नैनीताल: उत्तराखंड का नैनीताल जिला न्यायालय देश का पहला पेपरलेस कोर्ट बन गया है. उत्तराखंड हाईकोर्ट के न्यायाधीश राकेश थपलियाल ने जिला न्यायालय में डिजिटाइजेशन केंद्र का शुभारंभ किया है. अब जल्द ही नैनीताल जिला न्यायालय पूरी तरह से देश का पहला पेपर लैस कोर्ट बन जाएगा.
नैनीताल जिला न्यायालय में डिजिटाइजेशन केंद्र के शुभारंभ कार्यक्रम में न्यायाधीश राकेश थपलियाल ने बताया डिजिटल कोर्ट शुरू होने से अधिवक्ता अब हाथ में फाइल लेकर नहीं घुमेगे. साथ ही जिलेभर की न्यायालयों में चले ट्रायल कोर्ट के फैसले एक क्लिक में आसानी से हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान मिल जाएंगे और वादों की सुनवाई में देरी नहीं होगी. अब तक जिला न्यायालय में चले ट्रायल के फैसलों के लिए हाईकोर्ट से जिला न्यायालय को नोटिस जारी करने पड़ते थे. जिसका जवाब कई दिन बाद मिलता था. ऐसे में सुनवाई में देरी होती थी.
लेकिन अब ई-कोर्ट के माध्यम से केसों की सुनवाई भी जल्दी होगी और लंबित वादो का निस्तारण समय पर हो पाएगा. नैनीताल के बाद हरिद्वार और उधम सिंह नगर जिला न्यायालयों को डिजिटल किया जाएगा, जिसकी तैयारी पूरी हो गई है. जिला न्यायालय को डिजिटलाइज कर रही डाटा सॉफ्ट कंप्यूटर सर्विसेज संस्था के नरेंद्र सिंह ने बताया कि नैनीताल जिला देश का पहला जिला न्यायालय है, जहां डिजिटलाइज कोर्ट बनाई गई है.
इसके शुरू होते ही कोर्ट से जल्द कागजों का काम खत्म हो जाएगा. साथ ही न्यायालय के काम में पारदर्शिता भी देखने को मिलेगी. डाटा सॉफ्ट कंप्यूटर सर्विसेज ने कोर्ट के काम को डिजिटल करने के लिए 12 स्थानीय युवाओं को प्रशिक्षण देकर काम भी शुरू करवा दिया है. पहले दिन संस्था के द्वारा करीब 20 फाइलों को डिजिटलाइज किया.
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