नई दिल्ली: सरकार ने प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) के तहत लोन सीमा को 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये कर दिया है. वित्त मंत्रालय ने बयान में कहा कि प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) के तहत मुद्रा लोन की सीमा को मौजूदा 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये कर दिया गया है. यह बढ़ोतरी मुद्रा योजना का उद्देश्य को आगे बढ़ाने की आकांक्षा रखती है, जो कि 'अनफंडेड को फंडिंग' है.
जैसा कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 23 जुलाई, 2024 को केंद्रीय बजट 2024-25 में घोषणा की थी. प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) के तहत सीमा मौजूदा 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये कर दी गई है.
निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में बजट पेश करते हुए कहा था कि उन उद्यमियों के लिए मुद्रा लोन की सीमा मौजूदा 10 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये की जाएगी, जिन्होंने 'तरुण श्रेणी' के तहत पिछले लोन लिए हैं और सफलतापूर्वक चुकाए हैं.
मुद्रा लोन के लिए कौन एलिजिबल है?
मुद्रा लोन भारत में एक सरकारी योजना है जो स्मॉल और माइक्रो इंडस्ट्री को बिजनेस विकास के लिए वित्तीय सहायता देती है. एलिजिबिलिटी में गैर-कॉर्पोरेट स्मॉल इंडस्ट्री, माइक्रो इंडस्ट्री और मैन्युफैक्चरिंग, व्यापार, सेवा और कृषि से संबंधित क्षेत्रों में काम करने वाले व्यक्ति शामिल हैं.
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 8 अप्रैल, 2015 को स्मॉल और माइक्रो इंडस्ट्री को 10 लाख तक का लोन देने के लिए शुरू की गई एक योजना है.
पीएम मुद्रा लोन योजना के तहत लोन मैन्युफैक्चरिंग, व्यापार और सेवाओं के माध्यम से आय सृजन में लगे गैर-कृषि सूक्ष्म या लघु इंडस्ट्री को उपलब्ध है. पात्रता में गैर-कॉर्पोरेट लघु व्यवसाय, सूक्ष्म उद्यम और विनिर्माण, व्यापार, सेवा और कृषि से संबंधित क्षेत्रों में काम करने वाले व्यक्ति शामिल हैं.