भोजपुर: "मैं तुम्हें तलाक देता हूं..तलाक...तलाक...तलाक" दुबई में रहने वाला शौहर ने वाट्सएप के माध्यम से अपनी पत्नी को तलाक दे दिया. इसके बाद महिला अपने 10 माह के बच्चे को लेकर गुहार लगा रही है. उसके 10 महीने के बेटे की जिंदगी बर्बाद हो जाएगी.
भोजपुर में तीन तलाक: दरअसल, भोजपुर में तीन तलाक का मामला सामने आया है. बता दें कि तीन तलाक अब दंडनीय अपराध है. इसके बावजूद इस तरह तलाक देना कानून की धज्जियां उड़ाने के बराबर है. मामला भोजपुर और रोहतास से जुड़ा है. तलाक देने वाला शौहर भोजपुर तो महिला रोहतास की रहने वाली है.
ससुराल वाले करते हैं प्रताड़ित: 14 मार्च 2023 को दोनों का निकाह धूमधाम से हुआ था. महिला ने बताया कि निकाह के कुछ दिनों बाद से ही ससुराल वाले उसे टॉर्चर करते थे. ससुराल वालों की ओर से दहेज के 5 लाख रुपए की मांग की जा रही थी. उसके साथ मारपीट की जाती थी. खाने के लिए 4 से 5 दिनों का बासी भोजन दिया जाता था.
"निकाह में मेरे परिवार वालों ने अपने हैसियत के हिसाब से 5 लाख रुपया, 2 लाख 20 हजार रुपए बुलेट खरीदने के लिए दिए थे. इसके बावजूद मेरे पति और ससुराल वालों का कहना था कि तुम्हारे घर वालों ने 5 लाख रुपए कम दिए. मुझे शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताड़ित करने लगे." -पीड़िता
दुबई से दिया तलाक: महिला ने बताया कि हाल में ही उसका शौहर दुबई गया था. वहीं से उसका शौहर ने व्हाट्सऐप पर तलाक-तलाक-तलाक का मैसेज भेज दिया. कहा कि जाओ मैं तुम्हें तलाक देता हूं. इस दौरान महिला के लिए आपत्तिजनक शब्दों का भी इस्तेमाल किया. अब महिला न्याय की गुहार लगाते हुए भटक रही है.
"मेरे पति को ससुराल वालों ने दुबई भेज दिया. दुबई में रहकर व्हाट्सऐप पर लिखा कि मैं तुम्हे तलाक देता हूं. तलाक, तलाक, तलाक लिखकर मुझे छोड़ दिया." -पीड़िता
बेटे के लिए गुहाल लगा रही महिला: पीड़िता सोमवार को भोजपुर एसपी ऑफिस पहुंच कर न्याय की गुहार लगाई है. पति के खिलाफ स्थानीय थाना में शिकायत दर्ज कराई है. पीड़िता ने कहा कि वह अपने शौहर के साथ रहना चाहती है नहीं तो उसके 10 माह के बेटे की जिंदगी खराब हो जाएगी. इस मामले में बिहियां के प्रभारी थानाध्यक्ष बताया कि 12 से 13 लोगों को अभियुक्त बनाया गया है.
"मामले में प्राथमिकी दर्ज हो गई है. फिलहाल अनुसंधान चल रहा है. 12-13 लोगों को अभियुक्त बनाया गया है. अभी किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. जांच कर आगे की कार्रवाई की जाएगी." -भारत यादव, प्रभारी थानाध्यक्ष, बिहियां, भोजपुर
क्या है तीन तलाक कानून: तीन तलाक को लेकर मुस्लिम महिला संरक्षण अधिनियम 2018 कानून पारित किया गया. इसके तहत तीन तलाक एक दंडनीय अपराध. इस मामले में पीड़िता या उसके रक्त संबंधी केस दर्ज कराती है तो आरोपी को तीन साल की सजा हो सकती है.
तीन तलाक से राहत: हालांकि इस मामले में मजिस्ट्रेट के पास सुलह कराने या जमानत देने का अधिकार है. अगर बातचीत से महिला और उसके पति साथ रहना चाहते हैं तो आरोपी के खिलाफ दर्ज केस को महिला वापस ले लेगी. इसके अलावे विधेयक 2018 की धारा 3 में कुछ प्रावधान भी हैं. इसमें लिखित या किसी भी इल्केट्रॉनिक विधि से तलाक देना अपराध माना गया है.
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