नई दिल्ली: कई ट्रेडर्स एसोसिएशन ने चल रहे किसान आंदोलन पर अपनी पीड़ा व्यक्त की, जो विशेष रूप से दिल्ली-पंजाब मार्गों पर बिजनेस और माल परिवहन पर प्रभाव डाल रहा है. व्यापारियों के संघों की यह प्रतिक्रिया केंद्र में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार के खिलाफ किसानों द्वारा उनकी उपज पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी सहित अपनी मांगों पर जोर देने के लिए किए जा रहे विरोध प्रदर्शन और भारत बंद के आह्वान के बीच आई है.
भारत बंद के आह्वान से व्यापार हुआ प्रभावित
भारत बंद के आह्वान के बीच ईटीवी भारत से दिल्ली मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. अनिल गुप्ता ने कहा कि 'जाहिर है कि अगर अंतरराज्यीय सीमाएं अवरुद्ध रहेंगी, तो इसका कारोबार पर निश्चित रूप से असर पड़ेगा. पिछले चार दिनों से, दिल्ली की कई सीमाओं पर यातायात की आवाजाही सीमित है, जिसके बाद माल के परिवहन और सीमावर्ती क्षेत्रों के पास रहने वाले श्रमिकों के लिए सुचारू आवागमन में समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.
गुप्ता ने कहा कि कई सड़क ट्रांसपोर्टर दिल्ली, हरियाणा, पंजाब और जम्मू क्षेत्रों के लिए बुकिंग कराने से बच रहे हैं. क्योंकि अगर वे इन क्षेत्रों के लिए खेप बुक करते हैं, तो किसानों के विरोध के कारण सड़क जाम में फंसना संभव है.
पिछले सप्ताह की तुलना में व्यापार हुआ कम
इसी तरह दिल्ली-गाजीपुर सीमा के ठीक पास स्थित गाजीपुर बाजार के एक फूल व्यापारी, परवीन कुमार ने कहा कि इस विरोध ने निश्चित रूप से हमारे बिजनेस को प्रभावित किया है, मुझे पिछले सप्ताह की तुलना में कम व्यवसाय मिल रहा है. इसका कारण यह है कि आपूर्तिकर्ताओं को बाजारों तक पहुंचने के लिए चक्कर लगाना पड़ता है. क्योंकि फूलों की डिलीवरी देर से बाजार में पहुंचने के कारण कई सीमाओं पर यातायात की आवाजाही सीमित हो जाती है. दूसरी बात यह है कि खरीदारों को बाजार में आने से डर लगता है.
किसानों के विरोध से 25 से 30 फीसदी व्यापार प्रभावित
कृषि उपज मार्केटिंग समिति के सदस्य, मुकेश ढींगरा ने कहा कि हमने देखा है कि किसानों के विरोध के कारण लगभग 25 से 30 फीसदी व्यापार प्रभावित हुआ है. किसानों के आंदोलन और ग्रामीण भारत बंद पर प्रतिक्रिया देते हुए, चांदनी चौक व्यापारी परिषद के अध्यक्ष, सुरेश बिंदल ने कहा कि यह विरोध मुख्य रूप से खाद्य और कृषि से संबंधित व्यापारों को प्रभावित कर रहा है. क्योंकि सब्जियों और फलों का दैनिक परिवहन विशेष रूप से दिल्ली, पंजाब मार्ग पर बाधित हो रहा है.
किसान यूनियन की अगली बैठक रविवार को
केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कल देर रात चंडीगढ़ में किसान यूनियनों के साथ बैठक के बाद कहा कि सरकार और किसान यूनियनों के बीच सकारात्मक चर्चा हुई. समाधान निकालने के लिए अगली बैठक रविवार शाम 6 बजे होगी. दोनों पक्षों के बीच यह तीसरे दौर की बातचीत थी. 8 और 12 फरवरी को हुई पिछली बैठकें बेनतीजा रहीं. कुछ किसान समूह गुरुवार को 'रेल रोको' (रेल नाकाबंदी) विरोध के तहत कई स्थानों पर रेल पटरियों पर बैठ गए, जिससे पंजाब-हरियाणा मार्गों पर कई ट्रेन सेवाएं प्रभावित हुईं.