नई दिल्ली: सरकार ने घरेलू उपलब्धता बढ़ाने और इसकी कीमतों को नियंत्रण में रखने के लिए प्याज पर निर्यात प्रतिबंध को अगले आदेश तक बढ़ा दिया है. इससे पहले इस साल 31 मार्च तक इस पर रोक लगाई गई थी. विदेश व्यापार महानिदेशालय (डीजीएफटी) ने 22 मार्च को एक अधिसूचना में कहा कि 31 मार्च 2024 तक वैध प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध को अगले आदेश तक बढ़ा दिया गया है. दरअसल, डीजीएफटी मंत्रालय की एक शाखा है जो निर्यात और आयात से संबंधित मुद्दों से निपटती है.
8 दिसंबर 2023 को सरकार ने प्याज के निर्यात पर प्रतिबंध लगाया था. 2023 के रबी सीजन में प्याज का उत्पादन 22.7 मिलियन टन होने का अनुमान लगाया गया था. बता दें, अंतर-मंत्रालयी समूह से मंजूरी के बाद मित्र देशों को प्याज के निर्यात की अनुमति केस-टू-केस आधार पर दी जाती है. सरकार ने नेशनल कोऑपरेटिव एक्सपोर्ट्स लिमिटेड (एनसीईएल) के माध्यम से संयुक्त अरब अमीरात और बांग्लादेश को 64,400 टन प्याज के निर्यात की अनुमति दी है.
इससे पहले, केंद्र ने अक्टूबर 2023 में उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए खुदरा बाजारों में 25 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर बफर प्याज स्टॉक की बिक्री बढ़ाने का फैसला किया था. कीमतों पर काबू पाने के लिए सरकार पहले भी कई कदम उठा चुकी है. इसने 28 अक्टूबर को 31 दिसंबर, 2023 तक प्याज निर्यात पर 800 अमेरिकी डॉलर प्रति टन का न्यूनतम निर्यात मूल्य (एमईपी) लगाया था. अगस्त में भारत ने प्याज पर 31 दिसंबर 2023 तक 40 फीसदी निर्यात शुल्क लगाया था.
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