हैदराबाद: देश की सुरक्षा को लेकर बड़ी खबर है. भारतीय नौसेना भारत ने K-4, पनडुब्बी से प्रक्षेपित बैलिस्टिक मिसाइल का परीक्षण किया. ये परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम है. यह परीक्षण बुधवार की सुबह बंगाल की खाड़ी में विशाखापत्तनम के तट के पास नव-निर्मित परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी आईएनएस (INS) अरिघाट से किया गया.
कलाम-4 की मारक क्षमता 3,500 किलोमीटर
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार नेवी K-4 बैलिस्टिक मिसाइल की मारक क्षमता 3,500 किलोमीटर है. बता दें कि परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बी आईएनएस (INS) अरिघाट हाल ही में नौसेना में शामिल की गई. परीक्षण के परिणामों का विश्लेषण किया जा रहा है. विवरण का विश्लेषण बारीकी किया जा रहा है.
Indian Navy yesterday carried out the test firing of the 3,500 Km K-4 ballistic missile from the newly-inducted nuclear submarine INS Arighaat. The test results are being analysed. The boat is operated by the Strategic Forces Command: Defence Sources pic.twitter.com/QzAMzMXm7V
— ANI (@ANI) November 28, 2024
ताकि यह पता लगाया जा सके कि मिसाइल ने अपने परीक्षण मापदंडों और उद्देश्यों को सफलतापूर्वक पूरा किया या नहीं. पूर्ण विश्लेषण के बाद संबंधित अधिकारी शीर्ष सैन्य और राजनीतिक अधिकारियों को सटीक जानकारी से अवगत कराएंगे.
परमाणु-सक्षम बैलिस्टिक मिसाइल को 3,500 किलोमीटर की मारक क्षमता के लिए डिजाइन किया गया है. पिछले कई सालों से इस परियोजना पर काम चल रहा था.
" the test of the ballistic missile was done for the full range. the details are being analysed and the top military and political brass would be briefed by officials concerned on the exact details after complete analysis," say defence sources on nuclear-capable ballistic missile…<="" p>— ani (@ani) November 28, 2024
k-4 परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम
भारत के रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) द्वारा विकसित के-4 बैलिस्टिक मिसाइल को कलाम-4 के नाम से भी जाना जाता है. ये परमाणु सक्षम मध्यम दूरी की पनडुब्बी से प्रक्षेपित बैलिस्टिक मिसाइल है. आईएनएस अरिघाट अरिहंत श्रेणी की पनडुब्बी का हायर वर्जन है.
भारत ने 27 से 30 नवंबर के बीच 3,490 किलोमीटर के उड़ान गलियारे में मध्यम दूरी की मिसाइल के परीक्षण के लिए एयरमेन को नोटिस और सार्वजनिक चेतावनी जारी की थी.
अमेरिका, रूस और चीन पहले से ही है सक्षम
डीआरडीओ ने K-4 मिसाइल को परमाणु ऊर्जा से चलने वाली पनडुब्बियों के लिए विकसित किया है. अमेरिका, रूस और चीन जैसे देशों के पास पहले से ही 5,000 किलोमीटर से अधिक रेंज वाली पनडुब्बी से प्रक्षेपित बैलिस्टिक मिसाइल (SLBM) है.
अरिघाट परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बी है
6,000 टन वजनी आईएनएस अरिघाट भारत की नवीनतम परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बी है. ये देश की दूसरी हमलावर क्षमता को शक्ति प्रदान करने वाली पनडुब्बी है. पहली परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बी आईएनएस अरिहंत को 2016 में सेवा में शामिल किया गया था. ये केवल 750 किलोमीटर की रेंज वाली K-15 मिसाइलों से लैस है.
हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण
बता दें कि हाल में सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (CCS) ने हिंद-प्रशांत क्षेत्र में भारत की उपस्थिति बढ़ाने के लिए दो और परमाणु ऊर्जा चालित हमलावर पनडुब्बियों के निर्माण को मंजूरी दी थी.