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शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने गोविंदानंद सरस्वती के खिलाफ मानहानि याचिका दायर किया, नोटिस जारी - Shankaracharya defamation petition

Shankaracharya filed defamation petition: स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने गोविंदानंद सरस्वती पर कांग्रेस समर्थित 'फर्जी बाबा' कहने पर मानहानि का मुकदमा दायर किया है. हाईकोर्ट में इस मामले की अगली सुनवाई 29 अगस्त को होगी.

शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद
शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Aug 13, 2024, 4:01 PM IST

नई दिल्ली: शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने गोविंदानंद सरस्वती पर दिल्ली हाईकोर्ट में मानहानि याचिका दायर किया है. हाईकोर्ट ने अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की मानहानि याचिका पर सुनवाई करते हुए गोविंदानंद सरस्वती को नोटिस जारी किया है. हाईकोर्ट इस मामले की अगली सुनवाई 29 अगस्त के लिए सूचीबद्ध किया है.

हाईकोर्ट ने स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की याचिका पर गोविंदानंद सरस्वती के खिलाफ कोई भी अंतरिम एकतरफा आदेश पारित करने से इनकार किया. कोर्ट ने कहा कि बिना प्रतिवादी का पक्ष सुने कोई आदेश पारित करना सही नहीं होगा. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान अविमुक्तेश्वरानंद के वकील से कहा कि आप एक संत हैं और आप इस बारे में चिंता क्यों कर रहे हैं. संतों को इस सब से चिंतित नहीं होना चाहिए, इससे उन्हें बदनाम नहीं किया जा सकता. संत अपने कर्मों से सम्मान पाते हैं.

सुनवाई के दौरान स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती के वकील ने कहा कि गोविंदानंद उन्हें फर्जी बाबा, ढोंगी बाबा और चोर बाबा कहते हैं. वो लगातार बयान दे रहे हैं कि स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद लोगों का अपहरण कर रहे हैं, वे हिस्ट्रीशीटर हैं. वकील ने आगे कहा कि गोविंदानंद सरस्वती कह रहे हैं कि उन्होंने सात हजार करोड़ का सोना चुराया है. साध्वियों के साथ उनका अवैध संबंध है. इस तरह के बयान से स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद की छवि खराब हो रही है, इसलिए उनके बयान देने पर रोक लगाए जानी चाहिए.

बता दें, गोविंदानंद सरस्वती ने कांग्रेस पर स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद को एक मोहरे के रूप में इस्तेमाल करने का आरोप लगाया था. गोविंदानंद सरस्वती ने प्रियंका गांधी द्वारा अविमुक्तेश्वरानंद को 13 सितंबर 2022 को लिखे एक पत्र को प्रमाण के तौर पर दिखाया था.

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नई दिल्ली: शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने गोविंदानंद सरस्वती पर दिल्ली हाईकोर्ट में मानहानि याचिका दायर किया है. हाईकोर्ट ने अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की मानहानि याचिका पर सुनवाई करते हुए गोविंदानंद सरस्वती को नोटिस जारी किया है. हाईकोर्ट इस मामले की अगली सुनवाई 29 अगस्त के लिए सूचीबद्ध किया है.

हाईकोर्ट ने स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की याचिका पर गोविंदानंद सरस्वती के खिलाफ कोई भी अंतरिम एकतरफा आदेश पारित करने से इनकार किया. कोर्ट ने कहा कि बिना प्रतिवादी का पक्ष सुने कोई आदेश पारित करना सही नहीं होगा. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान अविमुक्तेश्वरानंद के वकील से कहा कि आप एक संत हैं और आप इस बारे में चिंता क्यों कर रहे हैं. संतों को इस सब से चिंतित नहीं होना चाहिए, इससे उन्हें बदनाम नहीं किया जा सकता. संत अपने कर्मों से सम्मान पाते हैं.

सुनवाई के दौरान स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती के वकील ने कहा कि गोविंदानंद उन्हें फर्जी बाबा, ढोंगी बाबा और चोर बाबा कहते हैं. वो लगातार बयान दे रहे हैं कि स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद लोगों का अपहरण कर रहे हैं, वे हिस्ट्रीशीटर हैं. वकील ने आगे कहा कि गोविंदानंद सरस्वती कह रहे हैं कि उन्होंने सात हजार करोड़ का सोना चुराया है. साध्वियों के साथ उनका अवैध संबंध है. इस तरह के बयान से स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद की छवि खराब हो रही है, इसलिए उनके बयान देने पर रोक लगाए जानी चाहिए.

बता दें, गोविंदानंद सरस्वती ने कांग्रेस पर स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद को एक मोहरे के रूप में इस्तेमाल करने का आरोप लगाया था. गोविंदानंद सरस्वती ने प्रियंका गांधी द्वारा अविमुक्तेश्वरानंद को 13 सितंबर 2022 को लिखे एक पत्र को प्रमाण के तौर पर दिखाया था.

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