नई दिल्ली: रिलायंस पावर के शेयर आज (20 मार्च) 5 फीसदी बढ़े और बीएसई पर दिन के उच्चतम स्तर 23.83 रुपये पर पहुंच गए. यह तब सामने आया है जब यह खबर आई कि अनिल अंबानी की अगुवाई वाली कंपनी ने पिछले हफ्ते तीन बैंकों- आईसीआईसीआई बैंक, एक्सिस बैंक और डीबीएस बैंक का कर्ज चुकाए है. रिपोर्ट में यह भी दावा किया गया है कि इसकी मूल कंपनी रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर जेसी फ्लावर्स एसेट रिकंस्ट्रक्शन कंपनी को 2,100 करोड़ रुपये का बकाया निपटाने की दिशा में काम कर रही है.
रिलायंस पावर पर क्या रिपोर्ट में दावा किया गया?
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक रिलायंस पावर का लक्ष्य इस वित्तीय वर्ष के अंत तक कर्ज मुक्त कंपनी बनना है. इसके बहीखातों पर एकमात्र लोन आईडीबीआई बैंक से कार्यशील पूंजी लोन होगा. बता दें कि तीन लेंडर के पास संयुक्त रूप से लगभग 400 करोड़ रुपये थे और उन्होंने अपने मूल ऋण का लगभग 30-35 फीसदी वसूल किया.
एक्सचेंजों को जारी एक नोटिस के मुताबिक, रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर और जेसी फ्लावर्स एआरसी ने 20 मार्च, 2024 तक एक स्टैंडस्टिल समझौता किया, जिसे बाद में 31 मार्च, 2024 तक बढ़ा दिया गया था. इसके मुताबिक जेसी फ्लावर्स एआरसी रिलायंस के खिलाफ कानूनी कार्रवाई नहीं करेगा.
रिलायंस पावर फाइनेंस
रिलायंस पावर ने पहले खुलासा किया था कि 31 दिसंबर, 2023 तक, उसकी कुल वित्तीय कर्ज 765 करोड़ रुपये थी, जबकि रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर ने कहा था कि उसी अवधि के लिए उसकी कुल वित्तीय कर्ज 4,233 करोड़ रुपये थी. पहले के खुलासे के अनुसार, रिलायंस पावर ने अप्रैल 2023 में दो लेंडर- जेसी फ्लावर्स एआरसी और केनरा बैंक- के साथ कर्ज का निपटान किया.