तिरुवनंतपुरम : केरल के वायनाड भूस्खलन आपदा पर विस्तृत रिपोर्ट पेश में देरी की वजह से केंद्र सरकार के द्वारा विशेष वित्तीय सहायता पैकेज की घोषणा रोकनी पड़ी. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के इस कथित दावे पर केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने सोमवार को कड़ी आलोचना की.
उन्होंने इस दावे को प्रभावित लोगों के साथ नाइंसाफी करना बताया. उन्होंने कहा कि जब केंद्रीय गृह मंत्री ने 30 जुलाई को वायनाड के मुंडक्कई, चूरलमाला, अट्टामाला, पंचरीमट्टम इलाकों में भूस्खलन को लेकर संसद और लोगों को भ्रमित करने की कोशिश की है.
सीएम ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि इससे पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने संसद को गुमराह करने को लेकर मौसम संबंधी झूठी रिपोर्ट का जिक्र किया था. मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया था कि केरल को भूस्खलन के बारे में विशेष चेतावनी दी गई थी, लेकिन उसको लेकर कोई कार्रवाई नहीं की गई. उन्होंने कहा कि इस दावे को सबूतों के साथ गलत करार दे दिया गया लेकिन संसद में हाल ही में दिया गया बयान पहले के प्रयास को दोहराना प्रतीत होता है.’’
विजयन ने कहा कि राज्य ने नरेंद्र मोदी द्वारा 10 अगस्त को प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करने के एक सप्ताह बाद 17 अगस्त को एक ज्ञापन दिया था. इसृ ज्ञापन में नुकसान का विवरण दिए जाने के साथ ही राहत एवं बचाव प्रयासों के लिए एनडीआरएफ के दिशा निर्देशों के तहत 1,202 करोड़ रुपये दिए की मांग की गई थी.
उन्होंने कहा कि इसके बाद भी केरल को कोई विशेष वित्तीय सहायता राशि नहीं दी गई है, जबकि अन्य राज्यों को बिना औपचारिक अनुरोध के मदद प्रदान की गई.
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