श्रीनगर: कश्मीर के गांदरबल जिले में रविवार को मजदूरों के कैंप पर हुए आतंकवादी हमले पर अब राजनीति भी शुरू हो गई है. पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने गांदरबल हमले के बाद गैर-स्थानीय लोगों को जम्मू-कश्मीर छोड़ने के लिए कहे जाने की खबरों की आलोचना की. वहीं, पुलिस ने इसका खंडन किया है.
महबूबा ने एक्स पोस्ट पर कहा, "सोनमर्ग में हुए बर्बर हमले के बाद ऐसी खबरें हैं कि स्थानीय प्रशासन गैर स्थानीय मजदूरों पर तुरंत घाटी छोड़ने का दबाव बना रही है. मैं उनकी घबराहट को समझती हूं, लेकिन उन्हें इस तरह से घाटी छोड़ने के लिए कहना कोई समाधान नहीं है. इससे केवल और अधिक मुश्किलें पैदा होंगी और देश को बहुत बुरा संदेश जाएगा."
After the barbaric attack at Sonamarg there are reports that the local admin is pressurising non local labourers to leave the valley immediately. While I understand their obvious sense of panic but asking them to leave in this manner is not a solution. Will only create more…
— Mehbooba Mufti (@MehboobaMufti) October 22, 2024
महबूबा ने कहा, "जम्मू-कश्मीर में हाल ही में शांतिपूर्ण आतंकवाद मुक्त चुनाव हुए हैं और इस तरह की प्रतिक्रिया से इसके विपरीत ही साबित होगा. इससे दूसरे राज्यों में काम करने और पढ़ाई करने वाले कश्मीरियों के खिलाफ भी आक्रोश फैल सकता है. मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और एलजी मनोज सिन्हा से अनुरोध है कि वे हस्तक्षेप करें और कम से कम उन्हें पर्याप्त समय दें."
Social media reports claiming the local administration has asked non-local workers to leave the valley are false. The Jammu and Kashmir Police is committed to ensure security and fostering a safe environment for all individuals (1/2)
— Kashmir Zone Police (@KashmirPolice) October 22, 2024
वहीं, जम्मू कश्मीर पुलिस ने एक्स पोस्ट पर खबरों का खंडन करते हुए कहा, "सोशल मीडिया पर चल रही खबरों में दावा किया जा रहा है कि स्थानीय प्रशासन ने गैर-स्थानीय श्रमिकों को घाटी छोड़ने के लिए कहा है, जो कि गलत है/ जम्मू-कश्मीर पुलिस सभी व्यक्तियों के लिए सुरक्षा सुनिश्चित करने और सुरक्षित वातावरण को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है".
बता दें कि, गांदरबल जिले में श्रीनगर-लेह राजमार्ग पर एक सुरंग निर्माण स्थल पर अज्ञात आतंकवादियों के हमले में डॉ डार और छह मजदूरों की मौत हो गई थी. यह हमला उस समय हुआ जब रविवार देर शाम मजदूर अपने शिविर में लौट रहे थे. इस आतंकी हमले की हर जगह व्यापक निंदा हुई. नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने हिंसा के लिए पाकिस्तान को दोषी ठहराया है.
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