अलावा शरीर में ब्लड शुगर में उतार चढ़ाव बढ़ने या कम होने से भी ऐसा हो सकता है. वहीं कुछ विशेष हार्मोन में बदलाव भी कई बार इस क्रेविंग के लिए जिम्मेदार हो सकता है. विशेषकर महिलाओं में हार्मोनल बदलाव होने पर शरीर में मीठे की लालसा बढ़ने लगती है.

कई बार नींद की कमी और शरीर में कुछ विशेष पोषण की कमी होने पर भी मीठा खाने की क्रेविंग होने लगती है. दरअसल कई बार नींद पूरी न होने पर हमारा शरीर ऊर्जा के लिए जल्दी स्रोत खोजने की कोशिश करता है, और चूंकि मीठा खाने से तुरंत ऊर्जा मिल जाती है ऐसे में मीठा खाने की क्रेविंग होने लगती है. वहीं कई बार आहार में प्रोटीन, क्रोमियम, फाइबर, मैग्नीशियम, जिंक या स्वस्थ वसा की कमी होने पर भी आपका शरीर मीठा खाने की इच्छा दिखा सकता है.

हानिकारक है असामान्य क्रेविंग : Dr Divya Sharma बताती हैं कि कभी-कभी मीठे की लालसा होना बेहद सामान्य है लेकिन अगर ऐसा बहुत ज्यादा होने लगे तो यह असामान्य है तथा ऐसी अवस्था में चिकित्सक से परामर्श जरूरी है. इसके अलावा यदि बार-बार मीठे की क्रेविंग होने पर लोग जरूरत से ज्यादा मीठा खाने लगे तो यह कई समस्याओं का कारण भी बन सकता है.

Dietitian Dr Divya Sharma बताती हैं कि आहार में मीठे की अधिकता से कई स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं, जैसे ज्यादा मीठा खाने से वजन बढ़ सकता है, वहीं इससे मधुमेह (डायबिटीज) जैसी कई बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है , इसलिए इसे नियंत्रित करना जरूरी है. स्वस्थ आदतें, संतुलित आहार, और जीवनशैली में बदलाव से इस क्रेविंग को आसानी से नियंत्रित किया जा सकता है. याद रखें, मीठा तभी अच्छा है जब इसे सही मात्रा में खाया जाए.

मीठे की क्रेविंग को नियंत्रित करने के उपाय : Dr Divya Sharma, Dietitian बताती हैं कि यदि किसी व्यक्ति को असामान्य रूप से मीठे की क्रेविंग होती है, तो उन्हें पोषण विशेषज्ञ या डॉक्टर से परामर्श लेना चाहिए. इसके अलावा कुछ बातें व आदतें हैं जिन्हे अपनी दिनचर्या में अपनाने से मीठे की असामान्य क्रेविंग को कम करने में मदद मिल सकती है. जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं.

संतुलित आहार लें : अपने आहार में प्रोटीन, फाइबर और स्वस्थ वसा सहित अन्य जरूरी पोषक तत्वों को शामिल करें ताकि शरीर को जरूरी पोषण मिले और मीठे की क्रेविंग कम हो.

छोटे मील लें : कम अंतराल पर भोजन करें तथा छोटे-छोटे मील (भोजन) लें. दरअसल ब्लड शुगर सामान्य से कम होने पर भी मीठे की क्रेविंग होती है. ऐसे में सामान्य से ज्यादा बार तथा कम अंतराल पर कम-कम मात्रा में भोजन करने से ब्लड शुगर लेवल को सामान्य रखने में मदद मिलती है. लेकिन ध्यान रहे कि आहार की मात्रा इतनी हो की आप भूखे ना रहे.

पर्याप्त नींद : अच्छी नींद लेने से शरीर में ऊर्जा का संतुलन बना रहता है और मीठे की क्रेविंग कम होती है.

तनाव को करें नियंत्रित : तनाव को कम करने के लिए रोजाना व्यायाम, ध्यान और योग का सहारा लें. इससे मीठा खाने की अनावश्यक इच्छा कम होगी.

फल और ड्राई फ्रूट्स का सेवन : अगर मीठा खाने की क्रेविंग हो तो चॉकलेट या मिठाई की जगह फलों या ड्राई फ्रूट्स का सेवन करें. ये स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते हैं और तुरंत ऊर्जा भी देते हैं.

हाइड्रेटेड रहें : शरीर में डिहाइड्रेशन होने पर भी शुगर क्रेविंग हो सकती है, इसलिए कोशिश करें कि पर्याप्त पानी पिएं.

डिस्कलेमर :- यहां दी गई जानकारी और सुझाव सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं, बेहतर होगा कि इन पर अमल करने से पहले आप डॉक्टर/एक्सपर्ट की सलाह लें.

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