ऋषिकेश: पहाड़ों में लगातार हो रही भारी बारिश के कारण बीन नदी उफान पर आ गई है. इससे वाहनों की आवाजाही में परेशानी शुरू हो गई है. लोग अपनी जान जोखिम में डालकर पैदल चलकर और वाहनों से नदी पार कर रहे हैं. ऐसे में कभी भी कोई हादसा हो सकता है.
खतरनाक: उफनती बीन नदी को जान जोखिम में डाल कर रहे पार, कभी भी हो सकता है बड़ा हादसा - flood in Bean river
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By ETV Bharat Uttarakhand Team
Published : Jul 5, 2024, 10:24 AM IST
|Updated : Jul 5, 2024, 11:59 AM IST
People crossing the overflowing Bean river In Rishikesh मानसून सीजन में लोगों की जान भगवान भरोसे है. ऋषिकेश में बीन नदी उफान पर है. नदी पर पुल नहीं होने से लोग उफनती नदी को जान जोखिम में डालकर पार कर रहे हैं. कई बार वाहन नदी के बीच में फंस भी रहे हैं. पैदल और वाहनों से बीन नदी पार कर रहे लोगों की जान जोखिम में है.
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बीन नदी में आया उफान: बैराज चीला मार्ग पर पड़ने वाली बरसाती बीन नदी भारी बारिश के चलते लगातार उफान पर दिखाई दे रही है. नदी का जलस्तर कभी कम तो कभी बहुत ज्यादा हो रहा है. इस रास्ते से प्रतिदिन सैकड़ों वाहन हरिद्वार ऋषिकेश के अलावा कई जगहों के लिए आवागमन करते हैं. यमकेश्वर प्रखंड को भी यही रास्ता ऋषिकेश हरिद्वार से जोड़ता है. नदी के उफान पर आने से वाहन सवार लोगों की परेशानियां बढ़ गई हैं. नदी के उफान पर आने के बावजूद लोग मजबूरी में अपनी जान को खतरे में डालते हुए नदी को वाहनों से पार कर रहे हैं. हल्की सी लापरवाही कभी भी वाहन सवारों की जान को खतरे में डाल सकती है. पहले भी कई बार इस नदी में जलस्तर बढ़ने से हादसे हो चुके हैं.
जान जोखिम में डालकर यात्रा: वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि किस तरह से दोपहिया वाहन सवार लोग नदी को पार करते समय फंसते हुए दिखाई दे रहे हैं. पैदल चलने वाले लोग भी जान जोखिम में डालकर नदी पार कर रहे हैं. उत्तराखंड गठन से पहले से ही बीन नदी पर पुल बनाने की मांग चली आ रही है, जो आज तक परवान नहीं चढ़ी है. त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मुख्यमंत्री रहते हुए पुल बनाने की घोषणा की थी. लेकिन निजाम बदलते ही प्रशासन के दफ्तरों में पुल बनाने की फाइल धूल फांक रही है. इस लापरवाही का खामियाजा हर बरसात में हजारों लोगों और पर्यटकों को भुगतना पड़ता है.
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बीन नदी में आया उफान: बैराज चीला मार्ग पर पड़ने वाली बरसाती बीन नदी भारी बारिश के चलते लगातार उफान पर दिखाई दे रही है. नदी का जलस्तर कभी कम तो कभी बहुत ज्यादा हो रहा है. इस रास्ते से प्रतिदिन सैकड़ों वाहन हरिद्वार ऋषिकेश के अलावा कई जगहों के लिए आवागमन करते हैं. यमकेश्वर प्रखंड को भी यही रास्ता ऋषिकेश हरिद्वार से जोड़ता है. नदी के उफान पर आने से वाहन सवार लोगों की परेशानियां बढ़ गई हैं. नदी के उफान पर आने के बावजूद लोग मजबूरी में अपनी जान को खतरे में डालते हुए नदी को वाहनों से पार कर रहे हैं. हल्की सी लापरवाही कभी भी वाहन सवारों की जान को खतरे में डाल सकती है. पहले भी कई बार इस नदी में जलस्तर बढ़ने से हादसे हो चुके हैं.
जान जोखिम में डालकर यात्रा: वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि किस तरह से दोपहिया वाहन सवार लोग नदी को पार करते समय फंसते हुए दिखाई दे रहे हैं. पैदल चलने वाले लोग भी जान जोखिम में डालकर नदी पार कर रहे हैं. उत्तराखंड गठन से पहले से ही बीन नदी पर पुल बनाने की मांग चली आ रही है, जो आज तक परवान नहीं चढ़ी है. त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मुख्यमंत्री रहते हुए पुल बनाने की घोषणा की थी. लेकिन निजाम बदलते ही प्रशासन के दफ्तरों में पुल बनाने की फाइल धूल फांक रही है. इस लापरवाही का खामियाजा हर बरसात में हजारों लोगों और पर्यटकों को भुगतना पड़ता है.
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