हरिद्वार (उत्तराखंड): यूपी की तर्ज पर उत्तराखंड में अपराधों पर लगाम लगाने के लिए राज्य सरकार ने ठेली-फेरी लगाने वालों का सत्यापन करना अनिवार्य कर दिया है. कांवड़ मार्ग पर या कांवड़ पटरी पर इस कांवड़ मेले के दौरान कोई भी व्यक्ति जो अपनी पहचान छिपा कर होटल, रेस्टोरेंट, ढाबे या रेहड़ी, ठेली का संचालन नहीं कर सकेगा. क्योंकि इस को लेकर हरिद्वार पुलिस ने कड़े आदेश जारी किए हैं. ऐसे सभी लोगों को आदेशित किया गया है कि वो अपने-अपने प्रतिष्ठान पर प्रोपराइटर का नाम, क्यूआर कोड और मोबाइल नंबर आवश्यक रूप से लगाए. नियमों की अनदेखी करने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी. साथ ही उसको कांवड़ मार्ग से भी हटा दिया जाएगा.
#WATCH Uttarakhand: Haridwar Police Administration issued an order to restaurant owners to display names on the Kanwar Yatra route.
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 19, 2024
Haridwar SSP Padmendra Dobal says, " regarding the preparations for kanwar, we have given general instructions to the hotels, dhabas, restaurants… pic.twitter.com/7JOEGotPGj
एसएसपी प्रमेंद्र सिंह डोबाल का कहना है कि कांवड़ मेले के परिपेक्ष्य में जितने एसपी सिटी, एसपी ग्रामीण हैं और सभी सर्किल ऑफिसर को निर्देशित किया गया है कि जितने भी कांवड़ मार्ग में होटलऔर ढाबे हैं, रेस्टोरेंट हैं या जो रेहड़ी ठेली लगी हैं उनके जो प्रोपराइटर हैं उनका नाम और जो उनका क्यूआर कोड और मोबाइल नंबरों को मेंशन करेंगे. एसएसपी ने बताया कि कांवड़ मेले के दौरान एक विशेष समुदाय के कुछ व्यक्तियों द्वारा अपनी पहचान छिपा कर हिन्दू नाम से अथवा हिन्दू देवी देवता के नाम से होटल, ढाबे रेस्टोरेंट आदि का संचालन का मामला सामने आने के बाद कई बार विवाद की स्थिति उत्पन्न हो जाती है. जिसको लेकर पुलिस ने सख्त कदम उठाए हैं. आदेशों का पालन नहीं किया गया तो सख्त कार्रवाई की जाएगी.
एसएसपी का कहना है कि पहले कई बार पहचान छिपाकर गतिरोध के मामले सामने आते रहे हैं, जिसको ध्यान में रखकर सावधानी बरती जा रही है. रूट डायवर्जन का प्लान 22 तारीख से स्टार्ट हो रहा है. ट्रैफिक ज्यादा होगा तो वन-वे सिस्टम चलाया जाएगा. वहीं बैरागी कैंप की ओर पूरी तरह से सारा ट्रैफिक मोड़ दिया जाएगा और जब भीड़ बढ़ेगी तो एसपी ट्रैफिक, एसपी सिटी की कॉल पर डायवर्जन प्लान लागू किया जाएगा.
कलश कांवड़ को तरजीह: 22 जुलाई से कांवड़ यात्रा की विधिवत शुरुवात होने जा रही है. कांवड़ को लेकर उत्साह इतना है कि शिवभक्त अभी से हरिद्वार पहुंचने लगे हैं. यात्रा का शुरुआती दौर नए ट्रेंड कर साथ देखी जा रही है. यात्रा में इस बार कांवड़िये परम्परागत कांवड़ की जगह कलश कांवड़ को तरजीह दी रहे हैं. भक्तों का मानना है कलश कांवड़, दिखावे की जगह विश्वास और आस्था का प्रतीक है.